Move to Jagran APP

सिर सुरक्षित तो आप सुरक्षित

हेलमेट का प्रयोग न करने से जाती हैं सबसे अधिक जानें भारी लापरवाही -कारों में सीट बेल्ट न लगाना भी मौत को दावत देने के बराबर - लगातार अभियान के बावजूद लोग खुद की सुरक्षा के प्रति बेपरवाह

By JagranEdited By: Published: Wed, 14 Nov 2018 01:22 AM (IST)Updated: Wed, 14 Nov 2018 01:22 AM (IST)
सिर सुरक्षित तो आप सुरक्षित
सिर सुरक्षित तो आप सुरक्षित

कमल वाष्र्णेय, हाथरस :

loksabha election banner

सड़क हादसे के समय हेलमेट उसी तरह काम करता है जैसे सीमा पर खड़े जवान के लिए बुलेटप्रूफ जैकेट काम करती है। हादसे बताते हैं कि सबसे अधिक मौतें हेलमेट व सीट बेल्ट का प्रयोग न करने से होती हैं। सिर की चोट के बाद व्यक्ति का बचना मुश्किल हो जाता है। इसलिए सरकार व समाज सेवी संस्थाएं हेलमेट पहनने के लिए जागरूक करती हैं।

जिले में इस साल 112 लोग अभी तक सड़क हादसों में मारे जा चुके हैं। इनमें 50 फीसद से अधिक दुपहिया वाहन चालक हैं। ये वे चालक व सवार हैं, जिन्होंने हेलमेट का प्रयोग नहीं किया। चार नवंबर को एक्सप्रेस-वे पर हुए हादसे में चार लोगों की मौत हुई। सफारी गाड़ी सवार तीन भाई-बहनों की मौत हुई। इन लोगों ने सीट बेल्ट नहीं लगा रखी थी। जब गाड़ी कई बार पलटा खाई तो उनके सिर व गर्दन में गंभीर चोट आई। इसी तरह छह नवंबर को सहपऊ में दो बाइकों की भिड़ंत में दो लोगों की मौत हुई थी। बाइक चला रहे दोनों लोगों ने हेलमेट नहीं पहना था। परिणाम स्वरूप ये लोग अस्पताल तक भी नहीं पहुंच सके थे। जबकि ऐसे कई प्रमाण हैं, जब लोग हेलमेट की वजह से मौत के मुंह से बाहर आए। हेलमेट खरीदने मे बरतें सावधानी

हेलमेट खरीदते समय सावधानी बरतना जरूरी है। मार्केट में लोकल हेलमेट भी उपलब्ध हैं। ऐसे हेलमेट भी हैं, जिन पर आइएसआइ मार्क लगा है तथा दो सौ से तीन सौ रुपये में उपलब्ध हैं। केवल चालान से बचने के लिए हेलमेट न खरीदें। पैसे बचाकर लोग सीधे अपने जीवन से खिलवाड़ करते हैं। नामी कंपनी का ही हेमलेट खरीदें। सड़क किनारे फुटपाथ से हेलमेट न लें। कोशिश करें कि फुल फेस हेलमेट ही खरीदें। युवा दिखावे के लिए अकसर ओपन-फेस हेलमेट खरीदते हैं। इससे जबड़ा असुरक्षित रहता है। कंपनी के फुल फेस हेलमेट की कीमत 700 रुपये से शुरू होती है तथा मार्केट में इस समय 2,250 रुपये तक का भी हेलमेट है। आइएसआइ मार्क हेलमेट

हेलमेट आइएसआइ मार्क वाला ही खरीदना चाहिए। आइएसआइ मार्क यह सुनिश्चित करता है कि प्रोडक्ट ठीक है तथा कस्टमर को छला नहीं जा रहा है। सुरक्षा ¨बदुओं पर खरा उतरने के बाद हेलमेट पर यह मार्क लगाया जाता है। कार में इन बातों का रखें ध्यान

कार में सीट बेल्ट यूं ही नहीं दी गई। सीट बेल्ट इस तरह डिजाइन की जाती है कि वह दुर्घटना के समय सिर, छाती व कमर को सुरक्षा प्रदान कर सके। इससे व्यक्ति सीधे स्टेय¨रग व विंड शील्ड से टकराने से बचता है। यातायात विशेषज्ञ अशोक कपूर की मानें तो दुर्घटना के दौरान शरीर एक गेंद की तरह उछलता है। सीट बेल्ट ऐसा करने से रोकती है तथा जनहानि की संभावना को 70 फीसद तक कम कर देती है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.