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Kanpur Kidnapping Case: जन्मदिन पार्टी के बहाने बुलाकर किया संजीत का अपहरण, कत्ल के बाद मांगी थी फिरौती

Kanpur Sanjeet Yadav Kidnapping Case पुलिस की गिरफ्त में आए घटना में शामिल महिला समेत पांच दोस्तों ने पूछताछ में संजीत का अपहरण करके हत्या की स्वीकारोक्ति की है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Published: Fri, 24 Jul 2020 12:43 PM (IST)Updated: Fri, 24 Jul 2020 05:38 PM (IST)
Kanpur Kidnapping Case: जन्मदिन पार्टी के बहाने बुलाकर किया संजीत का अपहरण, कत्ल के बाद मांगी थी फिरौती
Kanpur Kidnapping Case: जन्मदिन पार्टी के बहाने बुलाकर किया संजीत का अपहरण, कत्ल के बाद मांगी थी फिरौती

कानपुर, जेएनएन। 28 दिन पहले पैथोलॉजी कर्मी संजीत यादव को दोस्तों ने जन्मदिन की पार्टी के बहाने बुलाया था और फिर उसका अपहरण करने के बाद कत्ल करके शव पांडु नदी में फेंक दिया था। शव को ठिकाने लगाने के बाद संजीत के घरवालों से तीस लाख फिरौती की रकम की मांग की गई थी। शुक्रवार की सुबह आइजी और एसएसपी ने गिरफ्तार एक महिला समेत पांच दोस्तों को मीडिया के सामने लाकर घटना का पर्दाफाश किया। पुलिस ने आरोपितों से पूछताछ के आधार पर पूरा घटनाक्रम बताया।

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पैथोलॉजी में साथ काम कर चुके थे दोस्त

पुलिस लाइन में शुक्रवार की सुबह एक पत्रकार वार्ता में एसएसपी दिनेश कुमार पी ने संजीत अपहरणकांड का पर्दाफाश किया। उन्होेंने बताया कि पुलिस ने संजीत के अपहरण और हत्या में शामिल ईशू उर्फ ज्ञानेन्द्र यादव निवासी दबौली वेस्ट, कुलदीप गोस्वामी निवासी सरायमीता कच्ची बस्ती, नीलू सिंह निवासी गज्जा पुरवा, रामजी शुक्ला निवासी अंबेडकरनगर गुजैनी और प्रीती शर्मा निवासी कौशलपुरी को गिरफ्तार किया है।

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ज्ञानेंद्र और कुलदीप काफी पहले एक पैथोलॉजी में संजीत के साथ काम करते थे और उसके दोस्त बन गए थे। 22 जुलाई को कुलदीप ने संजीत यादव के मोबाइल पर चार बार कॉल किया था। अंतिम काल शाम 7.47 बजे की थी और ज्ञानेंद्र की जन्मदिन पार्टी के बहाने संजीत को धन्वंतरी हॉस्पिटल के पास बुलाया था। संजीत नौबस्ता बाईपास से अपनी बाइक से अकेले निकला और करीब 500 मीटर दूर नहरिया के पास उसे चारों मिल गए थे।

किराए के कमरे में रखा

नहरिया के पास संजीत को लेकर सभी ज्ञानेन्द्र यादव की फोर्ड फिगो कार में सवार हो गए। संजीत की मोटरसाइकिल लेकर नीलू चल दिया। रास्ते में शराब और बियर लेने के बाद तात्याटोपे नगर पहुंचकर अंडा व चिप्स खरीदे। इसके बाद सभी ने कार में बैठकर शराब पी। योजना के तहत संजीत को शराब में बेहोशी की दवा दी गई, जिससे वह कार में ही बेहोश हो गया। यहां से चारों उसे रतनलाल नगर स्थित किराए पर लिए कमरे में ले गए। यहां पर उसे नशे के इंजेक्शन देकर बंधक बनाकर रखा गया। योजना के तहत अपहर्ताओं ने संजीत को बंधक बनाने के उद्​देश्य से कमरा किराए पर लिया था।

भागने की कोशिश पर उतार दिया मौत के घाट

एसएसपी के मुताबिक, 26 जून की रात संजीत ने भागने की कोशिश की थी, जिसपर सभी ने मिलकर उसकी गला दबाकर हत्या कर दी। सुबह उसके शव को प्लास्टिक की बोरी में भरकर कार से पांडु नदी पुल तक ले गए और नदी में फेंक दिया था। पूछताछ में सामने आया कि शव को ठिकाने लगाने के बाद चारों ने 29 जून को फिरौती के लिए संजीत के घरवालों से संपर्क किया और 30 लाख रुपये मांगे।

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फिरौती दिए जाने के सवाल पर एसएसपी ने बताया कि अपहरणकर्ताओं ने बैग में फिरौती की रकम न होने की जानकारी दी है। संजीत के परिवार वाले अभी भी आरोप लगा रहे हैं, इसलिए मामले की जांच की जा रही है। पुलिस ने अभियुक्तों की निशानदही पर संजीत यादव की बाइक तात्या टोपे नगर तिराहे के पास झाडियों से बरामद कर ली है। बैग व अन्य सामान भी बरामद करने का प्रयास किया जा रहा है। शव की तलाश के लिए पीएसी के गोताखोर पांडु नदी में उतारे गए हैं।

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