25 दिन में मलेरिया के 36 पॉजिटिव केस मिले
सब हेड जिलेभर में कैंप लगाकर बनाई गईं थी 5760 स्लाइड पिछले महीने 5569 स्लाइड बनीं थीं जांच -36 लोगों को मलेरिया की पुष्टि के बाद विभाग सतर्क चलेगा अभियान -जिला अस्पताल के साथ-साथ सीएचसी पर बनाए गए अ
संवाद सहयोगी, हाथरस : संचारी रोग नियंत्रण अभियान के बीच स्वास्थ्य विभाग ने मलेरिया की रोकथाम के कागजों पर बेहतर प्रयास कर रखे हैं, जबकि धरातल पर लगातार मलेरिया का प्रकोप बढ़ता ही जा रहा है। यह हम नहीं खुद स्वास्थ्य विभाग के आंकड़े कह रहे हैं। पिछले माह की अपेक्षा सितंबर में मलेरिया पॉजीटिव केस की संख्या बढ़ गई है। पिछले महीने 22 की तुलना में 36 पॉजीटिव केस मिले हैं। जिला अस्पताल में सीएचसी केंद्रों पर मलेरिया की रोकथाम के लिए वार्ड तक बनाए गए हैं। ये आंकड़े सरकारी हैं। प्राइवेट व झोलाछापों के यहां इलाज करा रहे मरीजों की संख्या जुड़ी तो हालात भयावह नजर आएंगे।
बढ़ गई मरीजों की संख्या
21 जुलाई से 20 अगस्त तक जिला अस्पताल सहित सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर मलेरिया की पुष्टि कराने के लिए कुल 5569 मरीजों की स्लाइड बनाकर उनके खून की जांच कराई गई, जिसमें 22 मरीजों को जनरल मलेरिया प्लाज्मोडियम वाइवेक्स की पुष्टि हुई, जबकि 21 अगस्त से 20 सितंबर तक कुल 5760 मरीजों की स्लाइड बनाई गई, जिसमें कुल 36 लोगों को मलेरिया की पुष्टि हुई। मतलब पिछले तीस दिनों में मलेरिया रोगियों की संख्या में 14 मरीजों की बढ़ोत्तरी हो गई। यह तो सरकारी आंकड़ा है,जबकि इसके इतर तमाम लोग मलेरिया से पीड़ित रहे,जिन्होंने निजी चिकित्सालयों में उपचार कराना ही बेहतर समझा। हकीकत तो यह है कि महीने के चार दिन व एक अन्य अवकाश को छोड़ दिया जाए तो 25 दिन ही स्लाइड बनी।
स्वास्थ्य विभाग का दावा :
जिला अस्पताल में स्वास्थ्य विभाग के द्वारा दस बेड का वार्ड बनाया गया है। इसके साथ ही सभी आठ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर पांच-पांच बेड का वार्ड बनाया गया है। मलेरिया, डेंगू और चिकनगुनिया के मरीजों के आने पर इन वार्ड में सुविधा दी जा रही है। स्टाफ की तैनाती भी सीएमओ स्तर से की गई है। मलेरिया वार्ड के अलावा जिला अस्पताल व सीएचसी केंद्रों पर फीवर हेल्पडेस्क बनाई गई हैं। बुखार रोग से पीड़ित मरीज को तुरंत ही हेल्पडेस्क के जरिए देखा जाता है। गांवों में जागरूकता रैली के अलावा फॉगिंग और एंटी लार्वा का छिड़काव स्वास्थ्य विभाग द्वारा कराया जा रहा है।
झोलाछापों की चांदी :
पिछले दिनों सासनी के गांव रूदायन सहित कई गांवों में प्रकोप बढ़ जाने पर स्वास्थ्य विभाग की नींद टूटी और वहां पर टीमों को भेजकर दवाई आदि वितरित कराई। इसके साथ ही वायरल व मलेरिया का प्रकोप बढ़ जाने से झोलाछाप चिकित्सक चांदी काट रहे हैं। मनमानी फीस और मंहगी दवाइयां मरीजों को दी जाती है। ऐसे झोलाछाप चिकित्सकों पर कार्रवाई नाम मात्र के लिए होती है। इनकी सुनो
मलेरिया की रोकथाम के लिए लगातार गांवों में फॉगिग व एंटी लार्वा दवाई का छिड़काव कराया जा रहा है। इसके साथ ही जिला अस्पताल व सीएचसी केंद्रों पर मलेरिया वार्ड व फीवर हेल्पडेस्क लगाई गई है।
मुकेश कुमार जौहरी, जिला मलेरिया अधिकारी।
मलेरिया केसों की स्थिति
अस्पताल/सीएचसी, स्लाइड, केस
जिला अस्पताल, 1309, 04
हसायन, 528, 03
महौ, 967, 07
मुरसान, 324, 03
सादाबाद, 743, 04
सहपऊ, 454, 03
सासनी, 909, 06
सिकंदराराऊ, 526, 06
नोट-(यह आंकड़ा 21 अगस्त से 20 सितंबर तक का है)