प्रदूषित शहर के दाग को साफ करेगा बायो डायवर्सिटी पार्क बनेगा, दूर होगा प्रदूषण
प्रदूषित शहर के दाग को साफ करने के लिए केडीए व वन विभाग की पहल योजना।
By Edited By: Published: Mon, 22 Apr 2019 01:42 AM (IST)Updated: Mon, 22 Apr 2019 04:27 PM (IST)
कानपुर, जेएनएन। प्रदूषित शहर के दाग को साफ करने के साथ शहर के पर्यावरण सुधार के लिए केडीए व वन विभाग ने पहल शुरू की है। इसके तहत शहर में सिटी फॉरेस्ट पार्क के साथ ही बॉयो डायवर्सिटी पार्क का भी निर्माण किया जाएगा। इसमें पेड़ों की खासियत बताई जाएगी कि कैसे इन पौधों से पर्यावरण को सुधारा जा सकता है। आवासीय व व्यावसायिक योजनाएं लाने के साथ ही केडीए ने पर्यावरण सुधार पर भी कार्ययोजना शुरू कर दी है।
केडीए उपाध्यक्ष किंजल सिंह ने केडीए व वन विभाग के अफसरों के साथ बैठक की थी। इसमें विकसित हो रहे इलाकों में पौधरोपण कराने पर फैसला लिया गया। इसके तहत ऐसे पार्क विकसित किए जाएं, जिससे जनता को बताया जा सके कि पर्यावरण सुधारने के लिए क्या-क्या उपाय किए जा सकते हैं, साथ ही कौन से पौधे कहां पर कैसे लगाए, इस बारे में भी जागरूक किया जा सके। गंगा बैराज में बॉटनिकल गार्डन में देखी भूमि गंगा बैराज पर निर्माणाधीन बॉटनिकल गार्डन में जगह देखी गई है।
केडीए द्वारा सवा अरब रुपये से सिंगापुर की तर्ज पर बॉटनिकल गार्डन का निर्माण कराया जा रहा था, लेकिन एनजीटी ने गंगा से सौ मीटर दूरी पर पक्के निर्माण पर रोक लगा दी है। इसके चलते कई माह से पार्क का निर्माण रुका पड़ा है। 65 एकड़ में गार्डन का निर्माण हो रहा था। पार्क में स्थित 25 एकड़ जगह को बायो डायवर्सिटी पार्क के रूप में विकसित किया जा सकता है। इसके अलावा अन्य क्षेत्रों में भी जगह ढूंढी जा रही है।
बायो डायवर्सिटी पार्क में ये पौधे लगेंगे
पार्क में औषधि वाले पौधे लगाए जाएंगे। सर्पगंधा, कालमेघ, केवकंद, अंतमूल, कोहा अर्जुन, अंकोल, अडूसा, अतीस, अनंतमूल, अपामार्ग, अरण्य तुलसी, अरीठा व अश्वगंधा जैसे औषधीय पौधे लगाए जाएंगे। इसके अलावा हर पौधे के बारे में जानकारी दी जाएगी। पौधा क्यों लगना चाहिए, इससे पर्यावरण को कैसे सुधारा जा सकता है, विस्तार से बताया जाएगा।
मकसूदाबाद में बन रहा सिटी फॉरेस्ट
मकसूदाबाद में केडीए सिटी फॉरेस्ट पार्क का निर्माण करा रहा है। 75 एकड़ में बनने वाले पार्क में ऑक्सीजन देने वाले पौधे , केसिया सियामिया, बरगद, पीपल, पाकड़, गूलर, जामुन, सफेद सीरस, काला सीरस, तुलसी, नीम आदि पौधे लगाए जाएंगे।
वायुमंडल में ये गैसें घातक
- कार्बन मोनो ऑक्साइड
-सल्फर डाइऑक्साइड
- क्लोरोफ्लोरो कार्बन
शहर के पर्यावरण सुधार के लिए नई पहल शुरू हुई है। केडीए जगह के साथ सिविल काम करके जगह देगा। पौधे वन विभाग द्वारा लगाए जाएंगे। इसके लिए कार्ययोजना तैयार की जा रही है। - अरविन्द यादव, डीएफओ वन विभाग
केडीए उपाध्यक्ष किंजल सिंह ने केडीए व वन विभाग के अफसरों के साथ बैठक की थी। इसमें विकसित हो रहे इलाकों में पौधरोपण कराने पर फैसला लिया गया। इसके तहत ऐसे पार्क विकसित किए जाएं, जिससे जनता को बताया जा सके कि पर्यावरण सुधारने के लिए क्या-क्या उपाय किए जा सकते हैं, साथ ही कौन से पौधे कहां पर कैसे लगाए, इस बारे में भी जागरूक किया जा सके। गंगा बैराज में बॉटनिकल गार्डन में देखी भूमि गंगा बैराज पर निर्माणाधीन बॉटनिकल गार्डन में जगह देखी गई है।
केडीए द्वारा सवा अरब रुपये से सिंगापुर की तर्ज पर बॉटनिकल गार्डन का निर्माण कराया जा रहा था, लेकिन एनजीटी ने गंगा से सौ मीटर दूरी पर पक्के निर्माण पर रोक लगा दी है। इसके चलते कई माह से पार्क का निर्माण रुका पड़ा है। 65 एकड़ में गार्डन का निर्माण हो रहा था। पार्क में स्थित 25 एकड़ जगह को बायो डायवर्सिटी पार्क के रूप में विकसित किया जा सकता है। इसके अलावा अन्य क्षेत्रों में भी जगह ढूंढी जा रही है।
बायो डायवर्सिटी पार्क में ये पौधे लगेंगे
पार्क में औषधि वाले पौधे लगाए जाएंगे। सर्पगंधा, कालमेघ, केवकंद, अंतमूल, कोहा अर्जुन, अंकोल, अडूसा, अतीस, अनंतमूल, अपामार्ग, अरण्य तुलसी, अरीठा व अश्वगंधा जैसे औषधीय पौधे लगाए जाएंगे। इसके अलावा हर पौधे के बारे में जानकारी दी जाएगी। पौधा क्यों लगना चाहिए, इससे पर्यावरण को कैसे सुधारा जा सकता है, विस्तार से बताया जाएगा।
मकसूदाबाद में बन रहा सिटी फॉरेस्ट
मकसूदाबाद में केडीए सिटी फॉरेस्ट पार्क का निर्माण करा रहा है। 75 एकड़ में बनने वाले पार्क में ऑक्सीजन देने वाले पौधे , केसिया सियामिया, बरगद, पीपल, पाकड़, गूलर, जामुन, सफेद सीरस, काला सीरस, तुलसी, नीम आदि पौधे लगाए जाएंगे।
वायुमंडल में ये गैसें घातक
- कार्बन मोनो ऑक्साइड
-सल्फर डाइऑक्साइड
- क्लोरोफ्लोरो कार्बन
शहर के पर्यावरण सुधार के लिए नई पहल शुरू हुई है। केडीए जगह के साथ सिविल काम करके जगह देगा। पौधे वन विभाग द्वारा लगाए जाएंगे। इसके लिए कार्ययोजना तैयार की जा रही है। - अरविन्द यादव, डीएफओ वन विभाग
Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें