सुविधाओं की भरमार पर बेकद्री की मार
जागरण संवाददाता, कानपुर : हाईवे से जुड़ा श्यामनगर ऐसा वार्ड है जो आदर्श वार्ड बन सकता है। ल
जागरण संवाददाता, कानपुर :
हाईवे से जुड़ा श्यामनगर ऐसा वार्ड है जो आदर्श वार्ड बन सकता है। लेकिन, कई सुविधाएं होने के बाद भी इसकी कद्र नहीं है। चौड़ी सड़कें है लेकिन, अतिक्रमण के चलते संकरी हो गई हैं। ग्रीन बेल्ट कूड़ाघर में तब्दील है। खंभों पर बुझी लाइटें, चोक सीवर लाइन व टूटी पेयजल लाइन, शौचालय पर ताला और अधूरा बना बरातशाला श्यामनगर वार्ड की पहचान बन गई है। केवल संसाधनों को व्यवस्थित करने की जरूरत है। उसके बाद यहां समस्याएं खत्म हो जाएंगी। जनता की समस्याओं के निस्तारण के लिए दैनिक जागरण द्वारा लगाए गए जागरण आपके द्वार शिविर में महापौर प्रमिला पांडेय ने जनता की समस्याओं को सुना और प्राथमिकता के आधार पर निस्तारण के आदेश दिए।
---
डेढ़ सौ फीट चौड़ी सड़कें, 30 फीट बची
क्षेत्र में डेढ़ सौ फीट चौड़ी सड़कें है जो अब केवल 30 फीट ही बची हैं। अतिक्रमणकारियों ने सड़क को घेर रखा है। इसके कारण आधी सड़क गायब हो गई है। ग्रीन बेल्ट बीच में बनी है, लेकिन रखरखाव न होने के कारण कूड़ाघर में बदल गई है।
आवारा जानवरों ने चैन छीन लिया
क्षेत्र में दौड़ते आवारा जानवर लोगों के लिए खतरनाक हो गए हैं। ग्रीन बेल्ट और सड़क पर दिनभर इनका जमावड़ा लगा रहता है। इनके अचानक सड़क पर दौड़ने से कई वाहन सवार टकरा कर चुटहिल हो चुके हैं।
खंभों पर लाइटें दिखावा
क्षेत्र के खंभों पर लाइटें केवल दिखावा बनी हुई हैं। ये कई माह से बुझी पड़ी हैं। कई बार शिकायत के बाद भी लाइट ठीक न हो पाई है।
शौचालय पर लगा ताला
क्षेत्र में शौचालय है लेकिन, ताला लगा हुआ है। इसको लेकर क्षेत्रीय जनता में नाराजगी है। घर-घर से नहीं उठता कूड़ा
घर-घर से कूड़ा नहीं उठाया जाता है। कूड़ाघर भी नहीं है। कर अधीक्षक जोनल स्वास्थ्य अफसर का भी काम देख रहे हैं। दोनों महत्वपूर्ण विभाग एक अफसर के पास है। क्षेत्रीय जनता ने कहा कि अफसर नजर ही नहीं आते हैं।
अधूरी बरातशाला का काम देखकर महापौर नाराज
क्षेत्र में अधूरी पड़ी बरातशाला देखकर महापौर ने नाराजगी जताई। शिकायत मिलने पर पैदल ही महापौर अफसरों के साथ बरातशाला पहुंचीं। यहां पर आधा काम कराया गया था। शौचालय में भी ताला लगा था। उन्होंने अफसरों से कहा कि बरातशाला का निर्माण कराया जाए और शौचालय का ताला खोला जाए।
-----
क्षेत्र का हाल
वार्ड - 74 श्याम नगर
आबादी - 75 हजार
मोहल्ला- बी, सी, डी, ई श्याम नगर, गंगानगर, गदियाना, गिरजा नगर समेत कई क्षेत्र शामिल है।
विशेषता- हरिहरधाम
---
क्या कहते हैं जिम्मेदार
जनता की आई समस्याओं का निस्तारण प्राथमिकता के आधार पर कराया जाएगा। महापौर के दिए आदेशों का तुरंत पालन कराया जाएगा।
-पुष्पा राठौर, जोनल प्रभारी दो, नगर निगम
---
जागरण आपके द्वार में आई शिकायतों को संबंधित अफसरों ने लिख लिया है। निस्तारण न होने पर जनता के साथ अफसरों का घेराव किया जाएगा।
-राजीव सेतिया, पार्षद वार्ड 74 श्याम नगर
------
जनता की आवाज
ग्रीन बेल्ट को साफ कराया जाए। इसमें फलदार व फूल वाले पौधे लगाए जाएं और रखरखाव की व्यवस्था की जाए।
-सुधीर निछावन
पार्क की बाउंड्रीवाल टूटी पड़ी है। पार्क का रखरखाव न होने के कारण पौधे भी खराब हो गए हैं। साथ ही सड़क की मरम्मत कराई जाए।
-अर्जुन कटियार
लाइटों को ठीक कराया जाए ताकि रात में लोगों का निकलने में दिक्कत न हो। कई बार रात में लूटपाट हो जाती है। पिछले दिनों भी हुई है।
-सारिका गुप्ता
जगह-जगह फैली गंदगी बीमारी को न्यौता दे रही है। घर-घर से कूड़ा उठाने की व्यवस्था की जाए। खुले कूड़ाघरों को बंद कराया जाए।
-सुनीता
सरकारी बरातशाला को जल्द चालू किया जाए ताकि गरीबों को राहत मिल सके। यह पिछले कई माह से बन रहा है। बाउंड्रीवाल न होने के कारण सूअर घूमते रहते हैं।
-राजकुमार
आवारा जानवरों को पकड़ने का अभियान चलाया जाए। साथ ही बंद हैंडपंप ठीक कराए जाए ताकि पीेने के पानी की किल्लत क्षेत्र में न रहे।
-सीता
------
जागरण सुझाव
- क्षेत्र में मात्र 39 सफाई कर्मचारी हैं। क्षेत्र के हिसाब से 85 सफाई कर्मचारी तैनात किए जाएं।
-सीवर की समस्या से निपटने के लिए कर्मचारी मात्र तीन हैं, जरूरत 25 की है।
-बरातशाला जल्द बन जाए तो गरीबों को राहत मिलेगी।
-क्षेत्र में बना शौचालय जनता के लिए खोला जाए।
- पेयजल एटीएम खोला जाए ताकि क्षेत्रीय जनता को शुद्ध पेयजल मिल सके।
- अतिक्रमण हटाकर सड़कों को चौड़ा किया जाए।
- क्षेत्र से चंट्टे हटाए जाएं ताकि सीवर लाइन चोक न हो सके।
---
अफसर मौजूद थे
जोनल प्रभारी पुष्पा राठौर, जोनल अभियंता आरके सिंह, जलकल के सहायक अभियंता राम अवतार चौधरी व अवर अभियंता निशा गुप्ता, राजस्व निरीक्षक शिप्रा श्रीवास्तव व मीनाक्षी, सेनेटरी इंस्पेक्टर ऋषि कुमार।
---
किससे जुड़ी कितनी समस्याएं
नगर निगम - 38
जलकल विभाग -27
केस्को -
जल निगम