सर्वे में लापरवाही से कई मुहल्लों का नहीं विद्युतीकरण
गांव व उनके मजरों का विद्युतीकरण करके घर-घर कनेक्शन देने के लिए चार साल पहले सर्वे हुआ था। उस सर्वे में लापरवाही हुई थी। कर्मचारियों ने सर्वे के दौरान कई मजरों को छोड़ दिया था। इसकी वजह से गांव के लोगों को चिराग की रोशनी में रात गुजारनी पड़ रही है। अब इसको लेकर ग्रामीणों ने अपना विरोध जताना शुरू कर दिया है।
जासं, कौशांबी : गांव व उनके मजरों का विद्युतीकरण करके घर-घर कनेक्शन देने के लिए चार साल पहले सर्वे हुआ था। उस सर्वे में लापरवाही हुई थी। कर्मचारियों ने सर्वे के दौरान कई मजरों को छोड़ दिया था। इसकी वजह से गांव के लोगों को चिराग की रोशनी में रात गुजारनी पड़ रही है। अब इसको लेकर ग्रामीणों ने अपना विरोध जताना शुरू कर दिया है।
जिले के गांव व मजरों को रोशन करने के लिए बीते एक दशक में पंडित दीन दयाल ग्राम ज्योति योजना और राजीव गांधी विद्युतीकरण योजना चलाई गई। इसके बाद भी लापरवाही का आलम रहा कि अब तक करीब एक दर्जन मजरों का विद्युतीकरण नहीं हुआ। सर्वे के दौरान अधिकारियों ने लापरवाही करते हुए इन्हें शामिल ही नहीं किया। ऐसे में इन गांव के लिए कोई योजना ही नहीं बनी। विभागीय अधिकारियों ने ठेका देकर काम शुरू कराया तो लोगों की आस जगी की विद्युतीकरण कराया जाएगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। जब लोगों ने पड़ताल की तो जानकारी मिली कि उनके गांव को विद्युतीकरण योजना में शामिल ही नहीं किया गया। सर्वे के दौरान ही उनका गांव छूट गया। ऐसे में अब लोगों ने इसका विरोध किया है। उन्होंने गांव का विद्युतीकरण योजना में शामिल किए जान की मांग की है। इन गांव का नहीं हुआ विद्युतीकरण
नेवादा विकास खंड का मजरा लोहारन का पुरवा, कुम्हारन का पुरवा, सिराथू का रूप नारायणपुर गोरियों गांव का कुछ हिस्सा सर्वे में छूट गया। इसके साथ ही नेवादा ब्लाक के नंदा का पुरवा गांव जिले का एक ऐसा गांव है जहां आज तक विद्युतीकरण नहीं किया गया। इस गांव में साथ ही मजरे को भी विद्युतीकरण योजना में शामिल नहीं किया। जिन गांव व मजरे का विद्युतीकरण नहीं हुआ है। वहां विद्युतीकरण कराया जाएगा। जिस कंपनी को ठेका मिला है। वह अभी काम कर रही है। पूर्व में कई ऐसे गांव थे जो सर्वे में छूटे थे। वहां काम कराया जा रहा है। इन गांव में भी विद्युतीकरण होगा।
- एसके श्रीवास्तव, अधीक्षण अभियंता, कौशांबी