निष्प्रभावी होता जा रहा महिला ऐच्छिक ब्यूरो
जागरण संवाददाता, उरई : पारिवारिक विवादों को सुलह समझौते से निस्तारित कराने के लिये संचालित महिला ऐच्
जागरण संवाददाता, उरई : पारिवारिक विवादों को सुलह समझौते से निस्तारित कराने के लिये संचालित महिला ऐच्छिक ब्यूरो अब बेअसर होता जा रहा है। हालत यह है कि पीड़ित पक्ष तो उपस्थित हो जाता है लेकिन प्रतिवादी पक्ष की उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिये कोई ठोस कार्रवाई नहीं की जाती है। यही वजह से है कि सुलह समझौते की स्थिति नहीं बन पाती है। रविवार को केवल एक प्रकरण की निस्तारित किया जा सका। दो मामलों में फाइल बंद कर दी गई।
इंदिरा नगर निवासी साधना त्रिपाठी एवं कोंच के चंद्रकुआ निवासी नेहा के बीच ही रविवार को महिला ऐच्छिक ब्यूरो में सुलह कराई जा सकी। तीन प्रकरणों पर सुनवाई होनी थी जिनमें तो की फाइल बंद करनी पड़ी क्योंकि संबंधित पक्षों में सुलह कराने में महिला ऐच्छिक ब्यूरो के सदस्य नाकाम रहे। दरअसल कुछ माह से महिला ऐच्छिक ब्यूरो का प्रभाव कम होता जा रहा है। राजपत्रित पुलिस अधिकारी उसमें जाने में दिलचस्पी नहीं लेते हैं। जिसकी वजह से प्रतिवादी पक्ष पर कोई दबाव नहीं बनता है।