'पुलिस दरवाजा तोड़कर घर में घुसी और नंगे बदन ही उठा ले गई' Kanpur News
आपातकाल की आपबीती बताते भावुक हुए लोकतंत्र सेनानी भाजपा ने 52 सेनानियों का किया सम्मान।
कानपुर, जेएनएन। '26 जून 1975 की वह रात आज भी नहीं भूलती। रात को पुलिस अचानक दरवाजा तोड़कर घर में घुसी और नंगे बदन ही पकड़ ले गई। जैसे हम लोकतंत्र के रक्षक नहीं आतंकवादी हैं।' भाजपा महानगर उत्तर के सम्मान समारोह में शामिल होने आए लोकतंत्र सेनानी घनश्याम गुप्ता आपातकाल की यह आपबीती बताते हुए भावुक हो गए। उनकी आंखों में आंसू भर आए। भाजपा ने यह कार्यक्रम आपातकाल की वर्षगांठ पर आयोजित किया था। जिसमें 52 लोकतंत्र सेनानियों को सम्मानित किया गया।
लोकतंत्र सेनानी जगन्नाथ गुप्ता ने बताया कि स्वतंत्र भारत का यह सबसे विवादास्पद काल था। जिसें सभी विपक्षी नेताओं को जेल में ठूंस दिया गया। आपातकाल लगते ही जनसंघ और आरएसएस के नेताओं के घरों में घुसकर उन्हें उठा लिया गया। जेल में उन्हें अपराधियों की तरह रखा गया और जानवरों की तरह यातनाएं दी गईं। भाजपा जिला उपाध्यक्ष संतोष शुक्ला ने संचालन किया। मुख्य अतिथि क्षेत्रीय उपाध्यक्ष डॉ. बीना आर्या, प्रमोद त्रिपाठी, अनिल दीक्षित व दीपक सिंह ने 52 लोकतंत्र सेनानियों को अंगवस्त्र पहनाकर सम्मानित किया। सम्मानित होने वालों में कुंज बिहारी गुप्ता, घनश्याम गुप्ता, उदयशंकर निगम, भोला शुक्ला, घनश्याम सचान आदि थे।
उधर, महानगर दक्षिण ने किदवई नगर में सम्मान समारोह का आयोजन किया। जिसमें संतोष शास्त्री, सोम नरायण शुक्ला, अनिल अग्निहोत्री, राम देव शुक्ला, राम चन्द्र अवस्थी, मदन धवन, अमिताभ पाण्डेय, कप्तान सिंह, राजेन्द्र त्रिपाठी, अमर नाथ सिंह, अशोक कुमार सिंह, ओम पाल सिंह, एमएल द्विवेदी एवं बाल कृष्ण शुक्ला को सम्मानित किया गया। शारीरिक रूप से असमर्थ लोकतंत्र सेनानी राम चन्द्र अवस्थी का स्वागत व सम्मान उनके घर पर जाकर किया गया। मुख्य अतिथि अशोक जाटव रहे। जिलाध्यक्ष अनीता गुप्ता, शिवराम सिंह, चिंता सिंह चंदेल, शिव शंकर सैनी, भूपेंद्र त्रिपाठी, अचल गुप्ता आदि मौजूद रहे।
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