जेल में पेयजल संकट दूर करने को धन अवमुक्त
कौशांबी : जिला जेल में पेयजल संकट झेल रहे बंदी व कैदियों के साथ अफसर और कर्मचारियों की समस्या जल्द ह
कौशांबी : जिला जेल में पेयजल संकट झेल रहे बंदी व कैदियों के साथ अफसर और कर्मचारियों की समस्या जल्द ही खत्म हो जाएगी। जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा ने जिले के फंड से जल निगम विभाग को चार सबमसिर्बल लगवाने के लिए पांच लाख 47 हजार रुपये अवमुक्त कर दिए हैं। जल निगम के इंजीनियरों ने जिला जेल में स्थानों को भी चिह्नित कर लिया है।
जिला कारागार क्षमता से अधिक साढ़े चार बंदियों व कैदियों का बोझ संभाले हुए है। जेल के आवासीय परिसर में तकरीबन डेढ़ सौ पुलिस कर्मी भी निवास कर रहे हैं। ऐसी परिस्थिति में महज एक नलकूप ही लोगों की प्यास बुझाने के लिए स्थापित किया गया है। गर्मी की शुरुआत से ही जेल के बंदियों व कैदियों के अलावा पुलिस कर्मियों में पानी के लिए हाहाकार शुरू हो गया। पेयजल संकट से निजात दिलाने के लिए जेल अधीक्षक ने पत्र के माध्यम से उच्चाधिकारियों को अवगत कराया। इसके बावजूद कोई हल नहीं निकला।
दैनिक जागरण ने जाना बंदियों का दर्द
समाचार को दैनिक जागरण ने 17 मार्च के अंक में प्रमुखता से प्रकाशित किया। डीएम ने जल निगम के अधिशाषी अभियंता को जलसंकट दूर कराने का निर्देश दिया। जल निगम विभाग के इंजीनियरों ने जिला जेल का निरीक्षण किया और सबमसिर्बल के लिए स्थान चिह्नित किया। सर्वे रिपोर्ट जिलाधिकारी को सौंपी।
शीघ्र ही सबमसिर्बल लगवाए जाने के निर्देश
डीएम ने चार सबमसिर्बल लगवाने के लिए पांच लाख 47 हजार रुपये अवमुक्त करते हुए अधिशाषी अभियंता जल निगम को शीघ्र ही सबमसिर्बल लगवाए जाने के निर्देश दिए हैं। माना जा रहा है कि जल निगम विभाग के अफसरों ने इसे गंभीरता से लिया तो पखवारा भर में पानी की समस्या खत्म हो जाएगी।
पेयजल संकट से निजात दिलाने के लिए डीएम ने जल निगम विभाग को धन अवमुक्त करा दिया है। साथ ही इंजीनियरों ने महिला बैरक, बाल बैरक, दो नंबर बैरक व तीन और चार नंबर बैरक के बीच सबमसिर्बल लगवाए जाने के लिए स्थान चिह्नित कर लिया है।
- बीएस मुकुंद, प्रभारी अधीक्षक जिला जेल।