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बिकरू कांड में शहीद पुलिसकर्मियों और मुठभेड़ में ढेर आरोपितों के स्वजन के दर्ज होंगे बयान

न्यायिक आयोग ने सोमवार और मंगलवार को बयान दर्ज कराने को बुलाया आठ पुलिस वाले शहीद हुए थे जबकि छह आरोपित एनकाउंटर में मारे गए गठित न्यायिक आयोग ने शहीद पुलिसकर्मियों और मुठभेड़ में मारे गए आरोपितों के स्वजन को बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया

By Abhishek AgnihotriEdited By: Published: Sun, 04 Oct 2020 11:09 PM (IST)Updated: Sun, 04 Oct 2020 11:09 PM (IST)
बिकरू कांड में शहीद पुलिसकर्मियों और मुठभेड़ में ढेर आरोपितों के स्वजन के दर्ज होंगे बयान
विकास दुबे और बिकरू कांड से संबंधित कुछ तस्वीरें

कानपुर, जेएनएन। बिकरू कांड की जांच के लिए गठित न्यायिक आयोग ने शहीद पुलिसकर्मियों और मुठभेड़ में मारे गए आरोपितों के स्वजन को बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया है। आयोग ने सोमवार और मंगलवार को शपथपत्र में सारे बयान लिखकर देने को कहा है।

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आयोग ने बयान दर्ज कराने के लिए नोटिस जारी किया है। नोटिस में कहा गया है कि स्वजन अपने बयानों को लिखित रूप में शपथपत्र और दस्तावेज के साथ आयोग के सामने करेंगे। दो जुलाई की रात बिकरू गांव में दबिश डालने गई पुलिस टीम पर दुर्दांत विकास दुबे और उसके तीन दर्जन से अधिक गुर्गों ने हमला कर दिया था। हमले में सीओ देवेंद्र मिश्रा समेत आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए थे। घटना के बाद पुलिस ने मुठभेड़ में मुख्य अभियुक्त विकास दुबे समेत छह बदमाशों को मार गिराया था। पुलिस पर हमले व मुठभेड़ की जांच सुप्रीम कोर्ट की ओर से गठित तीन सदस्यीय न्यायिक आयोग कर रहा है।

बाद में घायल बुलाए जाएंगे बयान के लिए

बिकरू में हमले के दौरान थाना प्रभारी बिठूर कौशलेंद्र प्रताप सिंह, सब इंस्पेक्टर सुधाकर पांडेय, सिपाही शिवमूरत, अजय कुमार, अजय सिंह, होमगार्ड जयराम और एसओ चौबेपुर विनय तिवारी का निजी हमराह विकास बाबू घायल हुए थे। बाद में आयोग इनके भी बयान दर्ज करेगा।

चार्जशीट के लिए मारामारी

बिकरू कांड की चार्जशीट के लिए कानपुर देहात की माती कोर्ट में पिछले तीन दिनों से अफरातफरी जैसा माहौल है। आरोपितों के स्वजन चार्जशीट के लिए जुगाड़ भिड़ा रहे हैं। असल में आरोपित पक्ष को चार्जशीट नियमानुसार उपलब्ध कराई जाती है। समस्या यह है कि एक अक्टूबर को देर शाम चार्जशीट लगाई गई, दो अक्टूबर को सार्वजनिक अवकाश था। तीन अक्टूबर को कोरोना के चलते माती कोर्ट बंद रहा। चार अक्टूबर को रविवार के चलते न्यायालय बंद था।

शहीद पुलिसकर्मियों में ये थे शामिल

सीओ बिल्हौर देवेंद्र मिश्रा, एसओ शिवराजपुर महेश यादव, चौकी प्रभारी मंधना अनूप कुमार, सब इंस्पेक्टर नेबू लाल, सिपाही जितेंद्र पाल, सिपाही सुल्तान सिंह, सिपाही बबलू कुमार, सिपाही राहुल

मुठभेड़ में मारे गए अभियुक्त

विकास दुबे, राजाराम उर्फ प्रेमकुमार उर्फ प्रेमप्रकाश, अमर दुबे, प्रभात मिश्रा, प्रवीन शुक्ल उर्फ बउवन, अतुल दुबे। 


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