लाखों की सेस वसूली, मार्ग तक बदहाल
संवाद सहयोगी, कोंच : करोड़ों रुपये विकास के नाम पर देने के बाद भी गल्ला मंडी क्षेत्र में विका
संवाद सहयोगी, कोंच : करोड़ों रुपये विकास के नाम पर देने के बाद भी गल्ला मंडी क्षेत्र में विकास दिखाई नहीं पड़ रहा है। मंडी में उपज बेचने आने वाले किसानों को जर्जर मार्गो से होकर गुजरना पड़ रहा है। इससे जहां समय अधिक लगता है तो वाहनों को भी क्षति पहुंचती है।
नगर में स्थित गल्ला मंडी प्रदेश की अग्रणी मंडियों में शुमार है। व्यापारियों से मंडी शुल्क के नाम पर सरकार 2.5 फीसद शुल्क लेती है। जिसमें विकास के नाम पर 0.5 फीसद सेस लिया जाता है। मंडी में वसूला जाने वाला सेस सीधा मंडी परिषद को भेज दिया जाता है। निर्वाचित जनप्रतिनिधि शासन को विकास संबंधी प्रस्ताव भेजें तो शासन सेस की धनराशि प्रस्ताव के अनुरूप आवंटित करती है। अभी तक जनप्रतिनिधियों द्वारा कोई प्रस्ताव शासन को नहीं भेजा गया है।
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डेढ़ से दो करोड़ तक वसूला जाता विकास सेस
गल्ला मंडी में प्रतिवर्ष डेढ़ से दो करोड़ रुपये तक विकास सेस जमा होता है। गत वर्ष गल्ला मंडी में 1.87 करोड़ रुपये विकास सेस वसूला गया था। इस वर्ष अप्रैल से लेकर अक्टूबर माह तक मंडी में 90 लाख 87 हजार 318 रुपये सेस व्यापारियों से जमा कराया जा चुका है।
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जर्जर पड़े संपर्क मार्ग
गल्ला मंडी में उपज बेचने आने वाले किसानों को तमाम कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। मंडी तक पहुंचने वाले मार्गो की स्थिति इतनी जर्जर है कि उनके वाहन क्षतिग्रस्त हुए बिना आसानी से मंडी नहीं पहुंच पाते। किसान अरसे से संपर्क मार्गो के निर्माण की मांग कर रहे हैं। घमूरी से वोहरा, बरोदा कला, कुंअरपुरा मार्ग, गोरा संपर्क मार्ग सहित ऐसे कई मार्ग हैं जो विकास सेस की धनराशि से दुरुस्त किए जा सकते हैं लेकिन फिर भी यह मार्ग दुरुस्त नहीं हो पा रहे हैं।
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जिम्मेदार बोले
व्यापारियों से आधा प्रतिशत विकास सेस लेकर मंडी परिषद को भेज दिया जाता है। परिषद द्वारा ही उक्त धनराशि को विकास में खर्च किया जाता है। यदि कोई विकास, निर्माण संबंधी प्रस्ताव जनप्रतिनिधि द्वारा आएगा तो उसे तत्काल शासन को भेज दिया जाएगा।
- डॉ. दिलीप कुमार वर्मा, मंडी सचिव
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कुछ समय पूर्व ललितपुर गल्ला मंडी में सड़क निर्माण के लिए प्रस्ताव भेजा गया था। फिलहाल कोंच गल्ला मंडी में विकास संबंधी कोई प्रस्ताव नहीं भेजा गया है। यदि कोई किसान उनके पास आता है तो प्रस्ताव भी भेजा जाएगा।
- रमा निरंजन, एमएलसी