नहीं फला दुर्गादेवी कॉलेज का प्रबंधन पद, हारे चुनाव
कौशांबी। पिछले कुछ सालों से वाचस्पति दंपती लगातार उन्नति कर रहा है।
कौशांबी। पिछले कुछ सालों से वाचस्पति दंपती लगातार उन्नति कर रहा है। लेकिन जब से वह ओसा स्थिति दुर्गादेवी इंटर कॉलेज का प्रबंधक बने, राजनीति और प्रापर्टी में उनका नुकसान होने लगा है। प्रबंधक बनने के बाद से वाचस्पति दंपती चुनाव हार रहा है। यह महज एक संयोग हो या कुछ और।
पूर्व विधायक वाचस्पति 15 जुलाई 2016 को ओसा स्थित श्री दुर्गा देवी इंटर कॉलेज के प्रबंधक बने थे। प्रबंधक बनने के बाद उन्होंने वर्ष 2017 में सपा के टिकट पर सिराथू से विधानसभा चुनाव लड़ा। विधानसभा चुनाव में उन्हें पहली बार हार का सामना करना पड़ा। यहां से भाजपा प्रत्याशी शीतला प्रसाद ने जीत हासिल की। इतना ही नहीं प्रदेश में भाजपा की सरकार बनी तो उनकी पत्नी व जिला पंचायत अध्यक्ष रहीं मधुपति के खिलाफ सदस्यों ने बगावती देवर अपनाते हुए अविश्वास पेश कर दिया। उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। इसके बाद दोबारा चुनाव कराए जाने का रास्ता साफ हो गया। चुनाव के पहले ही उन्होंने भाजपा की सदस्यता ले ली, लेकिन इनका यह गणित भी फेल हो गया। मंगलवार को उप चुनाव हुए। जिसमें मधुपति को मात्र आठ मत ही मिले। जबकि विरोधी रहीं अनामिका ¨सह को 20 मत मिले। इससे पहले वह दो बार अध्यक्ष रह चुकी हैं। अपनी पहली हार पर उन्हें गहरा झटका लगा है। इतना ही नहीं इलाहाबाद में इनका जमीन का कारोबार भी विवादों में आ गया है। उसको लेकर इनके खिलाफ कई मुकदमें तक दर्ज हो गए हैं। जिला पंचायत अध्यक्ष पद पर मधुपति की हार के बाद से क्षेत्र में जोरों पर चर्चा है कि वाचस्पति दंपती जबसे दुर्गादेवी इंटर कॉलेज के प्रबंधक का पद संभाला, तबसे नुकसान होने लगा है।