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Kanpur Dead Body case: एक डाक्टर जो 17 माह करता रहा विमलेश के शव का इलाज, घरवालों ने खर्च कर दिए 35 लाख रुपये

Kanpur Dead Body case विमलेश का शव अब एक रहस्य बन गया है। परिवार वालों का कहना है कि घर में विमलेश का एक डॉक्टर इलाज कर रहा था और डेढ़ साल में करीब 30 से 35 लाख रुपये भी खर्च हुए हैं।

By JagranEdited By: Abhishek AgnihotriPublished: Mon, 26 Sep 2022 12:48 PM (IST)Updated: Mon, 26 Sep 2022 12:48 PM (IST)
Kanpur Dead Body case: एक डाक्टर जो 17 माह करता रहा विमलेश के शव का इलाज, घरवालों ने खर्च कर दिए 35 लाख रुपये
कानपुर में आयकर अफसर विमलेश गौतम का शव बना रहस्य।

कानपुर, जागरण संवाददाता। रावतपुर के कृष्णापुरी में शव के साथ 17 माह तक रहने के मामले में कई सवालों के जवाब मिलने अभी बाकी हैं। हालांकि, स्वास्थ्य विभाग और पुलिस के मामले से हाथ खींचने से शायद कई राज हमेशा के लिए राज बनकर रह जाएंगे। पुलिस का दावा है कि वह मामले की जांच तो कर रहे हैं, लेकिन अपराध न बनने की वजह से कार्रवाई नहीं हो सकती। हालांकि, इस बीच एक बड़ा सवाल यह सामने आया है कि आखिर वह डाक्टर कौन था जो मृत देह का 17 माह तक इलाज करता रहा। वहीं दूसरी ओर पुलिस भी अब इस डाक्टर की तलाश कर रही है। 

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घर पर 17 माह तक रखे रहे शव

रावतपुर थाना क्षेत्र के कृष्णापुरी निवासी 35 वर्षीय विमलेश गौतम आयकर विभाग में एओ के पद पर हैदराबाद में तैनात थे। वर्ष 2019 में बीमारी के चलते ड्यूटी से बीमारी के चलते वह घर लौटे। इलाज के दौरान 22 अप्रैल 2021 को उनकी मृत्यु हो गई। इसके बावजूद परिवार वाले उन्हें जीवित मानकर घर पर ही इलाज करते रहे। इसका पर्दाफाश तब हुआ जब विमलेश की पत्नी मिताली के प्रार्थना पत्र पर आयकर विभाग हैदराबाद ने सीएमओ कानपुर से विमलेश के स्वास्थ्य परीक्षण का अनुरोध किया। स्वास्थ्य विभाग की टीम घर पहुंची तो वहां ममी बन चुका विमलेश का शव मिला।

अभी अनसुलझे हैं कई सवाल

मामले में तमाम सवाल हैं, जिनकी जांच होनी बाकी है, लेकिन स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि उन्हें केवल स्वास्थ्य परीक्षण करके रिपोर्ट देने को कहा गया था। उन्होंने रिपोर्ट भेज दी है कि उनकी मृत्यु हो चुकी है। एडिशनल डीसीपी पश्चिम लाखन सिंह यादव ने बताया कि विमलेश के परिवार से सोमवार को पुलिस पूछताछ करेगी। उसमें वह सभी सवाल होंगे, जो कि अब तक अनुत्तरित हैं। सबसे बड़ा सवाल यही है कि आखिर विमलेश का इलाज इस दौरान किस डाक्टर ने किया। उस डाक्टर से भी पूछताछ होगी और इलाज से जुड़ी तमाम विधियों की जानकारी उसी से लग सकेगी।

नाम बताने को तैयार नहीं परिवार

इस प्रकरण में एक बड़ा रोल उस डाक्टर का भी है, जो कि 17 माह से विमलेश की मृत देह का इलाज कर रहा था। यह जानते हुए भी विमलेश अब जीवित नहीं है, डाक्टर ने परिवार के साथ विश्वासघात किया है। हालांकि परिवार अभी भी उक्त डाक्टर का नाम बताने को तैयार नहीं है। परिवार की मानें तो विमलेश के इलाज में उन्होंने 30 से 35 लाख रुपये खर्च किए।


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