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कोविड की तीसरी लहर पर प्रो. मणींद्र अग्रवाल का खास ट्वीट, क्या होली से पहले सामान्य हो पाएंगे हालात

कोराना संक्रमण की दूसरी लहर में सटीक गणतीय माडल देने वाले आइआइटी के प्रो. मणींद्र अग्रवाल ने ट्वीट करके तीसरी लहर पर खास जानकारी दी है। जनवरी के अंत में चरम और 15 फरवरी के बाद संक्रमण तेजी से कम होने का दावा किया है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Published: Fri, 14 Jan 2022 11:45 AM (IST)Updated: Fri, 14 Jan 2022 11:45 AM (IST)
कोविड की तीसरी लहर पर प्रो. मणींद्र अग्रवाल का खास ट्वीट, क्या होली से पहले सामान्य हो पाएंगे हालात
कानपुर में जनवरी अंत में पीक पर होगा कोरोना।

कानपुर, जागरण संवाददाता। देश में कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर इसी माह के अंत तक चरम पर होने की आशंका है। रोजाना छह से आठ लाख केस सामने आ सकते हैं। हालांकि संक्रमण की रफ्तार जितनी तेज हो रही है, उतनी ही तेजी से कम भी होगी। 15 फरवरी के बाद तेजी से गिरावट देखने को मिल सकती है। पद्मश्री से सम्मानित आइआइटी के प्रोफेसर मणींद्र अग्रवाल ने गणितीय माडल के आधार पर गुरुवार को ट््वीट करके यह जानकारी दी है।

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प्रो. अग्रवाल के मुताबिक मुंबई और दिल्ली में कोरोना की तीसरी लहर चरम पर आ रही है। चरम पर पहुंचने के बाद आने वाले समय में संक्रमितों की संख्या कम होनी शुरू हो जाएगी। इसी तरह देश भर में तीसरी लहर जनवरी के अंतिम सप्ताह में चरम पर हो सकती है और 15 फरवरी के बाद इसमें गिरावट देखने को मिलेगी। मुमकिन है कि देश में 20 फरवरी के बाद हर रोज 20 हजार से भी कम केस सामने आएं। प्रो. अग्रवाल ने बताया कि कुछ लोगों ने तर्क दिया है कि अगर हम लक्षण विहीन मामलों का पता नहीं लगाते हैं तो संक्रमण की रफ्तार बढ़ सकती है, लेकिन यह आंशिक रूप से सच है। हमें ध्यान रखना है कि भारत में 33 मामलों में से केवल एक का ही पता लग पा रहा है, क्योंकि बाकी मामलों में मरीज खुद ही ठीक हो जाते हैं।

डा. अग्रवाल ने कहा कि बूस्टर डोज और लोगों की सतर्कता से संक्रमण की रफ्तार में कुछ कमी भी आ सकती है। नैचुरल इम्युनिटी को भी कुछ हद तक यह वायरस बाईपास कर रहा है, लेकिन मरीज को ज्यादा नुकसान नहीं पहुंचा रहा है। बेहतर है कि संसाधनों को उन लोगों की ओर केंद्रित किया जाए, जिन्हें इलाज की ज्यादा जरूरत है। साथ ही हमें नए चरण के स्थिर होने तक प्रतीक्षा करने की आवश्यकता है।

होली से पहले स्थिति सामान्य होने की उम्मीद : प्रो. अग्रवाल के मुताबिक अगर 15 फरवरी के बाद संक्रमण के मामलों में तेजी से गिरावट शुरू हुई तो मार्च में होली से पहले ही स्थिति सामान्य हो सकती है। उन्होंने कहा कि साउथ अफ्रीका व संयुक्त राज्य में संक्रमण का जो डाटा सामने आया था, उसके आधार पर किए गए आंकलन से भी सही साबित हुआ है। वर्तमान में वहां संक्रमण की तीसरी लहर चरम पर हो चुकी है और अब मामलों में कमी आ रही है। इसी तरह अमेरिका में भी 15 से 20 जनवरी तक तीसरी लहर चरम पर होने की उम्मीद है।

प्रो. अग्रवाल ने कब-कब क्या लगाया अनुमान

-10 जनवरी को प्रोफेसर ने देश भर के डाटा के आधार पर कोरोना की तीसरी लहर मार्च के मध्य से कम होने और मार्च के अंत तक कमोबेश खत्म होने का अनुमान लगाया था।

-सात जनवरी को दिल्ली, मुंबई व कोलकाता में तीसरी लहर जनवरी के मध्य में और देश में फरवरी की शुरुआत में आने की आशंका जताई। साथ ही कहा था कि देश में चार से आठ लाख केस रोजाना सामने आ सकते हैं।

-दो जनवरी को भी उन्होंने फरवरी की शुरुआत में तीसरी लहर चरम पर होने और 1.80 लाख संक्रमित मामले रोजाना सामने आने का अनुमान लगाया, साथ ही प्रत्येक 10 मामलों में से एक में बेड की जरूरत पडऩे की संभावना जताई थी।

-31 दिसंबर को उन्होंने बताया था कि देश में कोरोना संक्रमण के 33 में से एक ही केस सामने आ रहा है। यही हाल कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के दौरान भी था।

-चार दिसंबर को उन्होंने अनुमान लगाया था कि भारत में 15 दिसंबर के बाद संक्रमण की रफ्तार तेज हो सकती है और जनवरी या फरवरी में चरम पर होने की आशंका है।


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