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    कानपुर में पुलिस रिमांड पर दिल्ली के महाठग ने खोला बड़ा राज, सोनू सूद को लेकर बताई कान्ट्रेक्ट की बात

    Updated: Tue, 09 Dec 2025 09:43 PM (IST)

    दिल्ली का महाठग पुलिस रिमांड पर है। कानपुर कोतवाली में पीड़ितों को महाठग के सामने बैठाया गया, जहाँ उन्होंने उसे खरी-खोटी सुनाई। यह मामला धोखाधड़ी से ज ...और पढ़ें

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    जागरण संवाददाता, कानपुर। दुबई में बैठ भारत समेत 10 देशों के लोगों से 970 करोड़ से ज्यादा की ठगी करने के आरोपित दिल्ली के महाठग रवींद्रनाथ सोनी मंगलवार दोपहर पुलिस ने रिमांड पर लिया। पुलिस उसे कोतवाली ले गई और दुबई के पीड़ितों से सामना कराया। उन्होंने देखते ही उसे खूब खरी-खोटी सुनाई, लेकिन वह निगाहें नीची करके खड़ा रहा और लगातार खुद को बेकसूर बताता रहा। इसके बाद एसआइटी (विशेष जांच दल) ने तीन घंटे तक ठग से पूछताछ की।

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    रवींद्रनाथ सोनी ने कहा कि वह ब्लूचिप कंपनी में रुपये निवेश कराता और सभी को रिटर्न भी देता था, लेकिन जब उसे लगा कि दुबई पुलिस उसे पकड़ने वाली है तो पांच मार्च 2024 को वह ओमान के रास्ते भारत आ गया। उसने बयान में ब्लूचिप के नाम से मात्र पांच कंपनियां बताईं। उसने कहा कि चार साझेदारों की वजह से उसका नुकसान हुआ। एसआइटी अब दुबई के उन सभी साझेदारों के बयान के लिए नोटिस भेज रही है। वहीं, एसआइटी ब्लूचिप कंपनियों के दस्तावेज और इलेक्ट्रानिक साक्ष्य जुटाने के लिए रात में उसे देहरादून ले जाने की तैयारी कर रही है।

     

    परेड निवासी अब्दुल करीम ने नई दिल्ली के मालवीय नगर निवासी रवींद्रनाथ सोनी पर जनवरी 2025 में कोतवाली थाने में मुकदमा दर्ज कराया था। उन्होंने दुबई में नौकरी कर रहे बेटे तलहा करीम से वर्ष 2021 में 42.29 लख रुपये ठगी का आरोप लगाया था। कोतवाली थाना पुलिस ने 10 हजार के इनामी रवीन्द्र को सर्विलांस की मदद से 30 नवंबर को देहरादून से गिरफ्तार कर एक दिसंबर को कानपुर जेल भेजा था।

     

    इन देशों में बना रखी थी कंपनियां

    अब तक की जांच में सामने आया है कि रवींद्र ने भारत, दुबई, फ्रांस, मलेशिया, यूएस, कनाडा, नेपाल, जापान, वियतनाम, दक्षिण अफ्रीका समेत लगभग 10 देशों में ब्लूचिप के नाम से 20 कंपनियां बना रखी थीं। वह दुबई के 400 समेत एक हजार से ज्यादा लोगों व कई देशों की कंपनियों से 970 करोड़ से ज्यादा ठग चुका था। इनमें से दो अभिनेताओं समेत छह बड़े कारोबारी पुलिस आयुक्त रघुबीर लाल से मिल चुके हैं, जिसमें तीन पीड़ितों ने कोतवाली में मुकदमा भी दर्ज कराया। ठगी की रकम और पीड़ितों की बढ़ती संख्या को देखते हुए पुलिस आयुक्त ने एसआइटी 10 सदस्यीय टीम गठित की। सोमवार को कोर्ट ने आरोपित का मंगलवार सुबह 11 से 14 दिसंबर की शाम चार बजे तक के लिए रिमांड स्वीकृत किया था।

     

    एसीपी कोतवाली आशुतोष सिंह और इंस्पेक्टर जगदीश पांडेय फोर्स के साथ मंगलवार सुबह जेल पहुंचे और लगभग 12 बजे रवींद्र को रिमांड पर कोतवाली लाए। जहां पहले से मौजूद पीड़ितों से सामना हुआ और उन्होंने ठग को कोसना शुरू कर दिया। इसके बाद एसआइटी ने उससे पूछताछ कर लगभग तीन घंटे ज्यादा पूछताछ कर 50 से ज्यादा सवाल पूछे। उसने कई सवालों में जिम्मेदार अपने चार साझेदारों को बताया। उसका कहना था कि कंपनी में जो भी निवेश हो रहा था। उसे चारों साझेदार ले रहे थे, जिससे कंपनी को नुकसान हुआ। वह हर बार खुद को बेकसूर बताता रहा। उसने कहा कि वर्ष 2024 में उसने कंपनी में निवेश बंद कर दिए थे, जबकि पीड़ितों का दावा था कि वह उसके बाद भी निवेश कर रहा था।



    महाठग ने एक पीड़ित के छुए पैर, मांगी माफी

    मूलरूप से लखनऊ के रहने वाले दुबई के कपड़ा कारोबारी अबरार सिद्दीकी ने महाठग से पूछा कि दुबई में तो मेरे पैर छूते थे और अब रुपये हड़पकर सब भूल गए। अब पैर नहीं छुओगे, जिस पर रवींद्र ने तुंरत उनके पैर छुए और माफी मांगी। इस दौरान अन्य पीड़ितों के सामने भी उसने हाथ जोड़े।

     

    कंपनी के प्रमोशन को सोनू सूद से था 1.5 करोड़ का कांट्रेक्ट

    एसआइटी ने ठग से उसके कनेक्शन और उसके साथ प्रचलित वीडियो के बारे में पूछा तो ठग ने बताया कि वह अपनी कंपनियों का प्रमोशन और इवेंट करवाता था। अभिनेता सोनू सूद ने इवेंट के लिए एक साल के डेढ़ करोड़ रुपये लिए थे। उसके साथ ही खली भी प्रमोशन के लिए आते थे। वहीं, पूर्व क्रिकेटर और एक अन्य अभिनेता के बारे में पूछने पर उसने जानकारी न होने की बात कही। हालांकि पूर्व क्रिकेटर के साथ उसकी फोटो भी अधिकारी को मिली हैं, लेकिन वह इस पर शांत रहा।

     


    कचौड़ी बेचकर परिवार पाल रहा....ये दिए जवाब

    • कंपनी में घाटे के बाद दूसरे लोग प्रभावशाली हुए और गड़बड़ी करने लगे। इनमें हितेश, विभाष और धरवेश प्रमुख थे। आहत होकर मई 2024 में मैंने कंपनी छोड़ दी।
    • कंपनी में मेरे साथ साजिश हुई। पहले कंपनी को घाटे में दिखाया गया और नाम बदलकर अब वही कंपनी बेहतर परफार्म कर रही है।
    • कंपनी में केवल 300 निवेशक हैं, जिन्होंने 80 से 90 करोड़ रुपये ही निवेश किया।
    • ओमान चोरी-छिपे नहीं गया, बल्कि नियमानुसार वीजा लेकर गया। दुबई पुलिस गलत कह रही है।
    • दुबई, दिल्ली या देहरादून में मेरी कोई प्रापर्टी नहीं है।
    • मेरी आर्थिक स्थिति बहुत अच्छी नहीं है। देहरादून में कचौड़ी का आउटलेट लगा परिवार पाल रहा था।
    • पहली पत्नी को तलाक के दौरान 25 लाख नकद और गुड़गांव में 90 लाख रुपये का फ्लैट दिया था।