Move to Jagran APP

नौकरी के नाम पर ठगने वाले चार शातिर दबोचे

पुलिस ने कई सिमकार्ड एटीएम आधार कार्ड बरामद किए शिकंजे में शहर की महादेव कॉलोनी के एक युवक से ठगे थे 80 हजार रुपये चारों शातिरों ने फर्जी नाम व पते से खुलवा रखे थे बैंक खाते

By JagranEdited By: Published: Sun, 02 Aug 2020 12:30 AM (IST)Updated: Sun, 02 Aug 2020 06:07 AM (IST)
नौकरी के नाम पर ठगने वाले चार शातिर दबोचे
नौकरी के नाम पर ठगने वाले चार शातिर दबोचे

संवाद सहयोगी, हाथरस : महादेव कॉलोनी के एक युवक से प्राइवेट कंपनी में नौकरी दिलाने के नाम पर 80 हजार रुपये ठगने वाले चार शातिरों को पुलिस ने शनिवार को साइबर सेल की मदद से दबोच लिया। शातिरों ने फर्जी आइडी बना रखी थी।

loksabha election banner

आकाश पुत्र सज्जनपाल सिंह निवासी महादेव कॉलोनी, मेंडू रोड (हाथरस) से नौकरी के नाम पर इन ठगों ने 25 नवंबर 2019 को 80 हजार रुपये ठग लिए थे। इसके बाद अपने मोबाइल नंबर बंद कर लिए तो आकाश को उनपर शक हुआ। इन शातिरों ने आकाश से बैंक खाते में रुपये डलवाए थे, आकाश के पास यही एकमात्र प्रमाण था। जब नौकरी नहीं लगी तो आकाश ने पुलिस अधीक्षक विक्रांतवीर से गुहार लगाई थी। एसपी के आदेश पर हाथरस गेट पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया। पुलिस के मुताबिक इन शातिरों की आकाश से 1.20 लाख रुपये की डील हुई थी, जिसके कारण बाकी 40 हजार रुपये के लिए बीच-बीच में संपर्क करते रहे। जब आकाश ने यह बात बताई तब साइबर सेल की मदद से इस गिरोह के बारे में पड़ताल शुरू की गई। जांच में अभिषेक शर्मा, विराट उर्फ रवि चौहान, सौरभ कुमार पाठक व देवराज का नाम प्रकाश में आया, मगर पकड़े गए तो सभी नाम फर्जी निकले। हाथरस गेट इंस्पेक्टर मनोज शर्मा का कहना है कि जिन लोगों को पकड़ा है, उन्होंने अपने असली नाम छिपा रखे थे। पड़ताल में पता चला कि अभिषेक शर्मा का असली नाम जावेद पुत्र आजाद अली निवासी सलाहपुर, रोहटा, मेरठ, विराट उर्फ रवि चौहान का असली नाम शाहरुख पुत्र नौशाद निवासी सलाहपुर, मेरठ, सौरभ पाठक का असली नाम जाहिद पुत्र यूसुफ निवासी मंजूर जैदी फार्म हाउस, नौचंदी, मेरठ है। इन तीनों को सिम कार्ड व फर्जी कागजात बनाकर देवराज शर्मा पुत्र चरन सिंह निवासी दीपक विहार, खोड़ा कालोनी, गाजियाबाद देता था। शनिवार को चारों ठग इकठ्ठा होकर आकाश से 40 हजार रुपये ही लेने के लिए आए थे। जैसे ही वे महादेव कॉलोनी में आए पुलिस ने उन्हें दबोच लिया। थाने लाकर पूछताछ की तो सारा सच सामने आ गया। उनसे छह मोबाइल, ढाई हजार रुपये नकद, चार एटीएम कार्ड, पांच नई सिम, आधार कार्ड, फर्जी पासबुक बरामद हुई है। बॉक्स---

फर्जी कंपनी बनाकर कर रहे थे ठगी

हाथरस गेट पुलिस की मानें तो इन चारों लोगों ने 'सनराइज बिजनेस सोल्यूशन' नाम से कंपनी बना रखी है। फोन करके बेरोजगार लोगों को इसी कंपनी में अच्छी खासी तनख्वाह पर नौकरी दिलाने का वादा कर जाल में फंसाते थे और उनसे अपने बैंक खाते में पैसे डलवा लेते थे। उसके बाद अपने मोबाइल नंबर बंद कर लेते थे। इस तरह तमाम लोगों के साथ ठगी कर चुके हैं। अब पुलिस उनका काला चिट्ठा खोलन के लिए बड़े पैमाने पर छानबीन शुरू की है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.