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कोरोना ने भारतीय चिकित्सा पद्धति के महत्व का अहसास कराया, लोग मांग रहे सिर्फ काढ़ा: योगी आदित्यनाथ

Indian Medical System मुख्यमंत्री ने कहा कि आज के दौर में आयुर्वेद से भावनात्मक लगाव बनाना आवश्यक है। जब तक किसी काम को मिशन मोड में ना लिया जाए तब तक उद्देश्य को प्राप्त नहीं किया जा सकता है।

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Mon, 04 Jan 2021 02:39 PM (IST)Updated: Mon, 04 Jan 2021 02:39 PM (IST)
कोरोना ने भारतीय चिकित्सा पद्धति के महत्व का अहसास कराया, लोग मांग रहे सिर्फ काढ़ा: योगी आदित्यनाथ
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आयुष विभाग के चिकित्सकों को नियुक्त पत्र प्रदान करने के साथ ही संबोधित भी किया

लखनऊ, जेएनएन। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को अपने सरकारी आवास पर आयुष विभाग के चिकित्सकों को नियुक्त पत्र प्रदान करने के साथ ही वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से संबोधित भी किया। इस अवसर पर उन्होंने भारतीय चिकित्सा पद्धति पर प्रकाश डाला।

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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ इस अवसर पर आयुष विभाग के मंत्री डॉ. धर्म सिंह सैनी तथा अपर मुख्य सचिव चिकित्सा शिक्षा भी मौजूद थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज के दौर में आयुर्वेद से भावनात्मक लगाव बनाना आवश्यक है। जब तक किसी काम को मिशन मोड में ना लिया जाए, तब तक उद्देश्य को प्राप्त नहीं किया जा सकता है। आज प्रदेश में पिछले 25 वर्ष में आयुष विभाग की सबसे बड़ी नियुक्ति प्रक्रिया को पूर्ण किया गया है। अब आप सब की जिम्मेदारी है कि अपने काम को मिशन मोड में अंजाम दें। कोरोना वायरस संक्रमण के काल में आयुर्वेद के साथ होम्योपैथ चिकित्सा ने बड़ी भूमिका अदा की है। इस दौर में लोगों को काढ़ा का महत्व समझ में आया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि अगर नवचयनित आयुर्वेदिक के साथ होम्योपैथिक चिकित्साधिकारी परंपरागत चिकित्सा पद्धतियों के लिए बेहतर काम करेंगे तो जन कल्याण के लिए एक बड़ा मार्ग प्रशस्त होगा। इसके साथ ही प्रदेश में योग एंड वेलनेस सेंटर को हेल्थ टूरिज्म का एक नया डेस्टिनेशन बनाया जा सकता है। प्रदेश में आज 142 वेलनेस सेंटर्स का लोकार्पण किया जा रहा है। इन सेंटर्स पर तैनात होने वाले सभी नवचयनित चिकित्सक आयुष को मिशन की तरह स्वीकार करें तथा पूरी ईमानदारी से कार्य करें। इसके लिए उनके कार्यों की समय-समय पर समीक्षा होगी।

सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को धन्यवाद देना चाहता हूं कि उन्होंने आयुष मिशन को अभियान के रूप में लेते हुए दिल्ली में पहले आयुष विश्वविद्यालय की स्थापना की एवं आयुष मंत्रालय का गठन कर इस विद्या के प्रोत्साहन के लिए भारत के हर कोने में अनेक कार्यक्रम शुरू किए। आयुष मिशन भारत की परंपरागत चिकित्सा पद्धति को प्रेरित एवं प्रोत्साहित करने का सबसे अच्छा माध्यम है। वैश्विक महामारी कोरोना ने पूरी दुनिया को भारत की परम्परागत चिकित्सा विद्या के बारे में सोचने को मजबूर किया है। प्रदेशवासियों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने हेतु आज 142 योग वेलनेस सेंटर्स एवं आयुष टेलीमेडिसिन योजना के शुभारम्भ के साथ आयुष विभाग के नवचयनित 1,065 आयुर्वेदिक एवं होम्योपैथिक चिकित्साधिकारियों को नियुक्ति पत्र प्रदान किया जा रहा है। जन स्वास्थ्य में सुधार एवं रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि के उद्देश्य से भारत में योग को जनसमान्य तक पहुंचाने का प्रयास किया जा रहा है। इसी कड़ी में प्रदेश की जनता को समॢपत 142 योग वेलनेस सेंटर्स का उद्घाटन किया जा रहा है। इसके साथ प्रदेशवासियों को आयुर्वेद के माध्यम से चिकित्सकीय सेवाएं उपलब्ध कराने के लिए आयुष टेलीमेडिसिन सेवा का शुभारंभ किया जा रहा है। इसके माध्यम से नागरिकों को घर बैठे आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति में पारंगत विशेषज्ञों से परामर्श मिल सकेगा।  


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