आरोपितों के घरों की छत तक पहुंची सीबीआइ
पड़ताल का 17वां दिन-संदीप रामू और रवि के घरों में उनके स्वजन से की गई पूछताछ नाबालिग आरोपित की मां को भी पूछताछ के लिए बुलाया।
जासं, हाथरस : बूलगढ़ी प्रकरण की सीबीआइ जांच को मंगलवार को 17 दिन हो गए। टीम के दो सदस्य मंगलवार की सुबह आरोपितों के घर पहुंचे। उनके छतों पर पहुंचकर हालात को समझा। घर से बाहर निकलकर घटनास्थल की ओर जाने वाले रास्ते पर आरोपितों के स्वजन को ले गए। वहां घटनास्थल की ओर से आने-जाने वाले रास्तों के बारे में जानकारी ली।
सीबीआइ की टीम के दो सदस्य सुबह 11 बजे संदीप, रामू और रवि के घर की छत पर पहुंचे। वे इस दौरान पहली मंजिल और फिर दूसरी मंजिल पर पहुंचे। यहां आरोपित के घर के सामने मृतका के घर की ओर भी देखा। यहीं से घर के बाहर की ओर घटनास्थल की ओर भी नजरें दौड़ाईं। जाने वाले रास्ते की ओर भी गए। वहां आसपास के जिन लोगों के खेत हैं, उनके बारे में भी जानकारी ली। जिस समय घटना हुई थी, उस समय बाजरा की फसल तीन से चार फुट की ऊंचाई तक थी। उस समय घटना के दौरान आते-जाते किन-किन लोगों को देखा गया। टीम ने घरों में महिलाओं से भी पूछताछ की। करीब एक घंटे की पूछताछ के बाद टीम के सदस्य चले गए। आरोपितों के स्वजन ने बताया कि जब चार लोग किसी घटना को अंजाम देंगे तो वहां से भागेंगे तो कोई न कोई तो देखेगा। जहां से भागे होंगे तो वहां फसल टूटने से अलग-अलग रास्ते भी बनें होंगे। खेत का एक रास्ता मुख्य मार्ग के बराबर भी है। बता दें कि सीबीआई ने 11 अक्टूबर को केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू की थी।
नाबालिग आरोपित की
मां व भाई से की बात
सीबीआई की टीम ने नाबालिग आरोपित की मां को भी पूछताछ के लिए बुलाया था। उनसे यह पूछा गया कि आरोपित ने हाईस्कूल करने से पहले कहां पढ़ा था। मां का कहना था कि वह पांच तक गांव के स्कूल में पढ़ा था। इसके बाद की ज्यादा जानकारी नहीं है। आरोपित के भाई से भी जानकारी की।
अब तक करीब 35 से पूछताछ
सीबीआइ की टीम जब से जांच शुरू की है तब से अब तक करीब 35 लोगों से पूछताछ की जा चुकी है। मृतका और आरोपितों के स्वजन के अलावा पड़ोसियों से भी जानकारी जुटाई है। साथ ही आरोपित रामू के साथ काम करने वालों से भी कई बार पूछताछ की। बार-बार की पूछताछ को लेकर गांव में खासी चर्चा है। रोजाना गांव वालों की नजर इस बात पर रहती है कि आज कौन पूछताछ के लिए बुलाया गया है या फिर किसके घर सीबीआइ पहुंची है।
मेडिकल कॉलेज में युवती का वीडियो बनाने वाला सीबीआइ की रडार पर
जागरण संवाददाता, अलीगढ़ : हाथरस के बूलगढ़ी प्रकरण की जांच कर रही सीबीआइ के लिए एक वीडियो अहम कड़ी साबित हो सकता है। इसी वीडियो में पहली बार युवती ने सामूहिक दुष्कर्म होने की बात कही थी। यह वीडियो खूब वायरल हुआ। सीबीआइ इस वीडियो की थाह लेने में जुटी है। जांच इस पर आकर टिक गई है कि वीडियो को बनाया किसने था। इसके लिए मेडिकल कॉलेज के सीसीटीवी फुटेज की भी मदद ली जा रही है।
युवती पर जानलेवा हमला 14 सितंबर को उस समय हुआ था, जब वह मां व भाई के साथ खेत पर चारा लेने गई थी। युवती के भाई ने जानलेवा हमला व एससी-एसटी एक्ट में गांव के ही संदीप पर मुकदमा दर्ज कराया था। घटना वाले दिन युवती का एक वीडियो सामने आया था, जिसमें वह गांव के संदीप पर हमला करने की बात कह रही थी। युवती की मां ने भी एक अन्य वीडियो में इसी बात को दोहराया था। नेताओं की एंट्री के बाद जब इस केस ने तूल पकड़ा तो पुलिस भी सक्रिय हुई और 19 सितंबर को मेडिकल कॉलेज में युवती का बयान दर्ज किया। बयान में युवती ने आरोपित संदीप पर छेड़छाड़ का आरोप और लगाया। पुलिस ने पहले मुकदमे में ही छेड़छाड़ की धारा और बढ़ा दी। 22 सितंबर को पुलिस ने फिर बयान लिए। बयान के आधार पर सामूहिक दुष्कर्म की धारा बढ़ाते हुए गांव के ही एक किशोर और दो युवकों को आरोपित बनाया। इसी बीच युवती का एक वीडियो वायरल हुआ, जिसमें उसने सामूहिक दुष्कर्म होने की बात कही। इस वीडियो में युवती ऑक्सीजन लगाए हुए है। एक व्यक्ति उससे सवाल पूछ रहा है। ये वीडियो मेडिकल कॉलेज में ही बना हुआ बताया जा रहा है, क्योंकि हाथरस से युवती को घटना वाले दिन ही अलीगढ़ रेफर कर दिया था। वहां ऑक्सीजन पर नहीं रखा गया था।
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बूलगढ़ी प्रकरण से जुड़े जो भी दस्तावेज सीबीआइ मांग रही हैं, सब उपलब्ध करा रहे हैं। करा भी दिए हैं। वार्ड में सीसीटीवी कैमरे नहीं हैं। कैंपस में जो कैमरे लगे हैं, उनका डेटा सात से आठ दिन ही सुरक्षित रहता है।
प्रो. हारिश ए खान, चिकित्सा अधीक्षक, जेएन मेडिकल कॉलेज