माननीयों के बाद दागी कर्मियों पर भी कसेगा शिकंजा
जिला पंचायत में नियुक्ति को लेकर भ्रष्टाचार के आरोप में कपिल मुनि व मधुपति समेत चार पर मुकदमे के बाद अब भर्ती हुए दागी कर्मचारियों पर शिकंजा कसने की तैयारी कर ली है। सीडीओ के निर्देश पर जिला पंचायत की ओर से कानूनी कार्रवाई की कवायद तेज कर दी गई है।
जासं, कौशांबी : जिला पंचायत में नियुक्ति को लेकर भ्रष्टाचार के आरोप में कपिल मुनि व मधुपति समेत चार पर मुकदमे के बाद अब भर्ती हुए दागी कर्मचारियों पर शिकंजा कसने की तैयारी कर ली है। सीडीओ के निर्देश पर जिला पंचायत की ओर से कानूनी कार्रवाई की कवायद तेज कर दी गई है।
वर्ष 2004-05 में तत्कालीन जिला पंचायत अध्यक्ष कपिल मुनि करवरिया के कार्यकाल में नियुक्तियां हुई थीं। उसमें फर्जीवाड़ा किया गया था। इसके बाद वर्ष 2009 में तत्कालीन जिला पंचायत अध्यक्ष मधुपति के समय में भी नियुक्तियां निकाली गईं। इसमें भी भ्रष्टाचार किया गया। वर्ष 2013 में दर्जन भर से अधिक अभ्यर्थियों ने शासन से शिकायत कर नियुक्तियों की जांच कराने के निर्देश दिए। विशेष सचिव बृजनंदन लाल ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच एसपी सतर्कता अधिष्ठान प्रयागराज को सौंपी। जांच के दौरान दोनों मामले का पर्दाफाश हुआ कि वर्ष 04-05 में चार पदों की भर्ती विज्ञापित कराई गई थी लेकिन आठ लोगों को नियुक्त किया गया था। भ्रष्टाचार करने में चयन समिति में कपिलमुनि करवरिया, अपर मुख्य अधिकारी अजय कुमार राय समेत दो सदस्य सुशीला व श्रीपाल शामिल रहे। अजय कुमार राय की मृत्यु हो जाने के कारण कपिल मुनि समेत दो अन्य सदस्यों के खिलाफ केस दर्ज किया गया। वहीं वर्ष 09 में हुई भर्ती में नौकरी प्राप्त कर चुके दो कर्मचारियों की कक्षा आठ पास की टीसी फर्जी पाई गई। इस आधार पर मधपुति के खिलाफ कार्रवाई कराई गई। अब वर्ष 09 में नौकरी प्राप्त किए कर्मचारी देवानंद निवासी नीमसराय प्रयागराज व मनोज मौर्य निवासी करन चौराहा सरायअकिल के खिलाफ जिला पंचायत के अफसर कार्रवाई की कवायद में जुट गए हैं। वर्ष 09 में फर्जी तरीके से नौकरी प्राप्त करने वाले मनोज मौर्य ने वर्ष 2010 में इस्तीफा दे दिया था। जबकि देवानंद नौकरी कर रहा है। मुख्य विकास अधिकारी ने कार्रवाई के लिए निर्देश कर दिया है। दोनों कर्मचारियों के खिलाफ भी फर्जीवाड़ा का मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।
- अखिलेश्वर मल, अवर अभियंता, जिला पंचायत।