हृदय रोग संस्थान में बनेगा एडवांस कार्डियक सर्जरी एवं रिसर्च सेंटर : सुरेश खन्ना
लक्ष्मीपत सिंहानिया हृदय रोग संस्थान का विस्तार किया जाएगा।
जागरण संवाददाता, कानपुर : लक्ष्मीपत सिंहानिया हृदय रोग संस्थान का विस्तार किया जाएगा। यहां जल्द ही एडवांस कार्डियक सर्जरी एवं रिसर्च सेंटर बनेगा। इस सेंटर का निर्माण 200 करोड़ रुपये से कराया जाएगा ताकि शहर और आसपास के लोगों को हृदय से संबंधित इलाज के लिए बाहर न जाना पड़े। ये बातें चिकित्सा शिक्षा मंत्री सुरेश खन्ना ने गुरुवार को लक्ष्मीपत सिंहानिया हृदय रोग संस्थान के तीन निर्माण कार्यों के शिलान्यास कार्यक्रम के दौरान कहीं।
उन्होंने कहा कि संक्रामक रोग अस्पताल (आइडीएच) के आधे हिस्से में 33.45 करोड़ रुपये की लागत से इमरजेंसी एवं डायग्नोस्टिक सेंटर का निर्माण भी कराया जाएगा। 17 करोड़ की लागत से सर्जिकल आइसीयू बनेगा। डॉक्टरों एवं अस्पताल के अधिकारियों के रहने के लिए 36.2 करोड़ एवं नर्सिंग स्टॉफ के लिए 20.42 करोड़ रुपये से आवासीय परिसर का निर्माण प्रस्तावित है। सांसद देवेंद्र सिंह भोले ने कोरोना काल में बेहतर कार्य करने के लिए डॉक्टरों की सराहना की। इससे पहले संस्थान के निदेशक डॉ. विनय कृष्ण ने उपलब्ध सुविधाएं, इलाज और कार्यों से मंत्री को अवगत कराया। स्वागत डॉ. उमेश्वर पांडेय ने किया। संचालन डॉ. चयनिका काला और धन्यवाद डॉ. अवधेश शर्मा ने किया। इस दौरान उच्च शिक्षा राज्य मंत्री नीलिमा कटियार, एमएलसी सलिल विश्नोई, विधायक महेश त्रिवेदी व भगवती सागर, प्राचार्य प्रो. आरबी कमल, सीएमओ डॉ. अनिल मिश्रा, प्रो. राकेश वर्मा एवं प्रो. रमेश ठाकुर मौजूद रहे।
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गुणवत्ता व समय से पूरा करें कार्य
इससे पहले मंत्री सुरेश खन्ना ने संस्थान के तीन कार्यों का शिलान्यास किया। इसमें 14.67 करोड़ की लागत से आठ मंजिला सीनियर रेजीडेंट के लिए आवासीय कॉम्पलेक्स बनेगा, जिसमें 32 फ्लैट होंगे। दूसरा संस्थान में 78.23 लाख रुपये से जलपान गृह एवं भोजनालय का कार्य है, जो मार्च अंत तक पूरा होना है। परिसर में सड़क निर्माण के 94.90 लाख का कार्य दिसंबर तक पूरा होगा। मंत्री ने निर्माण एजेंसी के जिम्मेदारों से कहा कि गुणवत्ता व समय से कार्य करें। समय से कार्य पूरा न होने से निर्माण लागत बढ़ने लगती है। ----------------------
कोरोना समाप्त नहीं, बनी हुई आशंका
मंत्री ने कहा कि कोरोना खत्म नहीं हुआ है। इसकी आशंका बनी हुई है। देश के कई राज्यों में तेजी से केस बढ़ रहे हैं। यूपी में घटकर रोजाना 77 केस तक आ गए थे, फिर से 321 पर पहुंच गए हैं। इसलिए सतर्क रहें, इसमें किसी प्रकार की चूक न होने पाए। मास्क भी जरूरी है और शारीरिक दूरी का पालन करना भी अहम है।
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डॉक्टरों को दी नसीहत, मीठी बोली दवाई की तरह
मंत्री ने डॉक्टरों का नसीहत भी दी। कहा, मरीज एवं तीमारदारों की मनोदशा को भी समझा करें। जब वह अस्पताल आता है तो परेशान होता है। दुखी होता है, ऐसे में उससे शिष्टाचार की उम्मीद न करें। आप भी काम के दबाव में रहते हैं, लेकिन आपकी मीठी बोली व व्यवहार दवाई का काम करता है। उसे मानसिक संतुष्टि भी होती है। काम के बोझ में आकर जब आप अपेक्षित व्यवहार नहीं करते तो उसी हिसाब से आपकी और आपके संस्थान की छवि बनती है। संस्थान की बदनामी होती है। साथ ही उसके अनुरूप सरकार का भी मूल्यांकन होता है।
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आइडीएच के नाम पर झाड़ा पल्ला
कोरोना काल में संक्रामक रोग अस्पताल (आइडीएच) का आधा हिस्सा हृदय रोग संस्थान को देने का चिकित्सा शिक्षा मंत्री ने मंच से एलान कर दिया। जब कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बीच आइडीएच को खत्म करने को लेकर सवाल किया गया तो पहले मंत्री बोले, मुझे पूरी जानकारी नहीं दी गई है। बाद में वह इस प्रकरण से पल्ला झाड़ते हुए बचकर निकल गए।