जागरूकता से सफल होंगे महिला सुरक्षा से जुड़े कानून
जागरण संवाददाता, उरई : महिलाओं की सुरक्षा के लिये कड़े कानून बने हैं, लेकिन वे तब तक
जागरण संवाददाता, उरई : महिलाओं की सुरक्षा के लिये कड़े कानून बने हैं, लेकिन वे तब तक सार्थक साबित नहीं हो सकते जब तक पीड़ितों में अपनी शिकायत बताने का जज्बा न हो। यह बात महिला सशक्तिकरण सप्ताह के तहत रूरा अड्डू में स्थित जय मां दुर्गे इंटर कालेज में आयोजित गोष्ठी के दौरान अपर पुलिस अधीक्षक सुरेंद्र नाथ तिवारी ने कही। उन्होंने कहा कि अपनी ही बदनामी के भय से छात्राएं कई बार अपने साथ होने वाली छींटाकशी की घटनाओं को दबा जातीं हैं। इस धारणा को बदलना होगा। पीड़ित की कभी बदनामी नहीं होती है हिकारत की नजर से अपराध कारित करने वाले को देखा जाता है।
गोष्ठी के दौरान छात्राओं ने भी घर से स्कूल व स्कूल से घर जाने में आने वाली दिक्कतों के बारे में बताया। छात्राओं को जानकारी दी गई कि रास्ते में उन्हें कोई बदनीयती से देख रहा है, इसका उन्हें आभास भी होता है तो तत्काल 100 नंबर पर या वूमेन पावर लाइन 1090 पर फोन कर अपनी शिकायत दर्ज करा सकती हैं। इसके बाद पुलिस तत्काल कार्रवाई करेगी। पीड़िता का नाम भी सार्वजनिक नहीं किया जाता है। महिलाओं की सहायता के लिये अलग से थाना भी स्थापित है। स्कूल के प्रबंधक गजेंद्र ¨सह ने भी इस दौरान अपर पुलिस अधीक्षक को इलाके की स्थिति से अवगत कराया।
अपराध को नजरअंदाज करने से बढ़ते अपराधियों के हौसले
स्थानीय गांधी इंटर कालेज में भी गुरुवार को नारी सशक्तिकरण सप्ताह के तहत गोष्ठी का आयोजन किया गया। जिसे संबोधित करते हुए पुलिस अधीक्षक अमरेंद्र प्रसाद ¨सह ने कहा छेड़खानी जैसी घटनाओं में कई बार घर के आसपास रहने वाले अराजक तत्वों का हाथ होता है। यही वजह है कि सब से पहले छात्राओं को घर की महिलाएं ही बदनामी का भय दिखाकर शिकायत न करने की सलाह दे डालती हैं। इस सोच को पूरी तरह से बदलना होगा। लड़कियों को हिचक खत्म करने होगी तभी कानून प्रासंगिक होगा। इस दौरान सीओ सिटी संतोष कुमार, गांधी इंटर कालेज के प्रधानाचार्य रवि शंकर अग्रवाल, महिला थाना की एसओ नीलेश कुमारी, युद्धवीर कंथरिया, ममता स्वर्णकार, अलीम आदि मौजूद रहे।