अब दुनिया में बदनाम न होगा कानपुर, चारों दिशाओं से आने वाली हवा की होगी निगहबानी
शहर में दो और ऑटोमेटिक एयर क्वालिटी मॉनीटरिंग स्टेशन को मंजूरी मिल गई है अब छह स्टेशन एकसाथ काम करेंगे।
कानपुर, जेएनएन। देश ही नहीं दुनिया भर में दूषित हवा के लिए बदनाम कानपुर में अब सही स्थिति का आकलन हो सकेगा। अब यहां शहर ही नहीं, बल्कि चारों दिशाओं से आने वाली हवा की निगहबानी आसानी से होगी। इसके लिए केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने दो और ऑटोमेटिक एयर क्वालिटी मॉनीटरिंग स्टेशन को मंजूरी दे दी है। इस तरह पहले से तीन स्टेशनों को मिल चुकी अनुमति व एक पुराने समेत अब कुल छह स्टेशन हर मिनट दूषित हवाओं को लेकर रिपोर्ट आनलाइन करेंगे। इनको स्थापित करने के लिए जगह चिह्नित की जा रही है।
अभी तक सिर्फ नेहरू नगर में ऑटोमेटिक एयर क्वालिटी मॉनीटरिंग स्टेशन से वायु की गुणवत्ता का पता लगाया जा रहा है। वहीं, उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर से आठ जगह मैनुअल तरह से मॉनीटरिंग होती है। करीब दो साल पहले विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने कानपुर को दुनिया का सबसे दूषित शहर करार दिया था, जबकि पिछले साल दिल्ली की संस्था ने कानपुर को प्रदूषित शहरों की श्रेणी में पहले पायदान पर रखा था। इसके बाद उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर से केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को प्रस्ताव भेजा गया था, जिसमें तीन ऑटोमेटिक एयर क्वालिटी मॉनीटरिंग स्टेशन मई में मंजूर हुए थे।
स्थापना को नहीं मिल रही जगह
बोर्ड की ओर से मॉनीटरिंग स्टेशन लगाने के लिए जगह चिह्नित की गई, लेकिन उसका निर्धारण नहीं हो सका। पहले तीन स्टेशनों को आइआइटी, रामादेवी और नवाबगंज के पास लगाया जाना था। क्षेत्रीय अधिकारी डॉ. एसबी फ्रैंकलिन ने बताया कि सरकारी कार्यालयों में स्टेशन स्थापित करने के लिए डीएम को पत्र लिखा गया है। निजी जगह पर लोग स्टेशन बनाने के लिए तैयार नहीं हैं। जगह का चयन होने के बाद केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की टीम आकर मौका मुआयना करेगी।