रामपुर डेरापुर की महिला की भी दर्ज होगी एफआइआर
जागरण संवाददाता कानपुर देहात शुक्रवार को पुलिस कार्यालय में सच का सामना अभियान में एसपी
जागरण संवाददाता, कानपुर देहात : शुक्रवार को पुलिस कार्यालय में सच का सामना अभियान में एसपी ने पांच मुकदमों में विवेचना की प्रगति परखी। रामपुर, डेरापुर की महिला ने दूसरे पक्ष की एफआइआर दर्ज होने व उसका मुकदमा दर्ज न किए जाने का आरोप लगाया। एसपी ने महिला की ओर से भी एफआइआर दर्ज कर गुणदोष के आधार पर कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
माती पुलिस कार्यालय में शुक्रवार को एसपी अनुराग वत्स ने सच का सामना में कुल पांच प्रकरण सुने। थाना डेरापुर क्षेत्र के बिजहरा निवासी प्रभाकांत मारपीट व धमकी के मुकदमें में प्रतिवादी हैं। 13 सितंबर को प्रार्थना पत्र देकर उन्होंने फर्जी मुकदमा लिखाने व विवेचक पर निष्पक्ष कार्रवाई न करने की शिकायत की थी। पुलिस कार्यालय में प्रतिवादी/विवेचक आए। वादी नहीं आयी। प्रतिवादी/विवेचक से अलग-अलग वार्ता की गई। एसपी ने विवेचक को गुण/दोष के आधार विवेचना निस्तारित करने का निर्देश दिया। थाना डेरापुर में दर्ज एक अन्य मारपीट के मुकदमें में प्रतिवादी दिनेश कुमार ने प्रार्थना पत्र देकर फर्जी लिखाये जाने व पुलिस पर निष्पक्ष कार्रवाई न करने की बात कही थी। पुलिस कार्यालय में वादी/ प्रतिवादी/विवेचक सभी आए। एसपी ने अलग-अलग वार्ता की। विवेचक को विवेचना में निष्पक्ष कार्रवाई व गुण/दोष के आधार पर निस्तारण करने को कहा। थाना डेरापुर में घर में घुसकर मारपीट करने में दर्ज मुकदमें में सोनी देवी पत्नी राजबहादुर निवासी रामपुर ने प्रार्थना पत्र दिया था कि प्रतिवादी द्वारा मेरे खिलाफ मुकदमा थाने पर लिखा दिया है। मेरी रिपोर्ट नहीं लिखी जा रही है। शुक्रवार को पुलिस कार्यालय में वादी/प्रतिवादी/विवेचक उपस्थित हुए। अलग-अलग वार्ता की गई। विवेचक को महिला के प्रार्थना पत्र पर मुकदमा दर्ज कर विवेचना करने का निर्देश दिया गया। थाना सिकंदरा में दर्ज मुकदमें में प्रतिवादी अजय उर्फ गुड्डू निवासी जमुवां ने तीन सितंबर को एक प्रार्थना देकर फर्जी दर्ज कराए गए मुकदमे में पुन: विवेचना की मांग की थी। पुलिस कार्यालय में वादी/ प्रतिवादी/विवेचक उपस्थित हुए। विवेचक ने बताया कि साक्ष्य के आधार पर एक वर्ष पूर्व आरोप पत्र कोर्ट में पेश किया जा चुका है। थाना गजनेर में पॉक्सो व एससीएसटी के मुकदमें के वादी ने 14 सितंबर को प्रार्थना पत्र दिया था कि विवेचक/पुलिस सही कार्रवाई नहीं कर रही है। पुलिस कार्यालय में वादी/प्रतिवादी/विवेचक उपस्थित हुए। सभी से अलग-अलग वार्ता की गई। विवेचक को अब तक की गई कार्रवाई के अभिलेख समेत दोबारा उपस्थित होने को कहा गया।