गुरु पूर्णिमा पर पूजन-अर्चन कर प्रसाद वितरित
गुरु पूर्णिमा पर गुरु भगवान का पूजन-अर्चन कर यथार्थ टीम कसया द्वारा शुक्रवार को प्रसाद वितरण किया गया। इस दौरान मानव जीवन में गुरु की महत्ता विषय पर चर्चा की गई
कुशीनगर : गुरु पूर्णिमा पर गुरु भगवान का पूजन-अर्चन कर यथार्थ टीम कसया द्वारा शुक्रवार को प्रसाद वितरण किया गया। इस दौरान मानव जीवन में गुरु की महत्ता विषय पर चर्चा की गई। अपने संबोधन में सेवानिवृत प्रवक्ता पंडित राम अशीष शुक्ल ने कहा कि आषाढ़ पूर्णिमा को गुरु पूर्णिमा के रुप में मनाया जाता है। कहा जाता है कि आषाढ़ पूर्णिमा को आदि गुरु वेद व्यास का जन्म हुआ था। उनके सम्मान में ही इसका आयोजन होता आ रहा। कहा कि गुरु पूर्णिमा के चंद्रमा की तरह हैं, जो पूर्ण प्रकाशमान हैं और शिष्य आषाढ़ के बादलों की तरह। आषाढ़ में चंद्रमा बादलों से घिरा रहता है। उस घिरे वातावरण में प्रकाश जगा सके, वही गुरु पद की श्रेष्ठता है। जीवन में गुरु और शिक्षक के महत्व को आने वाली पीढ़ी को बताने के लिए यह पर्व आदर्श है। बृषभान दुबे ने कहा कि अगर आप के पास गुरु नहीं है, तो भगवान नाम की कोई वस्तु आप के लिए सुलभ नहीं होगा। लवकुश पांडेय ने कहा कि गुरु पूर्णिमा अंधविश्वास के आधार पर नहीं बल्कि सछ्वाव से मनाना चाहिए। गुरु का आशीर्वाद सबके लिए कल्याणकारी व ज्ञानवर्द्धक होता है। इसलिए इस दिन गुरु पूजन के उपरांत गुरु का आशीर्वाद प्राप्त करना चाहिए।
इस अवसर पर बलिन्द्र यादव, नंद किशोर राय, पुरुषोत्तम तिवारी, मिस्त्री ¨सह, सुभाष राव, रवीश तिवारी, राम सनेही आदि ने परमहंस स्वामी श्री अडगड़ानंदजी महाराज की प्रतिमा को माल्यार्पण कर तथा पुष्प अर्पित कर प्रसाद वितरण किया।