Move to Jagran APP

चोरी के माल से खोली थी दुकान, अमेजन कंपनी में माल सप्लाई के लिए करा रखा था अपनी ही फर्म का रजिस्ट्रेशन

आरोपित अमेजन कंपनी में अपने करीबी परिचितों से फेक आइडी के माध्यम से आर्डर बुक कराने के बाद डुप्लीकेट व पुराना सामान रखकर रिफंड कराते थे। इसमें वेयर हाउस के कर्मचारियों और डिलीवरी मैन की मिलीभगत रहती है।

By Rahul MishraEdited By: Published: Thu, 04 Feb 2021 09:54 AM (IST)Updated: Thu, 04 Feb 2021 09:54 AM (IST)
चोरी के माल से खोली थी दुकान, अमेजन कंपनी में माल सप्लाई के लिए करा रखा था अपनी ही फर्म का रजिस्ट्रेशन
पुलिस ने मास्टर माइंड के यहां की छापेमारी। प्रतीकात्मक चित्र

कानपुर, जेएनएन। अमेजन कंपनी में रिफंड के नाम पर तीन करोड़ की चपत लगाने वाले मास्टर माइंड ने चोरी के माल से दुकान तैयार कर ली। इतना ही नहीं उसने फर्म को अमेजन के आर्डर पर माल सप्लाई के लिए पंजीकृत भी करा लिया था। सर्विलांस टीम की मदद से पुलिस ने उसे दबोचा है। पुलिस आरोपित और उसके करीबियों से माल बरामदगी के प्रयास कर रही है। गुरुवार को पुलिस मामले का राजफाश कर सकती है।

loksabha election banner

आरोपित अमेजन कंपनी में अपने करीबी परिचितों से फेक आइडी के माध्यम से आर्डर बुक कराने के बाद डुप्लीकेट व पुराना सामान रखकर रिफंड कराते थे। इसमें वेयर हाउस के कर्मचारियों और डिलीवरी मैन की मिलीभगत रहती है। भेजे गए उत्पाद को बाजार में बिक्री करने के बाद रकम का बंटवारा किया जाता था। मामले में कंपनी के अधिवक्ता जितेंद्र सैनी ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी।

इसकी छानबीन करने के बाद पुलिस ने कंपनी के वेंडर विश्वबैंक निवासी उदय कुमार, नौबस्ता निवासी अमित पटेल, बर्रा सात निवासी प्रदीप सिंह, सिविल लाइंस निवासी जितेंद्र सिंह, महादेव नगर कच्ची बस्ती निवासी विकास कुमार को गिरफ्तार किया था। बाद में सभी को जमानत पर छोड़ दिया गया। पुलिस आर्डर बुक कराने वाले की तलाश कर रही है। एसपी साउथ दीपक भूकर ने बताया, पकड़े गए कॢमयों की सीडीआर में कालपी के मंजीत का नाम सामने आया था। मंजीत की कई दुकानें हैं, जिसमें वह चोरी का माल रखता था। उसने अपनी फर्म को माल की डिलीवरी के लिए अमेजन में पंजीकृत भी कराया था। आर्डर मिलने पर लोगों को सप्लाई भी करता था। पुलिस ने मंजीत समेत कालपी के छह अन्य दुकानदारों को भी पकड़ा है।

सीबीआइ डिपार्टमेंट के नाम भी बनाई थी आइडी

एसपी साउथ ने बताया कि मंजीत के पास मिले मोबाइल और लैपटॉप में दो दर्जन से अधिक अलग-अलग नाम से आइडी मिली हैं, जिससे आर्डर बुक कराए जाते थे। इनमें से एक आइडी सीबीआइ डिपार्टमेंट के नाम से भी मिली है। इस नाम से आइडी क्यों बनाई, इसका कैसे इस्तेमाल होता था। अब तक इस आइडी के माध्यम से उसने क्या-क्या सामान मंगाया समेत अन्य बिंदुओं पर छानबीन की जा रही है।

शहर में भी छापेमारी

कालपी से पकड़े गए आरोपितों की निशानदेही पर पुलिस ने बर्रा, गोविंद नगर समेत कई इलाकों में छापेमारी करके पांच संदिग्धों को उठाया है। उठाए गए लोगों की मदद से पुलिस शहर में माल बरामदगी के प्रयास कर रही है। वहीं टीम ने कालपी से दो डीसीएम माल बरामद किया है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.