अचानक बढ़ने लगीं गतिविधियांः प्रियंका गांधी के महासचिव बनने से कांग्रेस में तेजी
प्रियंका गांधी के महासचिव बनने का असर कांग्रेस में दिखने लगा है। पार्टी मुख्यालय ही नहीं गणतंत्र दिवस पर जिला-शहर कमेटियों द्वारा आयोजित कार्यक्रमों में अरसे बाद भीड़ उमड़ी।
लखनऊ, जेएनएन। प्रियंका गांधी के महासचिव बनने का असर कांग्रेस में दिखने लगा है। पार्टी मुख्यालय ही नहीं गणतंत्र दिवस पर जिला-शहर कमेटियों द्वारा आयोजित कार्यक्रमों में अरसे बाद भीड़ उमड़ी। कार्यकर्ताओं में स्वयं को समर्पित कार्यकर्ता सिद्ध करने की होड़ लगी है। वहीं, प्रकोष्ठ और विभागों के पदाधिकारियों ने भी अचानक सक्रियता बढ़ाते हुए स्थानीय स्तर पर बैठकों का सिलसिला शुरू किया है। शनिवार को पार्टी मुख्यालय पर प्रदेश अध्यक्ष राजबब्बर की अनुपस्थिति में पूर्व सांसद प्रमोद तिवारी ने झंडारोहण किया और ध्वज को सलामी दी।इस मौके पर ध्वजरक्षक सेवादल के मुख्य संगठक प्रमोद कुमार पांडेय थे। तिवारी ने कांग्रेस की मजबूती और भाजपा को सत्ता से बाहर कराने का संकल्प भी दिलाया।
कार्यकर्ताओं में जबरदस्त उत्साह
प्रभारी संगठन महासचिव सतीश अजमानी ने बताया कि अमूमन सभी जिला व शहरों में गणतंत्र दिवस पर आयोजित कार्यक्रमों में कार्यकर्ताओं में जबरदस्त उत्साह था। अधिकतर स्थानों पर संपन्न कार्यक्रमों में सत्ताधारी दल से ज्यादा भीड़ जुटी। प्रदेश उपाध्यक्ष युसुफ कुरैशी ने दावा किया कि कांग्रेस के कार्यक्रमों में अल्पसंख्यकों की भीड़ का बढऩा प्रदेश की सियासत में बड़े बदलाव के संकेत है। कई प्रयोग करने के बाद मुस्लिमों को यकीन हो गया है कि कांग्रेस ही भाजपा को सत्ता से दूर करने की क्षमता रखती है।
व्यक्तिगत कार्यक्रमों की होड़
पार्टी द्वारा विधिवत कार्यक्रम जारी नहीं करने के बावजूद कार्यकर्ताओं में अपने स्तर पर अभियान चलाने की होड़ लगी है। प्रवक्ता ओंकारनाथ सिंह का कहना है कि अधिकतर जिलों से कांग्रेसियों द्वारा प्रभात फेरी व वाहन रैली निकालने की सूचना मिली हैं। शनिवार को युवा नेता राहुल अवस्थी व कोणार्क दीक्षित 'केडी ' की अगुवाई में साइकिल यात्रा का आयोजन किया गया। 'राहुल लाओ-किसान बचाओ ' साइकिल यात्रा लखनऊ से दिल्ली के लिए रवाना हुई जिसे पूर्व सांसद प्रमोद तिवारी ने झंडी दिखाकर रवाना किया।
प्रकोष्ठ-विभागों की नियमित समीक्षा
मुख्य संगठन के अलावा प्रकोष्ठों व विभागों में अचानक सक्रियता बढ़ी है। पिछड़ा वर्ग विभाग ने 15 दिन के भीतर ब्लाक स्तर पर कमेटियां गठन करने का फैसला किया है। वहीं, जिलाध्यक्षों की तैनाती के लिए तीन नामों का पैनल भी मांगा गया है। विभागों के प्रभारी वीरेंद्र मदान ने बताया कि नियमित समीक्षा के साथ निष्क्रिय पदाधिकारियों को चिह्नित करने का काम भी तेजी से हो रहा है।