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ऑनलाइन काता चैम्पियनशिप में जीते 3 पदक

लोगो : झाँसी खेल ::: झाँसी : ़िजला कराटे असोसिएशन के सचिव मेवालाल राजपूत ने बताया कि शितारियू कर

By JagranEdited By: Published: Wed, 05 Aug 2020 01:00 AM (IST)Updated: Wed, 05 Aug 2020 07:26 AM (IST)
ऑनलाइन काता चैम्पियनशिप में जीते 3 पदक
ऑनलाइन काता चैम्पियनशिप में जीते 3 पदक

लोगो : झाँसी खेल

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झाँसी : ़िजला कराटे असोसिएशन के सचिव मेवालाल राजपूत ने बताया कि शितारियू कराटे स्कूल ऑफ इण्डिया के तत्वावधान में इण्टरनैशनल ऑनलाइन लाइव काता चैम्पियनशिप का आयोजन ़जूम ऐप के जरिए किया गया। इसमें जनपद के 6 खिलाड़ियों ने प्रतिभाग कर 3 ने पदक प्राप्त किया। सीनियर बालिका वर्ग में पूनम गौतम प्रथम (स्वर्ण पदक), अंजली झा द्वितीय (रजत पदक) एवं बालक सीनियर वर्ग में शिखर खरे ने तीसरा स्थान (कांस्य पदक) प्राप्त किया। 3 अन्य खिलाड़ी अनिरुद्ध मानके, अनिता अहिरवार एवं जयश्री बाथम का प्रदर्शन सराहनीय रहा। ऑनलाइन प्रतियोगिता में मेवालाल राजपूत, शाहीन परवीन, पिंकी रायकवार ने जज की भूमिका निभाई।

लायन्स ने तय की सेवाकार्यो की रूपरेखा

झाँसी : लायन्स क्लब इण्टरनैशनल डिस्ट्रिक्ट 321-बी 2 की प्रथम वर्चुअल ऑनलाइन कैबिनेट बैठक डिस्ट्रिक्ट गवर्नर नवीन गुप्ता के मुख्य आतिथ्य में सम्पन्न हुई। बैठक में कैबिनेट सचिव अब्दुल खालिद ने आगामी वर्ष की सेवा कार्यो की रूपरेखा प्रस्तुत की। पूर्व मण्डलाध्यक्ष महेन्द्र मोहन गुप्त (कानपुर) ह्वह्य पदाधिकारियों को कोरोना महामारी को देखते हुए सावधानी से सेवा कार्य करने हेतु प्रेरित किया। बैठक में प्रमुख वक्ता के रूप में राजीव बब्बर, अभिनव सिंह, कैबिनेट ट्रे़जरार अजय मोदी आदि ने विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर कविता गुप्ता, डीपी सिंह, किरण सिंह, गोपाल तुलसियान, प्रदीप अरोरा, श्याम किशोर विजयवर्गीय, रमेश माहेश्वरी, अवधेश कंचन, एचपी वर्मा आदि उपस्थित रहे। राकेश गुप्ता ने संचालन एवं डिस्ट्रिक्ट कैबिनेट पीआरओ दीपांशु डे ने आभार व्यक्त किया।

़फसल को अच्छी बनाने में अहम भूमिका निभाता है स्वस्थ बीज

झाँसी : रानी लक्ष्मीबाई केन्द्रीय कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. अरविन्द कुमार के निर्देशन एवं निदेशक प्रसार शिक्षा डॉ. एसएस सिंह के मार्गदर्शन में ़फसल में स्वस्थ बीज की भूमिका पर विचार-विमर्श किया गया। वैज्ञानिक डॉ. आशुतोष सिंह ने बताया कि बुन्देलखण्ड के 90-95 प्रतिशत किसान अपने बीजों का उपयोग अगले वर्ष करते हैं। इसमें सामान्य अनाज को बीज के रूप में प्रयोग करने से ़फसल के उत्पादन एवं उत्पादकता दोनों पर विपरीत प्रभाव पड़ता है। सामान्य अनाज या उत्तम गुणवत्ता वाले बीज प्रयोग में लाए जाएं, दोनों ही हालत में ़फसल उत्पादन की औसत लागत उतनी ही लगती है। बीज के बेहतर न होने के कारण ़फसल की उत्पादकता कम हो जाती है। अच्छे बीज हेतु ़फसल उत्पादन के समय खड़ी ़फसल में से कुछ अच्छे पौधों का चयन कर लेना चाहिए, और फसल की परिपक्वता के बाद उनकी अलग से कटाई व मड़ाई करके अच्छे से सुखा लेना चाहिए। ध्यान रहे कि मड़ाई करते समय उसके किसी अन्य प्रजाति के बीज का मिश्रण नहीं होना चाहिए। मड़ाई करने के बाद बीज को बेहतर तरीके से सुखाकर एवं बीजों में उपयुक्त फफून्दनाशी व कीटनाशक रसायनों के साथ मिलाकर किसी सूखे स्थान पर भण्डारण करना चाहिए। अगले वर्ष ़फसल की बुआई करने के पहले भण्डारित बीज को बुआई के कुछ दिन पहले निकाल कर अच्छे से सा़फ कर सुरक्षित स्थान पर रख देना चाहिए। ऐसा करने से निश्चित ही ़फसल को काफी लाभ मिलेगा।

नरेन्द्र प्रताप सिंह

समय 7.10

दिनांक 4 अगस्त 2020


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