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अधिवक्ताओं ने सीओ को घेरा, पुलिसकर्मियों के छीने डंडे

संवाद सहयोगी छिबरामऊ साथी अधिवक्ता की जमीन पर निर्माण कराए जाने के मामले ने तूल पकड़ लिय

By JagranEdited By: Published: Fri, 15 Jan 2021 07:50 PM (IST)Updated: Fri, 15 Jan 2021 07:50 PM (IST)
अधिवक्ताओं ने सीओ को घेरा, पुलिसकर्मियों के छीने डंडे
अधिवक्ताओं ने सीओ को घेरा, पुलिसकर्मियों के छीने डंडे

संवाद सहयोगी, छिबरामऊ: साथी अधिवक्ता की जमीन पर निर्माण कराए जाने के मामले ने तूल पकड़ लिया। अधिवक्ताओं ने नारेबाजी कर हंगामा किया। सीओ का घेराव कर निर्माण करवाए जाने की मांग की। इस बीच नोकझोंक भी हुई। वहीं कुछ पुलिसकर्मी डंडे लेकर तहसील परिसर पहुंचे, अधिवक्ताओं ने उन्हें खदेड़ दिया। उनके डंडे भी छीन लिए।

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शुक्रवार को गांव करमुल्लापुर निवासी अधिवक्ता संजय शाक्य तहसील पहुंचे। आठ दिन से जमीन पर किए जा रहे कब्जे की जानकारी दी। प्रार्थना पत्र दिए जाने के बाद में काम न रुकवाया जाने का आरोप पुलिस पर लगाया। इसकी जानकारी होते ही राष्ट्रीय संयुक्त अधिवक्ता मंच युवा प्रकोष्ठ के राष्ट्रीय अध्यक्ष जितेंद्र श्रीवास्तव व बार एसोसिएशन छिबरामऊ के अध्यक्ष रामचंद्र मिश्रा के नेतृत्व में अधिवक्ता तहसील परिसर में एकत्रित हो गए। अधिवक्ताओं ने पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी कर जुलूस निकाला। अधिवक्ताओं की नाराजगी देख कर्मचारी कार्यालयों में ताले डालकर बाहर निकल आए। अधिवक्ताओं ने तहसील पहुंचे सीओ छिबरामऊ शिव कुमार थापा को घेर लिया। पुलिस पर मिलीभगत का आरोप लगाते हुए निर्माण कार्य गिराए जाने की मांग की। नोकझोंक भी हुई। इस बीच एसडीएम देवेश कुमार गुप्त ने अधिवक्ताओं को कार्रवाई का आश्वासन दिया। बंद कमरे में करीब डेढ़ घंटे तक एसडीएम, सीओ व तहसीलदार के बीच वार्ता हुई। एसडीएम देवेश कुमार गुप्त को अधिवक्ता संजय कुमार शाक्य ने प्रार्थना पत्र देकर उनकी आराजी में किए गए निर्माण को हटवा कर कृषि योग्य भूमि सुरक्षित कराए जाने की मांग की। एसडीएम ने बताया कि दोनों पक्षों से प्रपत्र मांगे गए हैं। एक दिन का समय दिया गया है। मंगलवार को प्रपत्रों के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। इस बीच सीओ छिबरामऊ के निर्देश पर काम रुकवा दिया गया है। निर्णय होने तक काम न करने के निर्देश दिए गए हैं। दारोगा समझ गार्ड के साथ कर दी मारपीट

नाराज अधिवक्ता एसडीएम कक्ष की ओर जा रहे थे। इस बीच खाकी वर्दी में उन्हें एक गार्ड दिखाई दिया। दारोगा समझ कर उसके साथ कुछ लोगों ने मारपीट कर दी। इस बीच कुछ पुलिसकर्मी डंडे लेकर तहसील परिसर में पहुंच गए। अधिवक्ताओं ने उन्हें खदेड़ दिया। तहसील के अंदर पहुंचने के बाद डंडे छीन लिए। बाद में उन्हें मौके से हटाया गया। इससे पहले पुलिस की गाड़ी तहसील परिसर में पहुंची। अधिवक्ताओं ने नारेबाजी करते हुए इसका विरोध किया और गाड़ी को परिसर से बाहर निकलवा दिया। सभी ने निर्माण कार्य के दौरान मौजूद पुलिसकर्मियों को निलंबित किए जाने की मांग भी की। वहीं जिलाधिकारी ने एसडीएम से मोबाइल पर वार्ता की। उन्होंने दोनों पक्षों के प्रपत्र मंगवा कर जमीन की नाप कराए जाने के निर्देश भी दिए। इसको लेकर एसडीएम ने तहसीलदार को राजस्व व चकबंदी कर्मियों की संयुक्त टीम बनाकर नाप करवाए जाने को कहा। पीड़ित अधिवक्ता ने दी आत्मदाह की चेतावनी

पीड़ित अधिवक्ता संजय कुमार शाक्य ने कहा कि जमीन के सभी प्रपत्र हैं। सन् 1985 से काबिज हैं। गलत तरीके से प्रपत्र दिखा कर जमीन पर कब्जा कर रहे हैं। अधिकारी हम से ही सभी प्रपत्र मानते हैं। अधिकारी एक दूसरे पर मामला डालते हैं। आठ दिन से निर्माण कराया जा रहा है। शुक्रवार से शिकायत कर रहे हैं। दो दिन पहले स्वजन कन्नौज डीएम से मिलने गए थे। एडीएम ने एसडीएम को आदेश दिए थे। सीओ ने आदेश मानने से इन्कार कर दिया। पुलिस प्रशासन मौके पर रहकर निर्माण करवाना है। निर्माण न रुकवाया गया तो तहसील छिबरामऊ व कन्नौज में डीएम के सामने वह आत्मदाह करेंगे।


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