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घाघरा के किनारे लगता है जिले का सबसे बड़ा मेला

ईसानगर (लखीमपुर) : घाघरा नदी के तट पर लगने वाला जिले का सबसे बड़ा मेला सजना शुरू हो गया है। यह ठुठवा

By JagranEdited By: Published: Mon, 19 Nov 2018 11:08 PM (IST)Updated: Mon, 19 Nov 2018 11:08 PM (IST)
घाघरा के किनारे लगता है जिले का सबसे बड़ा मेला
घाघरा के किनारे लगता है जिले का सबसे बड़ा मेला

ईसानगर (लखीमपुर) : घाघरा नदी के तट पर लगने वाला जिले का सबसे बड़ा मेला सजना शुरू हो गया है। यह ठुठवा मेला, कतिकी मेला और गंगा स्नान के नाम से मशहूर है। एसडीएम आलोक मिश्र व मेला प्रभारी हनुमंत तिवारी व अन्य राजस्व कर्मी नदी घाट पर जाकर निरीक्षण किया। घाघरा नदी के तट पर मेला इस बार भी राजापुर गांव के पास ही लगेगा। मेले में सीतापुर, बहराइच, पीलीभीत, शाहजहांपुर सहित कई जिलों से लोग आते हैं। इस मेले की जगह ईसानगर और धौरहरा के हलवाई तय करते हैं। कार्तिक पूर्णिमा को लगने वाले इस मेले का इंतजार साल भर तक लोगों को रहता है। मेले में घर-गृहस्थी की दुकानें तो सजती ही हैं, साथ ही खेल तमाशों की दुकानें भी सजती हैं। मेले की शुरुआत से अब तक मेला स्थल का चयन ईसानगर और धौरहरा के हलवाई ही करते हैं। इस बार भी मेला राजापुर गांव के पास लग रहा है। प्रशासन ने मौके पर जाकर निरीक्षण किया। दूर-दराज से आए दुकानदारों ने दुकानें सजाना शुरू कर दिया है। यह मेला करीब पांच दिनों तक चलता है। कतिकी के दिन नदी में स्नान और पूजा के बाद लोग मेले में जरूरत का सामान खरीदते हैं।

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