पालिका के सैकड़ों ठेका श्रमिकों की पगार पर चली कैंची
ठेका कर्मचारियों का काटा गया दो हजार रुपये मानदेय। बजट कम आने की बात कह रहे पालिका के जिम्मेदार।
लखीमपुर: भीषण कोरोना काल में कड़ी मेहनत से काम करने वाले नगरपालिका के करीब आठ सौ श्रमिकों की पगार पर कैंची चल गई है। मात्र छह हजार रुपया पाने वाले इन मजदूरों की पगार से दो हजार रुपये काटने का हुक्म हुआ है। बताया ये गया है कि ऐसा बजट कम आने से हुआ है। इस बात को लेकर ठेके पर काम करने वाले सफाई कर्मी, पंप ऑपरेटर, ड्राइवर, पार्क कर्मचारियों में बेहद रोष है।
पिछले दो महीने से कड़ी मेहनत कर शहर भर में सफाई व्यवस्था दुरुस्त करने वाले सफाई कर्मचारी, पंप ऑपरेटर समेत करीब आठ सौ ठेका कर्मचारियों के पावों तले जमीन उस वक्त खिसक गई जब कुल जमा छह हजार पाने वाले इन कर्मचारियों को ये पता चला कि उनको इस बार दो हजार रुपये कटकर ही मिलेगा। इस पैसे की भरपाई कब और कैसे होगी? ये भी कोई ठीक से बताने वाला नहीं है। इन कर्मचारियों का कहना है कि कंटेनमेंट जोन में बल्ली लगाने व खोलने से लेकर कोरोना संक्रमित इलाकों में वृहद सैनेटाइजेशन जैसा खतरनाक दायित्व उन्होंने पूरी मेहनत से निभाया है। उसके बाद भी उनके साथ ये कटौती की गई है। ऐसे में उनके परिवारों के सामने गंभीर आर्थिक संकट खड़ा हो गया है। दिलचस्प है कि बजट कम मिलने पर शासन का ये निर्देश भी था कि कटौती की ये धनराशि 14वें वित्त के बजट से पूरी कर ली जाए पर ऐसा कहीं हुआ नहीं। एक नजर ठेका कर्मचारियों की संख्या पर सफाई कर्मचारी- 350
पंप ऑपरेटर- 90
पार्क केयर टेकर- 35
माली- 20
ड्राइवर-हेल्पर - 90 संविदाकर्मी- 120 जिम्मेदार की सुनिए
इस बार राज्य वित्त से बजट कम मिलने से कटौती की गई है। काटा गया ये पैसा उनको दिया जाएगा। किसी भी ठेका या संविदा श्रमिक की पगार काटी नहीं जाएगी। निरुपमा वाजपेयी मौनी
अध्यक्ष, नगरपालिका परिषद