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सुनिये सरकार! स्वच्छता अभियान को बट्टा लगा रहा कानपुर, नालों में गंदगी, घरों में भरा पानी Kanpur News

बारिश होने पर कल्याणपुर क्षेत्र में नाला बंद होने के कारण घरों में पानी भर गया।

By Edited By: Published: Tue, 20 Aug 2019 01:27 AM (IST)Updated: Tue, 20 Aug 2019 10:47 AM (IST)
सुनिये सरकार! स्वच्छता अभियान को बट्टा लगा रहा कानपुर, नालों में गंदगी, घरों में भरा पानी Kanpur News
सुनिये सरकार! स्वच्छता अभियान को बट्टा लगा रहा कानपुर, नालों में गंदगी, घरों में भरा पानी Kanpur News
कानपुर, जेएनएन। स्वच्छता अभियान को यूपी का कानपुर शहर बट्टा लगा रहा है, शहर को स्मार्ट सिटी बनाने का सपना सरकार देख रही है, जबकि गंदगी से पटे नाले और जगह-जगह फैला कूड़ा मातहतों की लापरवाही को उजागर कर रहा है। सोमवार की दोपहर बारिश में नाला सफाई की पोल खुल गई। शहर में नाला सफाई का काम कितनी गंभीरता से हुआ, जरा सी बारिश में हो रहे जलभराव को देखते हुए यह सवाल भी उतना ही गंभीर हो गया है। यह तब है जब मंडलायुक्त व जिलाधिकारी की जांच में कई जगह नाले साफ नहीं मिले। इसके बाद भी न तो जिम्मेदारों पर कोई कार्रवाई और न ही नालों की सफाई कराई गई।
कल्याणपुर-पनकी रोड पर बाईं ओर रेलवे क्रासिंग केबिन से पुलिया तक बने नाले सफाई करने में खानापूरी की गई। सिल्ट निकाल गहरी सफाई न होने और इंटर कालेज के पास जलेबी स्टॉल पर बंद नाला न खोले जाने से गंदा पानी उफान मारता रहता है। बारिश हुई तो समस्या और विकराल हो गई। नाले का पानी घरों और दुकानों के अंदर भर गया। घरों में रखा सामान पानी में डूब गया, लोग गंदा पानी बाल्टी से बाहर डालते नजर आए। यह हाल शहर के कई इलाकों में रहा।
पानी भरने से घरों में कैद शहरवासी
शहर में सोमवार को हुई बारिश से आवास विकास कल्याणपुर और शारदा नगर में एक से दो फीट पानी भर गया। बुजुर्ग, महिलाएं और बच्चे घरों में कैद हो गए। गूबा गार्डन, केशवपुरम व अशोक नगर समेत कई इलाकों में भी पानी गया। आवास विकास सत्यम विहार के अभय सिंह का कहना है पहली बार इतना पानी भरा। कल्याणपुर से गुजरने वाला नाला साफ ही नहीं हुआ है। शारदा नगर के रहने वाले संतोष सिंह, रमन ने बताया कि नाला सफाई क्षेत्र में हुई नहीं है। रही सही कसर पीडब्ल्यूडी ने पूरी कर दी। नाले का निर्माण पूरा नहीं कराकर बीच-बीच में छोड़ दिया है। इसके चलते जलभराव हुआ है। किदवईनगर इलाके में भी पानी भरने से वाहन फंसते रहे। गांधीग्राम, श्यामनगर, विष्णुपुरी में सड़कें खोदी होने के कारण बारिश में कीचड़ में बदल गई।
हजारों लीटर ईधन कागज में ही बह गया
फरवरी में नगर निगम ने मशीनों के जरिए नाला सफाई शुरू कर दी थी। रोज हजारों लीटर ईधन खर्च दिखाया गया। हालांकि, नालों को देख कोई नहीं कह सकता कि यह साफ किए गए हैं। फरवरी से ही अगर ठीक से नालों को साफ किया जाता तो जलभराव की नौबत नहीं आती।
अभियंता व स्वास्थ्य निरीक्षक की मिली भगत
नाला सफाई के नाम पर हुए खेल में अभियंता व स्वास्थ्य निरीक्षक की मिलीभगत की चर्चा है। कागजों में ही मजदूर लगाए गए क्योंकि मौके पर कोई नहीं दिखा। मजदूर देने का ठेका बालाजी कंपनी को दिया गया। मंडलायुक्त सुभाष चंद्र शर्मा के आदेश पर डीएम विजय विश्वास पंत ने जांच कराई तो 70 फीसद ही नाले साफ मिले, बाकी में सिल्ट भरी मिली थी। आज तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है।
आधा दर्जन अभियंताओं पर हो सकती कार्रवाई
मामला तूल पकडऩे पर नगर निगम के अभियंत्रण विभाग ने दोषी अभियंताओं को चिह्नित करना शुरू कर दिया है। नगर आयुक्त संतोष कुमार शर्मा के आदेश पर मुख्य अभियंता कैलाश सिंह ने दोषी अवर अभियंताओं की रिपोर्ट तलब की है। माना जा रहा है कि आधा दर्जन अभियंताओं पर कार्रवाई तय है। वहीं स्वास्थ्य विभाग के निरीक्षकों पर भी कार्रवाई हो सकती है। इनको भी चिह्नित किया जा रहा है। ठेकेदार का भुगतान रोक दिया गया है।
कार्यकारिणी में मुद्दा बनेगा नाला
पार्षद सुहैल अहमद, जय प्रकाश पाल, अश्वनी चढ्डा, हरि शंकर गुप्ता ने बताया कि कार्यकारिणी में नाला सफाई का मुद्दा रखा जाएगा। नाला सफाई के दोषी अभियंता व स्वास्थ्य निरीक्षक पर कार्रवाई हो।

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