जागरण संवाददाता, कानपुर: मानक पूरे न होने पर सीएमओ ने कनिष्क अस्पताल का लाइसेंस निरस्त कर दिया है। क्लीनिकल एस्टेब्लिशमेंट एक्ट लागू होने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने जिले में पहली कार्रवाई की है। सीएमओ डा. आलोक रंजन का कहना है कि अनुमति 15 बेड की थी और संचालकों ने 50 बेड के लिए आवेदन किया था। जांच-पड़ताल में कमी मिलने के बाद लाइसेंस निरस्त कर दिया गया।
क्लीनिकल एस्टेब्लिशमेंट एक्ट के दायरे में 50 या उससे अधिक बेड के अस्पताल आते हैं। इसमें यह प्राविधान है कि निजी अस्पताल के संचालक जब आवेदन करते हैं तो प्राथमिक जांच के उपरांत प्रोविजनल लाइसेंस प्रदान कर दिया जाता है। उसके बाद कागजातों की जांच करने के बाद स्थायी लाइसेंस प्रदान किया जाता है।
एसीएमओ डा. सुबोध प्रकाश ने बताया कि कनिष्क अस्पताल को केडीए से 15 बेड का अस्पताल चलाने की अनुमति मिली थी। फिर भी संचालकों ने 50 बेड के लिए आवेदन किया था। एक्ट के मानक पर खरा नहीं उतरने पर लाइसेंस को निरस्त कर दिया गया है।