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पांचवां विश्व रिकॉर्ड बनाने को यूपी के आठ जिलों में एक घंटे में रोपे गए 240 प्रजातियों के 2880 पौधे

लखनऊ सीतापुर बाराबंकी अयोध्या मेरठ गौतमबुद्धनगर बांदा व चित्रकूट में सुबह 10 बजे से 11 बजे के बीच 30-30 प्रजातियों के 12-12 पौधे रोपे गए।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Tue, 28 Jul 2020 07:53 PM (IST)Updated: Wed, 29 Jul 2020 06:03 AM (IST)
पांचवां विश्व रिकॉर्ड बनाने को यूपी के आठ जिलों में एक घंटे में रोपे गए 240 प्रजातियों के 2880 पौधे
पांचवां विश्व रिकॉर्ड बनाने को यूपी के आठ जिलों में एक घंटे में रोपे गए 240 प्रजातियों के 2880 पौधे

लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश सरकार ने मंगलवार को पौधारोपण से जुड़ा पांचवां विश्व रिकॉर्ड अपने नाम करने के लिए एक साथ आठ जिलों में पौधे रोपे। सभी स्थानों पर एक घंटे में 240 प्रजातियों के 2880 पौधे लगाए गए। कोरोना संक्रमण के कारण गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड के परीक्षक यूपी नहीं आ सके। इस कारण अब वीडियो व फोटोग्राफ सहित अन्य साक्ष्य उन्हें भेजे जाएंगे। वहां से जांच-पड़ताल के बाद गिनीज बुक जल्द ही विश्व रिकॉर्ड बनने का सर्टिफिकेट जारी करेगा।

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वन एवं पर्यावरण विभाग इससे पहले चार विश्व रिकॉर्ड अपने नाम दर्ज करा चुका है। पांचवें विश्व रिकॉर्ड के लिए मंगलवार को प्रयास किया गया। विभाग ने लखनऊ, सीतापुर, बाराबंकी, अयोध्या, मेरठ, गौतमबुद्धनगर, बांदा व चित्रकूट में सुबह 10 बजे से 11 बजे के बीच 30-30 प्रजातियों के 12-12 पौधे रोपे। सभी स्थानों पर 15-15 लोगों की टीम इस कार्य के लिए लगाई गई थी।

लखनऊ में पौधारोपण स्थल पर प्रमुख सचिव वन सुधीर कुमार गर्ग व प्रधान मुख्य वन संरक्षण एवं विभागाध्यक्ष राजीव कुमार गर्ग व अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक, सामाजिक एवं कृषि वानिकी डॉ. प्रभाकर दूबे शामिल हुए। टीम ने यहां तय समय से पहले ही पौधारोपण का लक्ष्य पूरा कर लिया। सभी स्थानों पर एक बड़ी घड़ी लगाई गई थी। आठों स्थानों की घडिय़ां एक साथ मिलाई गई थीं।

प्रधान मुख्य वन संरक्षण एवं विभागध्यक्ष राजीव कुमार गर्ग ने बताया कि सभी स्थानों से वीडियो व फोटोग्राफ के साक्ष्य मंगाए गए हैं। इनकी पड़ताल कर इसे गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड कार्यालय भेजा जाएगा। उन्होंने बताया कि विभिन्न लोकेशन पर एक साथ सर्वाधिक प्रजाति के पौधे रोपने का यह पहला रिकॉर्ड होगा। गिनीज बुक ने 150 प्रजातियों का मानक तय किया था। हम लोगों ने 240 प्रजातियों के पौधे लगाए हैं। जो पौधा जिस वातावरण में चल सकता है वही पौधा लगाया गया है। पौधों की प्रजातियों की जांच के लिए बॉटनी के तीन प्रोफेसर भी बुलाए गए थे। सभी की रिपोर्ट गिनीज बुक ऑफिस भेज दी जाएगी।

अब तक चार रिकॉर्ड हो चुके हैं दर्ज

  • 1. 31 जुलाई 2007- एक दिन में एक करोड़ पौधारोपण
  • 2. सात नवंबर 2015- दस स्थानों पर आठ घंटे में 10 लाख से अधिक पौधों का वितरण
  • 3. 11-12 जुलाई 2016- चौबीस घंटे में 5.041 करोड़ पौधारोपण
  • 4. नौ अगस्त 2019-प्रयागराज में सर्वाधिक 76,824 पौधों का वितरण

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