सैनिक स्कूल में सातवीं के छात्रों से Ragging, सीनियरों ने पीटा
एक छात्र के पिता ने दी तहरीर, पुलिस ने मामूली धारा में दर्ज किया मामला। प्रधानाचार्य पर लगाया कार्रवाई न करने का आरोप।
लखनऊ, जेएनएन। भारतीय सेना को 900 से अधिक सैन्य अफसर देने वाले कैप्टन मनोज कुमार पांडेय यूपी सैनिक स्कूल में दो सीनियर छात्र कैडेटों ने कक्षा सात में पढ़ रहे जूनियर छात्र कैडेटों की रैगिंग कर दी। गमला उठाने से मना करने पर रात 12 बजे सीनियर छात्र कैडेटों ने पूरी क्लास को लाइन में खड़ा कर दिया और एक दर्जन जूनियर छात्रों की बेरहमी से पिटाई कर दी।
चेहरे पर तमाचे के निशान छप गए तो कई की जांघ पर लात व बेल्ट की पिटाई से जख्म हो गया। पीएसी में तैनात एक छात्र कैडेट के पिता सरोजनीनगर पुलिस थाना में मामला दर्ज कराने के लिए तहरीर दी। आरोप है कि पुलिस ने मामूली धाराओं में मामला दर्ज किया। वहीं, अभिभावक ने स्कूल के प्रधानाचार्य पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाया है।
पीएसी बटालियन 32वीं वाहिनी में तैनात एक जवान के बेटे ने इस साल सैनिक स्कूल की सातवीं कक्षा में दाखिला लिया है। वह स्कूल परिसर स्थित पंत हॉस्टल में रहता है। जवान के मुताबिक शुक्रवार आधी रात बेटे को 11वीं कक्षा के दो छात्र कैडेटों ने रात 12 बजे उनके बेटे सहित कक्षा सात के सभी छात्र कैडेटों को एक पंक्ति में खड़ा (फॉलेन) कराया। इस बीच दो सीनियरों ने बेटे समेत कई अन्य छात्रों से गाली-गलौज की और कहा कि तुम लोगों से गमले उठाने के लिए कहा गया था। इसके बाद भी तुमने गमले नहीं उठाए इसका तुम्हे खामियाजा भुगतना पड़ेगा। इतना कहते ही बेटे समेत उसके साथियों को थप्पड़ों और लाठियों से उनको पीटा गया। बेटे और उसके साथी रोने लगे।
नहीं हुई शिकायत पर कार्रवाई
जवान का आरोप है कि बेटे ने स्कूल के प्रधानाचार्य कर्नल अमित चटर्जी से अगले दिन इसकी शिकायत की। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। शनिवार को जवान जब बेटे से मिलने स्कूल आया तो वह फूट-फूटकर रोने लगा। जवान बेटे को घर ले आया। शिकायत को पुलिस ने टरका दिया। पुलिस ने बेटे समेत उसके साथियों का लोकबंधु अस्पताल में मेडिकल कराया। जहां गंभीर चोटों की पुष्टि हुई। हालांकि इंस्पेक्टर सरोजनीनगर त्रिलोकी सिंह के मुताबिक मामला मारपीट का है। रैगिंग का नहीं।
यहां भी हुई चूक
कक्षा समाप्त होने के बाद छात्र कैडेटों की सुरक्षा के लिए मास्टर ऑन डयूटी कभी नहीं रहती है। मास्टर ऑन डयूटी का दायित्व हॉस्टल में उपलब्ध रहने की है। वहीं अभिभावकों का आरोप है कि प्रधानाचार्य कभी हॉस्टल नहीं आते हैं। छात्र कैडेटों से उनकी समस्या नहीं सुनते हैं। पहले भी कई घटनाएं हुई लेकिन प्रधानाचार्य ने आज तक कोई सख्त कार्रवाई नहीं की।
पुलिसिया व्यवहार से आहत पिता
पीडि़त छात्र के पिता पुलिस की कार्रवाई से आहत हैं। उनका आरोप है कि वह रैगिंग समेत मारपीट की तहरीर लेकर सरोजनीनगर थाने पहुंचे। वहां मुंशी ने कहा कि यहां सिर्फ एनसीआर दर्ज होगी। रैगिंग का मुकदमा दर्ज करना है तो कोर्ट जाओ वहीं से उसकी विवेचना कराना।
यूपी सैनिक स्कूल के प्रधानाचार्य कर्नल अमित चटर्जी ने कहा कि जूनियर छात्रों के साथ मारपीट किए जाने की शिकायत मिली है। इस मामले की जांच के लिए बोर्ड गठित कर दिया गया है। जांच के बाद रिपोर्ट आने पर ही कुछ बताया जा सकेगा।