पर्ची मिली नहीं, खेत में सूख रहा गन्ना
माफिया फर्जी नाम से सैकड़ों एकड़ गन्ने का सर्वे कराकर नियमित पर्ची जारी कराने और भुगतान लेने में सफल हैं।
कुशीनगर: रामकोला चीनी मिल में पेराई शुरू हुए तीन माह बीत गए, लेकिन पर्ची की समस्या का समाधान नहीं हो सका है। खेत में खड़ा गन्ना सूख रहा है, किसान चितित हैं कि मेहनत व पूंजी पर संकट खड़ा होने वाला है। रामकोला चीनी मिल परिक्षेत्र के खजुरिया, मिठहां माफी, ढोरही, सरपतही, पटेरा, चितहां, पुरंदर छपरा, चौरी टोला, अकबरपुर, जड़हा, पटेरा आदि गांवों के जयंत राय, फेकू गुप्ता, सुरेश कुशवाहा, सत्यप्रकाश मिश्र, उमाशंकर मिश्र, रामचंद्र, पारसनाथ विश्वकर्मा, महंथ कुशवाहा, राजेंद्र प्रसाद आदि किसानों का आरोप है कि गन्ना माफिया को मनमानी पर्ची जारी हो रही है। किसानों की विवशता का लाभ उठा माफिया औने-पौने दाम पर गन्ना खरीद मालामाल हो रहे हैं। लचर प्रशासनिक व्यवस्था, किसानों के प्रति सरकारी उपेक्षा व चीनी मिल प्रबंधन की गलत नीतियों के चलते किसान भटक रहे हैं। कहा कि सर्वे से लेकर टिकट सप्लाई की दुर्व्यवस्था किसी से छिपी नहीं है। माफिया फर्जी नाम से सैकड़ों एकड़ गन्ने का सर्वे कराकर नियमित पर्ची जारी कराने और भुगतान लेने में सफल हैं। मेहनत व गाढ़ी कमाई फंसाने वाले किसान पर्ची के लिए दर-दर भटक रहे हैं। जिला गन्ना अधिकारी वेदप्रकाश सिंह ने कहा कि कैलेंडर के हिसाब से पर्ची जारी की जा रही है। भेदभाव का आरोप निराधार है।