फतेहपुर में पुलिस व आरटीओ विभाग की मिलीभगत से पास होते ओवरलोड वाहन
खदानों से निकलने वाले ओवरलोड ट्रक अथवा डंपर चालकों की पुलिस तथा आरटीओ के कर्मचारियों से मिलीभगत रहती है तभी तो सीसीटीवी कैमरा व तौल मशीन होने के बाद भी खदान से निकलने वाले वाहन आराम से निकलते रहते हैैं। गुरुवार को 268 ओवरलोड ट्रक पकड़े गए थे।
कानपुर, जेएनएन। प्रशासन के प्रयासों के बाद भी मौरंग व गिट्टी के ओवरलोड वाहनों पर लगाम नहीं लग रही है। डीएम और एसपी ने बांदा व हमीरपुर की खदानों से निकले 268 ओवरलोड ट्रकों पर फतेहपुर में बुधवार रात से गुरुवार सुबह तक कार्रवाई की थी। ओवरलोडिंग रोकने के लिए बनाई गई व्यवस्था में भी कहीं न कहीं सेंध लगी है। सवाल उठता है कि सीसीटीवी कैमरा व तौल मशीन के बाद भी खदान से ओवरलोड वाहन कैसे निकलते हैं, वहां से निकलने के बाद जिले की सीमा पर जिम्मेदार क्यों नहीं रोक पाते। बांदा-टांडा मार्ग, बांदा-कानपुर मार्ग, फतेहपुर-असोथर मार्ग से मौरंग व गिट्टी भरे ट्रक रोजाना निकलते हैं। बांदा, हमीरपुर व मध्यप्रदेश समेत फतेहपुर की खदानों से निकलने वाले वाहनों में मौरंग निर्धारित मात्रा से दोगुनी रहती है। चर्चा है कि पुलिस व एआरटीओ की मिलीभगत से ओवरलोड वाहन पास होते रहते हैं।
रवन्ना से पकड़ी जाएगी चोरी
अलग-अलग थानों में खड़े 91 सीज ट्रकों में से 12 वाहन मालिकों ने शुक्रवार को छुड़वाने के लिए खनिज कार्यालय में आवेदन किया। उनमें से छह ने बांदा का, चार ने फतेहपुर की खदानों और दो ने मध्य प्रदेश की खदानों का रवन्ना (वाहनों को पास कराने वाला प्रपत्र) पेश किया। 79 ट्रक मालिक छुड़वाने नहीं आए। माना जा रहा है कि जो ट्रक छुड़वाने नहीं आ रहे हैं, उनमें से अधिकांश के पास जिले की मौरंग खदानों का ही रवन्ना है। अब जब पोल खुल गई है तो सुबह से ही कारोबारी खनिज कार्यालय में डेरा जमाए रहे और किसी तरह से बचत का प्रयास कर रहे हैं। एडीएम लालता प्रसाद ने स्पष्ट आदेश जारी किया है कि उन्हीं ट्रकों का जुर्माना जमा कराया जाएगा, जो नियमानुसार सभी तरह के दस्तावेज अपने आवेदन पर लगाएंगे। अगर कोई ट्रक मालिक सिर्फ जुर्माना रकम और कागज लगाकर आवेदन करता है, उसे स्वीकार नहीं किया जाएगा। प्रत्येक वाहन स्वामी को रवन्ना पेश करना होगा कि वह मौरंग कहां से लाए हैं। रवन्ना के आधार पर संबधित खदान में छापेमारी कर व्यवस्था परखी जाएगी।
जिन खदानों का रवन्ना उनपर होगी कार्रवाई
खनिज अधिकारी अजीत पांडेय ने कहा कि जिले में 91 ट्रकों को सीज किया गया है। सीज ट्रकों के आवेदन खनिज कार्यालय आ रहे हैं, जबकि ई-चालान किए गए 177 ट्रकों के आवेदन एआरटीओ कार्यालय जा रहे हैं। सभी का रवन्ना जिन खदानों का है, उन पर कार्रवाई की जाएगी।