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सलमान को घर लाएंगे 'बजरंगी भाईजान'

पठान मोहल्ला में रहने वाले हाफिज वकार अहमद के पांच बेटों और दो बेटियों में से चौथे नंबर का बेटा है सलमान। वो 1994 में दो साल की उम्र में अम्मी के साथ पाकिस्तान गया तो फिर नहीं लौट पाया। दरअसल, वकार अहमद का निकाह पाकि

By Ashish MishraEdited By: Published: Tue, 27 Oct 2015 08:48 AM (IST)Updated: Tue, 27 Oct 2015 08:53 AM (IST)
सलमान को घर लाएंगे 'बजरंगी भाईजान'

अलीगढ़। करीब 21 साल से पाकिस्तान में 'फंसे' सलमान की हिंदुस्तान वापसी का मुद्दा 'बजरंगी भाईजान' तक पहुंच चुका है। उसे घरवालों तक पहुंचाने के लिए अब सल्लू भैया प्रयास शुरू करेंगे। मुंबई पहुंचे सलमान के पारिवारिक सदस्य अमानुल्ला खां को यही भरोसा मिला है। मुंबई में मौजूद अमानुल्ला ने बताया कि मैनेजर देशमुख राणे से फोन पर बात हुई है। उन्होंने कहा है कि अभी सलमान खान बिग बॉस की शूटिंग में व्यस्त हैं। लिहाजा, एक-दो दिन बाद मुलाकात हो सकेगी। भरोसा भी दिया है कि सलमान खान इस मामले को उठाएंगे। जरूरत पड़ी तो विदेश मंत्रालय में भी बात करेंगे। उधर, विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की पहल से सलमान के परिजन बेहद खुश हैं। पिता हाफिज वकार अहमद कहते हैं कि सुषमाजी दिलचस्पी लेंगी तो उनका बेटा जरूर लौट आएगा।

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कौन है सलमान?

अलीगढ़ शहर के पठान मोहल्ला में रहने वाले हाफिज वकार अहमद के पांच बेटों और दो बेटियों में से चौथे नंबर का बेटा है सलमान। वो 1994 में दो साल की उम्र में अम्मी के साथ पाकिस्तान गया तो फिर नहीं लौट पाया। दरअसल, वकार अहमद का निकाह पाकिस्तान के कराची की रहने वाली सलमा बेगम से 1984 में हुआ था। बकौल वकार, 1994 में सलमा कराची गई थीं। दो साल का सलमान भी साथ गया था। उस दौरान बच्चों का अलग से पासपोर्ट नहीं बनता था। मां-बाप के पासपोर्ट में ही बच्चों की एंट्री हो जाती थी। पाकिस्तान में सलमान बीमार पड़ा तो सलमा उसे नाना-नानी के यहां छोड़ आईं। कई साल बाद लेने गए तो वो आने को राजी न हुआ। जब राजी हुआ तो सरकारें रोड़ा बन गईं। पाकिस्तानी हुकूमत उसे हिंदुस्तान का बताती है और ङ्क्षहदुस्तान वाले अभी तक अपना नहीं पाए। वर्षों से जांच ही चल रही है। अब नाना-नानी का भी इंतकाल हो चुका है। सलमान अपने मौसा के पास है। बकौल वकार अहमद, सलमान की तबीयत ठीक नहीं है। उसकी दोनों बहनें निदा वकार व हिना वकार दो महीने से पाकिस्तान में ही हैं। दो दिन पहले ही बहनों ने दो माह वीजा अवधि बढ़वाई है।

बेटे के गम में डूबे हाफिज वकार पिछले दिनों बीमार भी पड़ गए थे। वे बताते हैं कि बेटे के बारे में पिछले दिनों विदेश मंत्रालय ने रिपोर्ट मांगी थी। हमने स्थानीय अभिसूचना इकाई को कुछ दस्तावेज मुहैया करा दिए हैं। बेटे के पाकिस्तान जाने की एंट्री वाला पासपोर्ट पाकिस्तान में ही छूट गया था, उसे वहां से मंगाया है। एक-दो दिन में आते ही पुलिस को दूंगा।


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