जाते थे जापान, पहुंच गए चीन समझ गए ना..., कुछ ऐसी ही परेशानी का सामना कर रहे रेल यात्री
यात्रियों को सूचना दिए बिना ट्रेनों के डायवर्जन से समस्या हो रही है।
कानपुर, जेएनएन। जाते थे जापान, पहुंच गए चीन समझ गए ना...याने याने...। मशहूर गायक किशोर कुमार का ये गाना इन दिनों रेल यात्रियों पर फिट बैठ रहा है। कुछ इसी तरह की परेशानी का सामना रेल यात्रियों को करना पड़ रहा है। हाईफाई टेक्नोलॉजी का दावा करने वाला रेलवे यात्रियों को एसएमएस भी नहीं भेज रहा है ताकि वे सतर्क हो सकें। ट्रेन डायवर्जन की वजह से रोजाना सैंकड़ों यात्री परेशान हो रहे हैं, उन्हें बताया ही नहीं जा रहा है कि उनकी ट्रेन डायवर्ट कर दी गई है।
इस तरह हो रही यात्रियों को समस्या
केस-1 : कर्बी महाराजपुर निवासी गोविंद मिश्रा अपने परिजनों के साथ जोधपुर-हावड़ा एक्सप्रेस से यात्रा कर रहे थे। हावड़ा से जब वह ट्रेन में बैठे तो उन्हें जानकारी नहीं थी कि ट्रेन पंडित दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन से डायवर्ट होगी और कानपुर नहीं जाएगी। यह तो समय पर उन्हें जानकारी मिल गई और वह नीचे उतर पड़े। नहीं तो वह कहीं के कहीं पहुंच जाते।
केस-2 : किदवई नगर निवासी मेघना दुबे भी जोधपुर-हावड़ा एक्सप्रेस से यात्रा कर रही थीं। उन्हें हावड़ा से कानपुर तक यात्रा करनी थी। बीच रास्ते में उन्हें ट्रेन डायवर्जन की सूचना मिली तो उन्होंने टीसी से पूछा। टीसी को भी जानकारी नहीं थी। पंडित दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन पर गार्ड से पूछने पर पता चला की ट्रेन कानपुर नहीं जाएगी। तब वह नीचे उतरकर बस से कानपुर पहुंची।
रेलवे ने 31 ट्रेनों को किया डायवर्ट
गोविंदपुरी रेलवे स्टेशन की रिमॉडलिंग और नान इंटरलॉकिंग का काम इन दिनों चल रहा है। इसके अलावा पंडित दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन के आगे भी इसी तरह का एक हो रहा है। इसके चलते रेलवे ने 31 ट्रेनों को दूसरे रास्तों पर डायवर्ट कर दिया है। जबकि कोहरे की वजह से नई व्यवस्था में छह ट्रेनों के रूट बदले गए हैं। समस्या यह है कि जिन यात्रियों से पहले आरक्षण कराया था, उन्हें डायवर्जन की जानकारी ही नहीं है। जबकि रेलवे चाहे तो रिजर्वेशन के समय दिए जाने वाले मोबाइल नंबर पर डायवर्जन की जानकारी दे सकता है, लेकिन इस तरह का कोई प्रयास रेलवे द्वारा अब तक नहीं किया गया है। इसकी वजह से तमाम यात्री रोजाना परेशान हो रहे हैं। कई यात्री तो गंतव्य से दूसरे रूट पर पहुंच जा रहे हैं।
यह भी जानें यात्री
अगर आप भी ट्रेनों के डायवर्जन की मुसीबत में फंस गए हों तो इसके नियमों के बारे में भी जानकारी कर लीजिए। नियमों के मुताबिक जिस रेलवे स्टेशन से आपकी ट्रेन डायवर्ट हो रही है, वहां के डिप्टी एसएस कामर्शियल कार्यालय से संपर्क करें। यह उस कार्यालय की जिम्मेदारी है कि आपके गंतव्य की ओर जाने वाली पहली ट्रेन में स्थान होने पर आपके लिए यात्रा का इंतजाम करे। सीट न मिलने पर भी आप डिप्टी एसएस कामर्शियल से अनुमति लेकर ट्रेन में पुरानी टिकट पर ही यात्रा कर सकते हैं। अगर आप दूसरे साधन का प्रयोग करते हैं तो बाकी रास्ते के बकाया किराया आप रेलवे से वापस मांग सकते हैं।
इन प्रमुख ट्रेनों में है डायवर्जन
- ट्रेन संख्या 22805, भवनेश्वर-आनंदविहारऔर ट्रेन संख्या 12815, पुरी आनंद विहार 11 जनवरी को कानपुर न आकर पंडित दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन से वाराणसी, लखनऊ, मुरादाबाद होते हुए गाजियाबाद जाएगी।
- ट्रेन संख्या 12591 गोरखपुर-यशवंतपुर चार जनवरी से 11 जनवरी, ट्रेन संख्या 12511 गोरखपुर-तिरुअनंतपुरम 12 जनवरी तक, ट्रेन संख्या 12589 गोरखपुर-सिकंदराबाद आठ जनवरी तक, ट्रेन संख्या 12521 बरौनी-एर्नाकुलम छह जनवरी, ट्रेन संख्या 15015 गोरखपुर-यशवंतपुर छह जनवरी तक कानपुर से इटावा, ग्वालियर होते हुए झांसी जाएंगी।
- ट्रेन संख्या 11123 बरौनी-ग्वालियर 9 जनवरी तक व वापसी में 11 जनवरी तक और ट्रेन संख्या 15066 पनवेल-गोरखपुर 9 जनवरी तक कानपुर से इटावा, उड़ीमोड़ से ग्वालियर होते हुए निकलेंगी।
- ट्रेन संख्या 12307 हावड़ा-जोधपुर 13 जनवरी तक, ट्रेन संख्या 15621 गुवाहाटी-बाड़मेर 11 जनवरी और ट्रेन संख्या 12308 जोधपुर हावड़ा 13 जनवरी तक पंडित दीनदयानल उपाध्याय जंक्शन से झांसी, आगरा होते हुए निकलेगी। यह ट्रेनें कानपुर नहीं आएंगी।
- ट्रेन संख्या 14853-55-65 वाराणसी जोधपुर 11 जनवरी तक कानपुर से कासगंज, मथुरा होते हुए अछनेरा जाएगी।