बड़हरी जंगल को बनाया जाए पर्यटन स्थल
तराई क्षेत्र में बसा बड़हरी का जंगल जनपद का सबसे बड़ा जंगल माना जाता है। यह जंगल बड़ा होने के साथ-साथ प्राकृतिक नजारों से भी भरपूर है। करीब पांच किमी के दायरे में फैले इस जंगल को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किए जाने की मांग प्रधान समेत अन्य लोगों ने सरकार से की है।
तराई क्षेत्र में बसा बड़हरी का जंगल जनपद का सबसे बड़ा जंगल माना जाता है। यह जंगल बड़ा होने के साथ-साथ प्राकृतिक नजारों से भी भरपूर है। करीब पांच किमी के दायरे में फैले इस जंगल को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किए जाने की मांग प्रधान समेत अन्य लोगों ने सरकार से की है। साथ ही जंगल में मौजूद भरत नदी को विकसित करने की मांग भी उठाई है।
बड़हरी की प्रधान उमा देवी ने बताया कि बड़हरी का जंगल प्राकृतिक रूप से बेहद धनी है। यहां विभिन्न प्रकार के पौधों के साथ ही कई जीव जंतु हैं। यहां भरत नदी बहती है, जो अब धीरे-धीरे विलुप्त होती जा रही है। इसे बचाने के लिए जंगल को पर्यटक स्थल के रूप में विकसित किया जाए तो क्षेत्र का विकास होगा। बताया कि भरत नदी का महत्व पौराणिक काल से चला आ रहा है। मान्यता है कि यह नदी भरत ने अपनी माता कौशल्या की प्यास बुझाने के लिए बहाई थी। प्रधान समेत गांव के बुजुर्ग लखन पांडेय, अवधेश सिंह, राधेश्याम पांडेय, शिवराम तिवारी, बृजमोहन आदि ने जंगल को पर्यटन स्थल बनाए जाने की मांग करते हुए प्रदेश सरकार को संबोधित पत्र विधायक मंझनपुर लाल बहादुर को सौंपा है।