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गरीबों को नहीं मिल पा रहा डिजिटल एक्सरे का लाभ

जासं, कौशांबी : मुख्यालय मंझनपुर स्थित संयुक्त जिला अस्पताल में डिजिटल एक्सरे सेवा चालू भले ही कर दी गई हो लेकिन गरीबों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है। फिल्म न होने की वजह से एंड्रायड वाले मरीजों का ही डिजिटल एक्सरे हो पा रहा है। फिल्म के लिए सीएमएस ने रिमाइंडर भी स्वास्थ्य विभाग के आला अफसरों को भेजा है लेकिन अब तक स्थिति जस की तस बनी हुई है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 25 Jan 2019 11:20 PM (IST)Updated: Fri, 25 Jan 2019 11:20 PM (IST)
गरीबों को नहीं मिल पा रहा डिजिटल एक्सरे का लाभ
गरीबों को नहीं मिल पा रहा डिजिटल एक्सरे का लाभ

जासं, कौशांबी : मुख्यालय मंझनपुर स्थित संयुक्त जिला अस्पताल में डिजिटल एक्सरे सेवा चालू भले ही कर दी गई हो लेकिन गरीबों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है। फिल्म न होने की वजह से एंड्रायड वाले मरीजों का ही डिजिटल एक्सरे हो पा रहा है। फिल्म के लिए सीएमएस ने रिमाइंडर भी स्वास्थ्य विभाग के आला अफसरों को भेजा है लेकिन अब तक स्थिति जस की तस बनी हुई है।

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संयुक्त जिला अस्पताल में गरीबों को बेहतर व निश्शुल्क स्वास्थ्य सुविधा देने के लिए हाईटेक मशीनें लगाई गई हैं। हार्मोन एनालाइजर से लेकर सीटी स्कैन, एक्सरे व अल्ट्रासाउंड आदि की व्यवस्था है। माह भर पहले डिजिटल एक्सरे को भी इंस्टॉल कर दिया गाय है। डिजिटल एक्सरे के जरिए मर्ज को पकड़ने में चिकित्सकों के लिए काफी आसानी हो गई है। हर दिन 50 से 60 मरीजों का डिजिटल एक्सरे हो रहा है लेकिन गरीबों को इसका बेहतर लाभ नहीं मिल पा रहा है। डिजिटल एक्सरे इंस्टॉल तो कर दिया गया है लेकिन अब तक फिल्म उपलब्ध नहीं हो पाई है। जबकि जिस समय डिजिटल एक्सरे इंस्टॉल किया गया था, उस दौरान सीएमएस ने विभागीय आला अफसरों को फिल्म भेजवाने के लिए पत्र भी लिखा था। पखवारा भर पहले उन्होंने रिमाइंडर भी भेजा। ऐसी परिस्थिति में जिन मरीजों के पास एंड्रायड मोबाइल नहीं है, उनका एक्सरे तो कर लिया जा रहा है लेकिन रिपोर्ट नहीं मिल पा रही है। एक्सरे के बाद कंप्यूटर पर दिखाई देने वाले शरीर के अंग का मोबाइल से फोटो खींचा जा रहा है। इसी के आधार पर चिकित्सक अपनी रिपोर्ट तैयार करते हैं। जिन मरीजों के पास एंड्रायड सेट नहीं है, उन्हें यह कहकर वापस कर दिया जाता है कि टच वाला मोबाइल लेकर आएं। नतीजतन गरीब मरीजों को बिना रिपोर्ट के ही उल्टे पैर लौटना पड़ता है। शुक्रवार को भी पश्चिम शरीरा के मोतीलाल और पौर कांशीराम महेवाघाट की बेलाकली आईं, जिनका डिजिटल एक्सरे तो हुआ लेकिन एंड्रायड मोबाइल न होने की वजह से रिपोर्ट नहीं मिल सकी। हर दिन आधा दर्जन से अधिक लोग बिना एंड्रायड मोबाइल के आते हैं और लौट जाते हैं। डिजिटल एक्सरे इंस्टॉल कर दिया गया है। इससे मरीजों को लाभ मिल रहा है। जिनके पास एंड्रायड मोबाइल नहीं है, उनकी रिपोर्ट तैयार करने में थोड़ा परेशानी आ रही है। फिल्म के लिए आला अफसरों को पत्र लिखा गया है। रिमाइंडर भी भेजा गया है। फिल्म मिलते ही बिना मोबाइल के ही फिल्म व रिपोर्ट सभी को मिलने लगेगी।

- डॉ. दीपक सेठ, सीएमएस जिला अस्पताल।


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