कक्षों में ताला और अफसर मिलने नदारद तो कैबिनेट मंत्री का चढ़ा पारा
एमएसएमई मंत्री ने सोमवार की सुबह उद्योग निदेशालय के दफ्तरों में जांची अफसरों व कर्मियों की उपस्थिति।
कानपुर, जेएनएन। प्रदेश के एमएसएमई मंत्री सत्यदेव पचौरी के निरीक्षण में सोमवार सुबह कई दफ्तरों में अफसरों की उपस्थिति और लेटलतीफी की पोल खुल गई। उद्योग निदेशालय के कई दफ्तरों में अफसरों के न मिलने और कक्षों के दरवाजे पर ताला बंद मिलने पर मंत्री का पारा चढ़ गया। उन्होंने कर्मचारियों को फटकार लगाई तो उन्हें रोजाना का यही हाल होने की जानकारी मिली। इतना ही नहीं बायोमैट्रिक हाजिरी भी दुरुस्त नहीं मिलने पर मंत्री ने कार्रवाई की चेतावनी दी।
प्रदेश के मुख्यमंत्री से लेकर विभागीय मंत्री तक चाहते हैं कि सरकारी विभागों में अफसर और कर्मी समय से पहुंचे लेकिन अफसरों का मनमाना रवैया जस का तस है। उद्योग निदेशालय में अफसर किस समय आते हैं, ये जानने के लिए सोमवार सुबह प्रदेश के एमएसएमई मंत्री सत्यदेव पचौरी ने निरीक्षण किया। सुबह साढ़े नौ बजे वह सबसे पहले वैयक्तिक सहायक सिराज अहमद के कमरे में गए, जहां पर वह मौजूद नहीं थे। एक कर्मी ने उनके पौने दस बजे तक आने की जानकारी दी।
इसके बाद निरीक्षण में मंत्री को वरिष्ठ प्रशासनिक अफसर चित्रलेखा सिंह, शिविर अपर आयुक्त उद्योग राज कुमारी पाल, धीरज कुमार, अपर आयुक्त उद्योग विनय कुमार, पीके पांडेय, रविशंकर पांडेय, उमा शरण बाजपाई, राकेश पांडेय समेत कई अफसरों के कक्ष खाली और ताला लटका मिला। इसपर कैबिनेट मंत्री का पारा चढ़ गया और उन्होंने मौजूद स्टाफ से कहा कि ये क्या तमाशा बना रखा है। कर्मियों ने दबी जुबान में बताया कि यह हाल तो रोजाना रहता है। मंत्री ने अफसरों के कक्ष रजिस्टर की जानकारी लेनी चाही तो उन्हें कहीं रजिस्टर नहीं मिला।
बॉयोमेट्रिक सिस्टम फेल
एमएसएमई मंत्री ने एक कर्मचारी से बॉयोमेट्रिक सिस्टम की जानकारी मांगी तो उसने बताया कि बॉयोमेट्रिक सिस्टम फेल है। मंत्री ने स्टाफ से कहा कि जिम्मेदारों से स्पष्टीकरण मांगें कि आखिर बदहाली क्यों है। उन्होंने कहा कि जब बायोमेट्रिक हाजिरी नहीं होगी तो कोई क्यों समय से आएगा।
उद्योग निदेशक के कमरे में जांचा हाजिरी रजिस्टर
कार्यालय का निरिक्षण करने के बाद कैबिनेट मंत्री ने उद्योग निदेशक के. रविन्द्र नायक के कमरे में बैठकर कई विभागों का हाजिऱी रजिस्टर देखा। इसमें कई कर्मी अनुपस्थित मिले तो उन्होंने सभी के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश दे दिए। यूपी इंडस्ट्रीज मिनिस्ट्रीयल ऑफिशीयल्स एससोसिअशन के प्रांतीय उपाध्यक्ष पीके पांडेय ने कहा कि यूनियन के पदाधिकारी उद्योग निदेशक से मिलने आते हैं तो उन्हें वापस कर दिया जाता है।
फोन करके अपनों को बुलाया
केबिनेट मंत्री उद्योग निदेशालय के अंदर पहुंचे और कार्यालय के सभी प्रवेश द्वार बंद कराकर।सुरक्षकर्मी तैनात कर दिए गए। ऐसे में जो कर्मी अंदर थे, उन्होंने फोन करके अपनों को बुलाना शुरू कर दिया। कुछ कर्मी तो भागते दौड़ते कार्यालय के अंदर जैसे तैसे आ गए, वहीं कुछ काफी देर तक मंत्री के स्टाफ कर्मियों से अपने हस्ताक्षर की गुहार लगाते रहे।