एसआइटी करेगी डार्कजोन प्रकरण की जांच : श्रीकांत
विभागीय और विजिलेंस जांच से संतुष्ट नहीं ऊर्जामंत्री ब्लर्ब- डार्कजोन क्षेत्र में फर्जी तरीके से नलकूप कनेक्शन देने का चल रहा प्रकरण
संवाद सहयोगी, हाथरस : डार्कजोन क्षेत्र में फर्जी तरीके से निजी नलकूप कनेक्शन देने के मामले में अभी तक विजिलेंस व विभागीय स्तर से जांच चल रही थी, लेकिन दोनों ही जांचों से सरकार संतुष्ट नहीं है। दाऊजी मेले का शुभारंभ करने आए प्रदेश के ऊर्जामंत्री ने साफ कहा कि इस मामले की जांच अब एसआइटी से कराई जाएगी। जो भी दोषी होगा उसको जेल भिजवाया जाएगा।
करीब दो साल पूर्व डार्कजोन इलाकों में फर्जी तरीके से सैकड़ों लोगों को निजी नलकूप कनेक्शन दिए गए थे। इस मामले में निलंबित किए गए प्रभारी अवर अभियंता सहित दो अन्य कर्मचारियों को जांच के बाद बहाल कर दिया गया था। मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार अलीगढ़ आए सीएम योगी आदित्यनाथ ने दोषी कर्मचारियों पर कार्रवाई के निर्देश दिए थे। करीब दो हजार पचास लोगों को जिले में फर्जी तरीके से निजी नलकूप कनेक्शन जारी हुए थे। फिलहाल इस मामले की जांच विभाग के अलावा एसपी विजिलेंस द्वारा की जा रही है।
शनिवार को दाऊजी मेले का उद्घाटन करने आए ऊर्जामंत्री श्रीकांत शर्मा ने मेले के रिसीवर कैंप में कहा कि विजिलेंस जांच से सरकार संतुष्ट नहीं है। इसकी जांच जल्द ही एसआइटी से कराई जाएगी। जिन कर्मचारियों व अफसरों ने किसानों का पैसा खाया होगा, उनको जांच के बाद जेल भिजवाया जाएगा।
सीएम के आगमन से
पहले हुई थी रिपोर्ट
प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 23 जुलाई को जिले में आए थे। उनके आने से एक दिन पहले ही विद्युत विभाग के अफसरों ने आनन फानन में डार्कजोन में शामिल रहे कर्मचारियों पर कार्रवाई तय कर दी थी। विद्युत वितरण खंड तृतीय के एक्सईएन एके रुहेला ने एक दर्जन कर्मचारियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी, जिसमें अवर अभियंता, एसडीओ, प्रभारी जेई, टीजी-टू के अलावा कई अन्य कर्मचारी शामिल थे।