एप बताएगा, कहां ज्यादा भीड़ और मास्क की अनदेखी
12वीं के छात्र ईशान ने किया तैयार अंतरराष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता में छाए मिले 500 डॉलर
समीर दीक्षित, कानपुर : कोरोना महामारी में अधिक भीड़ वाले स्थानों पर नहीं जाने और बराबर मास्क पहनने की सलाह दी जा रही है। इसके बावजूद लोग मनमानी कर रहे हैं। ऐसे में ज्यादा दिक्कत तो उनके लिए खड़ी होती है, जो कोरोना से अपने बचाव के प्रति जागरूक और फिक्रमंद हैं। कहीं निकलने से पहले कैसे पता लगे कि किस स्टोर व माल में जाकर कोरोना से बचकर खरीदारी कर सकते हैं। इसका उपाय सेठ आनंदराम जयपुरिया स्कूल में 12वीं के छात्र ईशान गुप्ता ने खोज निकाला है। वर्क डिको नाम से मोबाइल एप तैयार किया है। एप भीड़भाड़ के साथ ही लोगों के मास्क न लगाने और संख्या, तक की जानकारी दे सकता है। ईशान को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हुई प्रतियोगिता में 500 डॉलर भी मिले हैं। प्रधानाचार्य शिखा बनर्जी ने ईशान की इस प्रतिभा को सराहा और उसे बधाई भी दी।
---------
ऐसे काम करता है एप
फिनलैंड में कोरोना को लेकर हुए शोध के बाद ईशान ने यह एप बनाया। ईशान बताते हैं कि आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस, मशीन लर्निग व कंप्यूटर विजन तकनीक का उपयोग कर एप बनाया। डाटा तैयार किया और क्लाउड सर्वर पर अपलोड कर दिया। इसके बाद परिणाम आना शुरू हो गए। एप का उपयोग करने के लिए मॉल या स्टोर पर जो कैमरे लगे होते हैं, उनसे इस एप को जोड़ना होता है। इसके बाद जिस स्थान पर एप का उपयोग कर रहे हैं, वहां का पूरा डाटा एक क्लिक पर मिल जाता है। एप पर विच इज द बेस्ट स्टोर टू विजिट का विकल्प भी मौजूद रहता है।
------
क्राउन एजूकेशन चैलेंज में अंतरराष्ट्रीय फलक पर छाए
हार्वर्ड और स्टेनफोर्ड विश्वविद्यालय की ओर से अप्रैल में कोरोना महामारी को लेकर प्रतियोगिता हुई थी। ईशान ने उसमें प्रतिभाग कर अपने इस एप को प्रस्तुत किया। अगस्त में जब परिणाम आया तो ईशान को वैश्विक स्तर पर पहला स्थान मिला। 500 डॉलर और किग जॉर्ज का मेडल भी मिला।
-------
गरीब बच्चों की करते हैं मदद
स्वरूपनगर निवासी ईशान को 10वीं में 97.2 फीसद अंक मिले। खुद की पढ़ाई के साथ वह गरीब बच्चों की मदद भी करते हैं। ईशान वन बुक-वन स्माइल नाम से कम्युनिटी प्रोजेक्ट का संचालन भी करते हैं। इसमें मेरठ, नोएडा, कोलकाता के छात्र भी जुड़े हैं।