विश्वविद्यालय : कर्मचारी संगठन का चुनाव अमान्य
0 बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय के कर्मचारियों ने बैठक कर पूरी की चुनाव प्रक्रिया, अधिकतर कर्मचारी रहे त
0 बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय के कर्मचारियों ने बैठक कर पूरी की चुनाव प्रक्रिया, अधिकतर कर्मचारी रहे तटस्थ
0 विश्वविद्यालय प्रशासन की अनुमति बगैर धारा 144 में बैठक करने पर कुलपति गम्भीर
झाँसी : बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय में कर्मचारी संगठन के चुनाव को लेकर विश्वविद्यालय प्रशासन व कर्मचारियों में तनातनी ते़ज हो गयी है। आज बगैर अनुमति बैठक कर चुनाव प्रक्रिया पूरी करने को विश्वविद्यालय प्रशासन ने गम्भीरता से लेते हुए चुनाव को अमान्य घोषित कर दिया है।
बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय परिसर में कर्मचारी संगठन के चुनाव को लेकर एक माह से तनातनी चल रही है। कुलसचिव ने विश्वविद्यालय परिसर व आवासीय क्षेत्र में चुनाव सम्बन्धी बैठक पर पहले ही धारा 144 का उल्लेख करते हुए रोक लगा दी थी। इसके बाद आज अपराह्न कर्मचारियों ने बैठक कर चुनाव सम्बन्धी प्रक्रिया अपनायी और अध्यक्ष व महामन्त्री घोषित कर दिया। कुलसचिव प्रो. एसपी सिंह ने बैठक व चुनाव प्रक्रिया की जानकारी होने पर एक आदेश जारी कर चुनाव सम्बन्धी प्रक्रिया को अमान्य घोषित कर दिया। विज्ञप्ति में कहा गया कि कुलपति व कुलसचिव की अनुमति के बगैर डॉ. पुष्पा गौतम ने आदेशों की अवेहलना करते हुए 24 जनवरी को अपराह्न 1 बजे कर्मचारी संघ की चुनाव सम्बन्धी बैठक बुलायी और तथाकथित चुनाव सम्पन्न कराए। पत्र में कहा गया कि धारा 144 लागू होने के जानकारी देने के बाद भी बैठक बुलायी गयी। इस बीच, कर्मचारियों ने बैठक कर डॉ. पुष्पा गौतम को अध्यक्ष व राघवेन्द्र यादव को महामन्त्री चुना। इस सम्बन्ध में डॉ. पुष्पा गौतम ने कहा कि कर्मचारी संगठन चुनाव के लिए लगातार एक वर्ष से अनुमति माँगी जा रही है, लेकिन विश्वविद्यालय प्रशासन हर बार कोई नया बहाना कर चुनाव की अनुमति नहीं दे रहा है। इसीलिए आज कर्मचारियों ने बैठक कर संगठन का चुनाव कर लिया। विश्वविद्यालय प्रशासन के चुनाव के अवैध घोषित करने के निर्णय को उचित मंच पर चुनौती दी जाएगी।
लोकतन्त्र को मजबूत बनाने की सामूहिक शपथ लेंगे मतदाता
0 राष्ट्रीय मतदाता दिवस आज, बूथ व तहसील स्तर पर होंगे कार्यक्रम
0 मुक्ताकाशी मंच पर शाम को दिलायी जाएगी शपथ
झाँसी : भारत निर्वाचन आयोग द्वारा लोकतन्त्र को मजबूत बनाने के लिए मतदान की जागरूकता तथा युवा मतदाताओं में लोकतान्त्रिक प्रक्रिया में दिलचस्पी जगाने के लिए प्रति वर्ष 25 जनवरी को राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाया जाता है। इस बार भी राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर ़िजला, तहसील व बूथ स्तर पर कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।
भारत निर्वाचन आयोग की स्थापना वर्ष 1950 में हुई थी। निर्वाचन आयोग ने अपनी 61वें स्थापना वर्ष पर 25 जनवरी 2011 को राष्ट्रीय मतदाता दिवस कार्यक्रम प्रारम्भ किया था। तत्कालीन राष्ट्रपति प्रतिभा देवी सिंह पाटिल ने 'राष्ट्रीय मतदाता दिवस' का शुभारम्भ किया और इसके बाद से हर साल 25 जनवरी को राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाया जाता है। लोकतान्त्रिक व्यवस्था में निष्पक्ष तरीके से मताधिकार का प्रयोग करना देश प्रेम की भावना से जोड़ता है। राष्ट्रीय मतदाता दिवस का प्रभाव भी पड़ा है और लगभग एक दशक से मतदान फीसदी में आश्चर्यजनक बढ़ोत्तरी हुई है। युवाओं ने बढ़-चढ़कर मतदान किया है। इधर, अपर ़िजलाधिकारी (प्रशासन)/उप ़िजला निर्वाचन अधिकारी बी. प्रसाद ने बताया कि सभी बूथ पर बीएलओ (बूथ लेविल ऑ़िफसर) पूर्वाह्न 11 बजे मतदाताओं को शपथ दिलाएंगे। तहसील स्तर पर मतदाता पंजीकरण केन्द्र पर राष्ट्रीय मतदाता दिवस का आयोजन कर शपथ दिलायी जाएगी। साथ ही सभी कार्यालयों में कार्यालाध्यक्ष व विभागाध्यक्ष अधिकारी व कर्मचारियों को शपथ दिलाएंगे। तहसीलदार/सहायक निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि अजय कुमार ने बताया कि बबीना व झाँसी नगर के सभी बीएलओ से 25 जनवरी को अपने-अपने बूथ पर एकत्र होकर राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाएंगे और मतदाताओं को शपथ दिलाएंगे।
मुक्ताकाशी पर दिलायी जाएगी शपथ
राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर प्रतिवर्ष पूर्वाह्न 11 बजे होने वाला कार्यक्रम इस बार शाम को मुक्ताकाशी मंच पर मनाया जाएगा। इसके तहत झाँसी महोत्सव के शुभारम्भ के बाद मण्डलायुक्त उपस्थित लोगों को राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर शपथ दिलाएंगे।
ये बोले मतदाता
- शोभा देवी ने बताया कि चुनाव और मतदान हमारी ही भलाई के लिए हैं। इसको लेकर सजग और जागरूक होना हर नागरिक के लिए बेहद ़जरूरी है।
- सुमन बाथम ने बताया कि हम लोग बहुत भाग्यशाली हैं कि लोकतान्त्रिक देश में रहते हैं। इस बात का सम्मान करते हुए हम सभी को मतदान करने के लिए सजग होने की आवश्यकता है।
- ओजल अग्रवाल बताती हैं कि इस साल वह 18 साल की हो रही हैं और मतदान करने के लिए बेहद उत्साहित तो हैं ही, इसे अपनी अहम जिम्मेदारी भी समझती हैं।
- अभिष्ठ माही का कहना था कि हम सभी आज की पीढ़ी हैं और अगर मतदान जैसी जिम्मेदारी को नहीं समझेंगे, तो विकास में आने वाली रुकावट के भी हम ही जिम्मेदार होंगे।
- अनीता प्रजापति बताती हैं कि मतदान करना हम सभी की नैतिक जिम्मेदारी है। इसके लिए खुद जागरूक होने के साथ-साथ दूसरों को भी जागरूक करना बेहद जरूरी है।
बीच में बॉक्स
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ये है शपथ
हम भारत के नागरिक, लोकतन्त्र में अपनी पूर्ण आस्था रखते हुए यह शपथ लेते हैं कि हम अपने देश की लोकतान्त्रिक परम्पराओं की मर्यादा को बनाए रखेंगे तथा स्वतन्त्र, निष्पक्ष व शान्तिपूर्ण निर्वाचन की गरिमा को अक्षुण्ण रखते हुए, निर्भीक होकर धर्म, वर्ग, जाति, समुदाय, भाषा अथवा अन्य किसी भी प्रलोभन से प्रभावित हुए बिना सभी निर्वाचनों में अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे।
फाइल : आऱजू, रघुवीर
समय : 8:00
24 जनवरी 2020