UP Police की बड़ी सफलता, तीन अपहरणकर्ता गिरफ्तार, कन्नौज से व्यापारी और नौकर को किया था अगवा
गुुरसहायगंज के खाद व्यापारी विकास गुप्ता और उनके नौकर असलम का गुरुवार शाम को बोलेरो सवार बदमाशों ने अपहरण कर लिया था। उनकी बरामदगी के लिए एसओजी टीम और छिबरामऊ के प्रभारी निरीक्षक विनोद कुमार मिश्रा को लगाया गया था।
कन्नौज, जेएनएन। गुरसहायगंज कस्बे से अपहृत खाद व्यापारी और उनके नौकर को पुलिस ने फर्रुखाबाद गंगा कटरी से सकुशल बरामद कर लिया है। अपहरणकर्ता हिस्ट्रीशीटर और उसके दो साथी को भी गिरफ्तार कर लिए गए, जबकि दो बदमाश भाग गए। पुलिस ने वह बोलेरो भी बरामद की है, जिससे व्यापारी का अपहरण किया गया था।
शुक्रवार रात पुलिस अधीक्षक प्रशांत वर्मा ने घटना का राजफाश करते हुए बताया कि गुुरसहायगंज के खाद व्यापारी विकास गुप्ता और उनके नौकर असलम का गुरुवार शाम को बोलेरो सवार बदमाशों ने अपहरण कर लिया था। उनकी बरामदगी के लिए एसओजी टीम और छिबरामऊ के प्रभारी निरीक्षक विनोद कुमार मिश्रा को लगाया गया था। इसके अलावा फर्रुखाबाद की एसओजी टीम भी लगी थी। गंगा कटरी में कांबिंग के दौरान पता चला कि फर्रुखाबाद की कोतवाली फतेहगढ़ के अंतर्गत नगला दुर्गू गांव के कुख्यात अपराधी राममिस्टर यादव ने अपहरण किया है। पुलिस ने उसके संभावित ठिकानों पर दबिश दी तो विकास और असलम मिल गए। पुलिस ने हिस्ट्रीशीटर राममिस्टर यादव व उसके साथी भूपेंद्र निवासी ग्राम कुढिऩा थाना नवाबगंज फर्रुखाबाद, पंकज राठौर निवासी धंसुआ फतेहगढ़ को दबोच लिया। बरामद बोलेरो में ईएमओ लिखा है। उसमें सफेद रंग के पर्दे भी लगाए गए हैं। एसपी ने बताया कि फरार बदमाशों रंजीत यादव निवासी सिविल लाइन फतेहगढ़ व समित कुमार निवासी रंपुरा थाना फतेहगढ़ की तलाश में एसओजी जुटी है। हिस्ट्रीशीटर राममिस्टर पर विभिन्न थानों में हत्या, लूट व अपहरण के 36 मुकदमे दर्ज हैं। कानपुर जोन के आइजी मोहित अग्रवाल ने व्यापारी व उनके नौकर को बरामद करने वाली टीम को 50 हजार रुपये का इनाम दिया है। अपहरण की साजिश जेल में रची गई।
विकास को देख स्वजन के छलके आंसू: व्यापारी विकास गुप्ता व असलम को जब पुुलिस एसपी के सामने लाई तो वहां स्वजन पहले से ही मौजूद थे। उनके चचेरे भाई रजनीश की आंखें भर आईं। बदमाशों ने दोनों को पीटा था, जिससे उन्हें चोटें आईं थीं। इस पर दोनों को अस्पताल भेज दिया गया। स्वजन बार-बार पुलिस को धन्यवाद दे रहे थे। इनमें पूर्व चेयरमैन इंद्रकुमार गुप्ता व सभासद दिलीप गुप्ता भी थे। रजनीश ने बताया कि बदमाशों ने उन्हें तीन बार फोन किया, जिसमें पहले 30 लाख रुपये फिरौती मांगी, इसके बाद 20 और शुक्रवार को दोपहर फोन कर 10 लाख रुपये कन्नौज रेलवे स्टेशन पर देने की बात कही थी।
बदमाशों को सामने नहीं लाई पुलिस: पुलिस कार्यालय में एसपी ने राजफाश तो किया, लेकिन बदमाशों को मीडिया के सामने नहीं लाई और न ही अपहृत व्यापारी विकास गुप्ता व नौकर असलम से बात करने दी। जिससे यह भी पता नहीं चला कि बोलेरो किसकी थी और अपहरणकर्ता किसकी सिम इस्तेमाल कर रहे थे। उन्होंने टारगेट कैसेे चुना। यह सभी सवाल लोगों के जेहन में कौंध रहे थे। पुलिस ने मीडिया को फोटो उपलब्ध कराए। एसपी ने बताया कि इन सब तथ्यों का पर्दाफाश बाद में किया जाएगा।