छापे के समय सतर्क रहें कारोबारी, स्टॉक सूची पर जरूर लिखवाएं अनुमान शब्द Kanpur News
जीएसटी छापे अभिग्रहण व गिरफ्तारी विषय पर हुई गोष्ठी में कारोबारियों को सजा के प्रावधान के बारे में बताया गया।
कानपुर, जेएनएन। छापे के समय बनाई जा रही स्टॉक सूची में कारोबारी को अनुमान शब्द जरूर लिखवाना चाहिए क्योंकि उस मौके पर जीएसटी अधिकारी अनुमान से ही स्टॉक की गणना करते हैं। यह शब्द न लिखने पर मान लिया जाता है कि जो स्टॉक लिखा गया है, वह वास्तविक है। यह बात कानपुर इनकम टैक्स बार एसोसिएशन की जीएसटी छापे, गिरफ्तारी विषय पर आयोजित गोष्ठी में टैक्स सलाहकार संतोष कुमार गुप्ता ने कही।
एक करोड़ से अधिक कर अपवंचना पर ही गिरफ्तारी
सिविल लाइंस स्थित आयकर भवन में आयोजित गोष्ठी में उन्होंने कहा कि जिस समय छापा मारा जाता है, कारोबारी सतर्क रहें। छापे में एक करोड़ रुपये से अधिक की कर अपवंचना मिलने पर आयुक्त की अनुमति से ही कारोबारी को गिरफ्तारी हो सकती है। एक करोड़ से दो करोड़ के बीच कर अपवंचना पर एक वर्ष की सजा, दो करोड़ से पांच करोड़ तक कर अपवंचना पर तीन वर्ष की सजा और पांच करोड़ रुपये से अधिक की कर अपवंचना पर पांच वर्ष की सजा का प्रावधान है। जेल भेजने के साथ उन पर आर्थिक दंड लग सकता है। कूटरचित, गलत वित्तीय अभिलेख और सूचनाएं देने पर छह माह की सजा हो सकती है।
कार्रवाई में बाधा डालने, अभिलेख, कागजों, साक्ष्यों से छेड़छाड़ करने पर छह माह की कैद हो सकती है। अप्रत्यक्ष कर गोष्ठी के सह सभापति अजय कुमार गुप्ता ने कहा कि स्टाक जब्त करने का अधिकार खत्म किया जाए। अध्यक्षता एसोसिएशन के अध्यक्ष दीप कुमार मिश्र ने की। संचालन महामंत्री राजीव कुमार गुप्ता ने किया। कार्यक्रम में शरद शेखर श्रीवास्तव, अवनीश मिश्र, अरविंद नाथ सिंह, पवन गुप्ता, राजेश मिश्र, विकास गुप्ता, राजकुमार गुप्ता, संजय गुप्ता, शैलेंद्र सचान, गोविंद कृष्णा, शरद निगम व गोविंद माहेश्वरी मौजूद रहे।