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यूपी चुनाव परिणाम की ADR रिपोर्ट में कई रोचक तथ्य, साफ छवि वालों पर भारी पड़े 78 दागी विधायक

ADR Report UP Vidhan Sabha 2022 यूपी विधानसभा चुनाव में 205 में से 78 आपराधिक मामले घोषित करने वाले विधायकों ने साफ छवि वाले प्रतिद्वंद्वी को हराया है। इन 78 में से तीन विधायकों ने 30 प्रतिशत से अधिक अंतर से जीत हासिल की है।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Sun, 10 Apr 2022 08:39 PM (IST)Updated: Sun, 10 Apr 2022 08:39 PM (IST)
यूपी चुनाव परिणाम की ADR रिपोर्ट में कई रोचक तथ्य, साफ छवि वालों पर भारी पड़े 78 दागी विधायक
एडीआर ने यूपी चुनाव में विधायकों के मतों की हिस्सेदारी का विश्लेषण किया।

लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश इलेक्शन वाच व एसोसिएशन फार डेमोक्रेटिक रिफार्म्स (एडीआर) ने विधानसभा चुनाव 2022 में सभी 403 निर्वाचन क्षेत्रों के वोट की हिस्सेदारी का विश्लेषण किया है, जिसमें कई रोचक तथ्य सामने आये हैं। रिपोर्ट के अनुसार ऐसे 78 दागी विधायक चुने गए हैं जो साफ-सुथरी छवि वाले प्रतिद्वंद्वी पर भारी पड़े हैं।

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आपराधिक मामले घोषित करने वाले विधायक और उनकी जीत के अंतर के विश्लेषण में सामने आया है कि 205 में से 78 आपराधिक मामले घोषित करने वाले विधायकों ने साफ छवि वाले प्रतिद्वंद्वी को हराया है। इन 78 में से तीन विधायकों ने 30 प्रतिशत से अधिक अंतर से जीत हासिल की है। जबकि मेरठ कैंट से भाजपा विधायक अमित अग्रवाल ने 48 प्रतिशत के अंतर से जीत हासिल की है। करोड़पति विधायकों व उनकी जीत के अंतर की बात की जाए तो 366 में से 49 करोड़पति विधायकों ने ऐसे उपविजेताओं के विरुद्ध जीत दर्ज की है, जिनकी संपत्ति एक करोड़ रुपये से कम थी।

विधानसभा चुनाव में इस बार विजेताओं को कुल मतदान का औसतन 47 प्रतिशत वोट प्राप्त हुआ है, जो 2017 के विधानसभा चुनाव की तुलना में चार प्रतिशत अधिक है। चुने गए 403 विधायकों में 111 (28 प्रतिशत) विजेताओं ने अपने निर्वाचन क्षेत्र में मतदान किए गए कुल वोटों में से 50 प्रतिशत व उससे अधिक मतों से जीत दर्ज की है।

विश्लेषण में यह भी पता चला है कि इस चुनाव में 292 (72 प्रतिशत) विधायकों ने अपने निर्वाचन क्षेत्र में मतदान किए गए कुल वोटों में से 50 प्रतिशत से कम मतों से जीत हासिल की। जबकि 205 में से 51 (25 प्रतिशत) आपराधिक मामले घोषित करने वाले विधायकों ने 50 प्रतिशत और उससे अधिक वोटों की हिस्सेदारी के साथ जीत दर्ज की है।

366 में से 103 (28 प्रतिशत) करोड़पति विधायकों को 50 प्रतिशत और इससे अधिक वोटों की हिस्सेदारी के साथ जीत हासिल हुई है। 15 विधायकों ने 1000 से कम मतों के अंतर से जीत हासिल की है और आठ विधायकों ने 40 प्रतिशत से अधिक अंतर के साथ जीत हासिल की है।

चुनाव में फिर से जीत दर्ज करने वाले 209 विधायकों के विश्लेषण में सामने आया कि उन्होंने अपने निर्वाचन क्षेत्र में 35 प्रतिशत व उससे अधिक वोटों की हिस्सेदारी के साथ जीत दर्ज की। जबकि 64 (31 प्रतिशत) विधायकों ने 50 प्रतिशत से अधिक वोटों की हिस्सेदारी के साथ जीत हासिल की। वहीं 6.37 लाख से अधिक मतदाताओं ने नोटा का बटन दबाया। मताधिकार का प्रयोग करने वाले 9.21 करोड़ से अधिक मतदाताओं में नोटा का बटन दबाने वालों का प्रतिशत .69 रहा।

महिला विधायकों में अंजुला सिंह सबसे आगे : महिला विधायकों में हाथरस से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ने वाली अंजुला सिंह माहौर का प्रदर्शन सबसे अच्छा रहा। विधायक अंजुला सिंह ने अपने निर्वाचन क्षेत्र में सबसे ज्यादा 59 प्रतिशत वोटों की हिस्सेदारी व 38 प्रतिशत के अंतर के साथ जीत दर्ज की। कुल 47 महिला विधायकों में से पांच महिला विधायकों ने 20 प्रतिशत से अधिक अंतर से जीत हासिल की है।


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