सड़क की मौत पर मातम, कफन ओढ़ाकर श्रद्धांजलि दी, पढि़ए क्या है मामला Kanpur News
व्यापारियों ने सड़क पर अगरबत्ती जलाकर फूल माला चढ़ाकर व्यथा बयां की।
कानपुर, जेएनएन। फजलगंज में सोमवार को व्यापारी पर सड़क पर ऐसे कफन ओढ़ा रहे थे जैसे उसकी मौत हो गई हो। इसके साथ ही उत्तर प्रदेश प्रांतीय व्यापार मंडल के पदाधिकारियों ने धूप, अगरबत्ती जलाकर और पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि भी दी। कुछ देर पास में बैठकर मातम भी मनाया। पूछने पर बताया कि सड़क दम तोड़ चुकी है तो उसका क्रियाकर्म करना भी जरूरी हो गया था।
प्रशासन मत करो ये अत्यचार
उत्तर प्रदेश प्रांतीय व्यापार मंडल के तत्वावधान में फजलगंज के व्यापारियों ने फजलगंज में टूटी व खूनी सड़क को श्रद्धांजलि दी। नगर निगम और पीडब्ल्यूडी की संवेदनहीनता को उजागर करते हुए व्यापारियों ने कहा कि सड़क पर चलने से सिर्फ गाड़ी और हड्डियां ही टूटेंगी। उन्होंने 'प्रशासन मत करो ये अत्यचार' आदि नारे भी लगाए। यहां पर प्रदेश अध्यक्ष अभिमन्यु गुप्ता ने कहा कि टूटी और खूनी सड़कों से पूरा शहर त्रस्त है। फजलगंज, ट्रांसपोर्ट नगर, किदवई नगर, यशोदा नगर, नौबस्ता, जाजमऊ, लालबंगला, कैंट, विष्णुपुरी, तिलकनगर समेत तमाम मोहल्लों में सड़कों की हालत दयनीय है। पूरे कानपुर की स्तिथि दयनीय है, इससे व्यापार में दिक्कतें आ रही हैं। जब कोई वीआइपी आता है तो केवल उनके प्रस्तावित रूट चमका दिये जाते हैं।
खूनी हो गई सड़क, रहता जान का खतरा
व्यापारियों ने कहा कि टूटी सड़क से लोगों की जान का खतरा तो है ही, साथ में वाहनों को भी नुकसान पहुंचता है। व्यापारियों को आए दिन वाहन बनवाने का खर्चा इन टूटी सड़कों की वजह से आता है। रात में तो यह सड़क खूनी सड़क हो जाती हैं। जबकी व्यापारी सबसे ज़्यादा टैक्स देता है तब भी उसको सही सड़क नहीं मिल रही। सरकार ने स्मार्ट सिटी का वादा करके गड्ढा सिटी दे दिया।
रोजाना हादसे में घायल होते लोग
प्रदेश महासचिव हरप्रीत सिंह बब्बर ने कहा कि अब सब का धैर्य जवाब दे गया है। हादसे में रोजाना 30 से 40 लोग घायल हो रहे हैं। कई बार विभागों में शिकायत कर चुके हैं लेकिन अफसरों के कानों में जूं नहीं रेंग रही है। आज सड़क पर बैठे हैं और अगर सड़क ठीक नहीं हुई तो जिस दिन मुख्यमंत्री आएंगे उसदिन यहां लेटकर विरोध किया जाएगा।
प्रदेश कोषाध्यक्ष जीतेंद्रे सिंह संधू ने कहा कि सरकार यातायात के कड़े नियम ला रही है पर बेहतर सड़क के लिए कोई नियम क्यों नहीं बना रही। सड़क में बने गहरे गड्डे और उन पर चलने वाले ओवरलोड डंपरों, ट्रॅकों से व्यापारियों की सांसें अटकी रहती हैं। कब और कहां डंपर या ट्रक किसी पर पलट जाए कुछ कहा नहीं जा सकता।