कौशल विकास मिशन से तराशे जाएंगे स्वास्थ्यकर्मी, तीसरी लहर से पहले ट्रेनिंग की तैयारी
कोरोना संक्रमण की संभवित तीसरी लहर से निपटने के लिए तैयारियों के क्रम में स्वास्थ्य कर्मियों को प्रशिक्षण दिलाने की रूपरेखा बनाई गई है। इसमें दो माह स्वास्थ्य केंद्र और एक माह प्रशिक्षण केंद्र पर स्वास्थ्यकर्मी ट्रेनिंग ले सकेंगे।
कानपुर, जेएनएन। कोरोना की दूसरी लहर में स्वास्थ्यकर्मियों की कमी भी इलाज में बड़ी समस्या बनी। खासकर गांवों में तो मेडिकल किटों के वितरण में भी दिक्कत आई। सरकारी अस्पतालों में भी स्वास्थ्य कर्मियों के पद खाली होने से परेशानी हुई। अब ऐसी समस्याएं न हों इसके लिए कौशल विकास योजना के तहत युवाओं को प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण की अवधि में उन्हें ऑन जॉब प्रशिक्षण मिलेगा।
तीसरी लहर की आशंका के मद्देनजर निजी व सरकारी अस्पतालों में स्वास्थ्य कर्मियों की आवश्यकता होगी। कौशल विकास योजना के तहत अब इस कमी को दूर किया जाएगा। इसके लिए कौशल विकास एवं उद्यमशीलता मंत्रालय के अपर सचिव ने तीन माह का प्रशिक्षण कराने के लिए कहा है। प्रशिक्षण हर हाल में एक जून से शुरू किया जाएगा। उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के जिला कार्यक्रम प्रबंधन इकाई पांडुनगर की ओर से प्रशिक्षण दिया जाएगा।
सीडीओ डॉ. महेंद्र कुमार ने विभिन्न पदों के लिए कितने लोगों को प्रशिक्षण देना है इसकी सूची सीएमओ से मांगी है और कहा है कि यह सूची जल्द से जल्द जिला कार्यक्रम प्रबंधन इकाई को उपलब्ध कराएं। प्रशिक्षण के लिए एडिशनल सीएमओ डॉ. एके सिंह को नोडल अफसर बनाया गया है। प्रशिक्षण लेने के लिए अभ्यर्थियों को दो माह स्वास्थ्य केंद्र और एक माह प्रशिक्षण केंद्र पर टे्रनिंग लेनी होगी।
इन पदों का प्रशिक्षण होगा : इमरजेंसी मेडिकल टेक्नीशियन , जनरल ड्यूटी असिस्टेंट और एडवांस जनरल ड्यूटी असिस्टेंट के पद का प्रशिक्षण लेने के लिए कक्षा दस पास होना जरूरी है और उम्र 18 से 35 वर्ष होनी चाहिए। इसी तरह होम हेल्थ एड के लिए 12 वीं पास विज्ञान विषय से होना चाहिए। मेडिकल इक्यूपमेूंट टेक्निकल असिस्टेंट के लिए 12 वीं पास होना चाहिए।
- प्रशिक्षण की प्रक्रिया जल्द ही शुरू कर दी जाएगी। सीएमओ को पत्र लिखा है, ताकि वे अपनी जरूरत के अनुसार सूची उपलब्ध करा सकें और प्रशिक्षण का कार्य समय से हो सके। -डॉ. महेंद्र कुमार, सीडीओ