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एक म‍िनट बचाने को दांव पर लगा दी बच्‍चों की जान, वैन-बस भ‍िड़त में चार जख्‍मी Lucknow News

चालक की लापरवाही से बच्‍चों की जान पड़ गई आफत में। सभी घायल स‍िव‍िल में भर्ती।

By Anurag GuptaEdited By: Published: Mon, 15 Jul 2019 08:49 AM (IST)Updated: Mon, 15 Jul 2019 04:46 PM (IST)
एक म‍िनट बचाने को दांव पर लगा दी बच्‍चों की जान, वैन-बस भ‍िड़त में चार जख्‍मी Lucknow News
एक म‍िनट बचाने को दांव पर लगा दी बच्‍चों की जान, वैन-बस भ‍िड़त में चार जख्‍मी Lucknow News

लखनऊ, जेएनएन। गोमतीनगर स्थित समता मूलक चौराहे पर बच्‍चोंं को लेकर जा रही स्‍कूली वैन की टक्‍कर बस से हो गई। इस हादसे में ड्राइवर और तीन बच्‍चे बुरी तरह जख्‍मी हो गए। घटना सोमवार सुबह की है जब गोमती नगर नगर स्थित महाराजा अग्रसेन स्कूल के बच्चे प्राइवेट वैन से स्‍कूल जा रहे थे। हादसा वैन चालक की जल्‍दबाजी के चलतेे हुुुआ।  

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विराट खंड निवासी वैन चालक शाहरुख पुुुुत्र रईस लेखराज से च‍िड़‍ियाघर की तरफ बच्‍चों को लेने जा रहा था। इस दौरान वैन में चार बच्‍चे सवार थे। वैन चालक शाहरुख ने एक म‍िनट बचाने के चक्‍कर में वैन को उल्‍टी द‍िशा में मोड़ द‍िया। जल्‍दबाजी में समतामूलक चौराहे से रांग साइड जाने के कारण दूसरी तरफ से आ रही बस की वैन से सीधी टक्‍कर हो गई। इसमें ड्राइवर और तीन बच्‍चों को गंभीर चोट आई है। पुलिस ने राहगीरों की मदद से घायल बच्‍चों को सिविल अस्पताल में भर्ती कराया। 

घायल बच्चों में सहाना, शिवानी और  अनुराग यादव हैं। इसमें शिवानी और  अनुराग भाई बहन हैं। सहाना 11वीं की और शिवानी पांचवी कक्षा की छात्रा हैं। वैन में कुल 4 बच्चे सवार थे।

 

वैन चालक को कुल 10 बच्‍चों को लेकर जाना था। वैन चालक शाहरुख के नाक पर चोट आई है।  स्कूल प्रशासन प्रति बच्चे का दो हजार रुपये वैन का चार्ज लेते हैं। स्कूल वैन इंदिरानगर निवासी सुशील यादव की है। यह वैन शाहरुख प‍िछले डेढ़ साल से चला रहा है।

घायल बच्‍चों का हाल जानने के ल‍िए डीएम कौशल राज शर्मा अस्‍पताल पहुंचे। उन्‍होंने बच्‍चों से उनका हालचाल ल‍िया और हादसे के बारे में पूछा। वहीं घायल बच्‍चों को देखने के ल‍िए स्‍कूल प्रशासन की ओर से क‍िसी के न आने के कारण परिजनों में आक्रोश है। परिवारीजनों ने स्‍कूल वालों पर संवेदनहीनता का आरोप लगाया। 

अनट्रेंड हाथों में स्कूली वैन की कमान
शहर के स्कूलों में बच्चों को लाने-ले जाने वाली स्कूली वैन के अधिकतर चालक अनट्रेंड है। यह जल्दबाजी के चक्कर में स्पीड और दिशा का ध्यान नहीं रखते और बच्चों की जान जोखिम में डाल रहे हैं। सोमवार को हुए हादसे में भी यही प्रमुख कारण रहा। हर बार प्रशासन स्कूली बच्चों की सुरक्षा के नाम पर अभियान चलाने की बात करती है। रस्म अदायगी होती है, फ‍िर सब ठंडे बस्ते में चला जाता है। कई बार की कवायद के बाद भी अभी बड़ी संख्या में स्कूली वाहनों की स्टेयरिंग अनट्रेंड  हाथों में है।

इनके जज्बे को सलाम
सोमवार सुबह 6.45, स्थान समता मूलक चौराहा। जोर की आवाज से हर कोई ठहर गया। रॉंग साइट से आ रही वैन रोडवेज बस से लड़ गई थी। वैन में सवार बच्चे खून से लथपथ थे, लेकिन वहां से गुजरने वालों की संवेदनहीनता भी झलक रही थी। कोई कार से अपने बच्चे को स्कूल छोडऩे जा रहा था और इतना ही पूछा कि क्या हो गया? और तमाशबीन बनकर आगे बढ़ गए। मॉर्निंग वॉक पर जा रहे अमीनाबाद गड़बड़झाला के व्यापारी प्रियांक गुप्ता ने अपनी मोटर साइकिल रोकी और अपनेे परिचित बलवीर सिंह मान को फोन किया जो लोहिया पार्क में वॉक कर रहे थे। बलबीर भी तुरंत मौके पर पहुंच गए। घायल बच्चों को अस्पताल पहुंचाने के लिए कार वालों की मदद मांगी, लेकिन कोई भी नहीं रुका। इसके बाद दोनों ने अपनी अपनी मोटर साइकिल पर घायल बच्चों को बैठाया और फिर सिविल अस्पताल ले आए। अपने परिचित अरविंद कोहली को भी अस्पताल में बुला लिया और घायल बच्चों के घर वालों को मोबाइल फोन पर सूचना दी। इलाज कराने के बाद ही यह लोग वापस हुए। 


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